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स्विट्जरलैंड की 'केलर' हिन्दुस्तान आई और यहां की मिट्टी में ही समा गई

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Published : Nov 11, 2019, 10:20 PM IST

जोधपुर घूमने पहुंची केलर वेबर का आज हिन्दू विधि-विधान के साथ शहर के श्मशान घाट में अंतिम संस्कार हुआ. लेकिन स्विट्जरलैंड की वेबर केलर का जोधपुर पहुंचना और फिर यहां की मिट्टी में मिल जाना, इसके पीछे की पूरी कहानी जानते है, इस रिपोर्ट के जरिए-

jodhpur news, जोधपुर न्यूज

जोधपुर. शहर में आज एक ऐसा दृश्य देखा गया, जहां एक महिला को हिन्दू रीति-रिवाज के साथ अंतिम विदाई दी गई. श्मशान में यह करीब हर रोज देखा जाता है. लेकिन आज यह कुछ खास था. खासियत की बड़ी वजह यह थी कि यह महिला विदेशी थी. जो कि अपने पति के साथ हिन्दुस्तान घूमने पहुंची थी और तबीयत बिगड़ जाने के कारण दुनिया को अलविदा कह गई.

स्विट्जरलैंड की 'केलर' का हिन्दुस्तान में अंतिम संस्कार

एक पराए मुल्क में घूमने पहुंचे इस बुजुर्ग दम्पती को दूर-दूर तक भी अंदेशा नहीं था कि उनका साथ यहीं छूट जाना तय था. स्विट्जरलैंड की पर्यटक केलर अपने पति रेनेट डोरिस के साथ इंडिया पहुंची. जहां जोधपुर आने पर 78 साल की केलर की तबीयत बिगड़ गई. केलर के बुजुर्ग पति ने उसे एक निजी अस्पताल पहुंचाया, जहां उसकी मौत हो गई.

पत्नी की मौत के बाद पति के सामने कोई रास्ता नहीं था. इस हालात में अब डोरियस को एक फैसला लेना था. जिसमें भागीदार बने जोधपुर के एक निजी अस्पताल के चिकित्सक. चिकित्सकों ने राह दिखाई और इस अंजान देश में फरिश्तों की तरह सामने आया 'हिन्दू सेवा मंडल' संगठन, जिसने मृत महिला के पति की मदद की. पति रेनेट डोरिस जो स्वयं भी काफी उम्रदराज हैं, उन्होंने अपनी पत्नी का अंतिम संस्कार भारत में ही करवाने का निर्णय लिया. जिसकी सूचना स्विट्जरलैंड दूतावास को भी दी गई.

पढे़ं: निकाय चुनाव 2019: वोटर्स को लुभाने के लिए खाने-पानी की पूरी व्यवस्था, खुलेआम उड़ रही आचार संहिता की धज्जियां

हिंदू सेवा मंडल ने सोमवार की दोपहर श्मशान में वेबर का पूर्ण विधि-विधान से अंतिम संस्कार किया. हालांकि इससे पहले शव का पोस्टमार्टम भी करवाया गया. महिला के पति ने भारत में ही अंतिम संस्कार करवाने के लिए दूतावास के मार्फत एक अधिकृत कंपनी से संपर्क किया. जिसके प्रतिनिधि सोमवार को जोधपुर पहुंचे और उनकी उपस्थिति में अंतिम संस्कार की क्रियाएं संपन्न करवाई गई.

कंपनी के प्रतिनिधि संदीप ने बताया कि अंतिम संस्कार के बाद उनके अवशेष स्विट्जरलैंड भेजे जाएंगे. हिंदू सेवा मंडल के प्रभारी विष्णु प्रजापति ने बताया कि महिला का अंतिम संस्कार पूरी तरह विधि-विधान से किया गया है. बता दें कि हिन्दू सेवा मंडल का भी एक अपना इतिहास रहा है. यह एक ऐसा संगठन है जो 1932 से लावारिस शवों का अंतिम संस्कार हिंदू रीति से करवा रहा है. अब तक हजारों की संख्या में ऐसे शवों का अंतिम संस्कार इस संगठन द्वारा किया जा चुका है. वहीं शवों का अंतिम संस्कार करने के बाद अवशेष गंगा में प्रवाहित करने का पुनीत कार्य, मंडल कई दफा कर चुका है.

जोधपुर. शहर में आज एक ऐसा दृश्य देखा गया, जहां एक महिला को हिन्दू रीति-रिवाज के साथ अंतिम विदाई दी गई. श्मशान में यह करीब हर रोज देखा जाता है. लेकिन आज यह कुछ खास था. खासियत की बड़ी वजह यह थी कि यह महिला विदेशी थी. जो कि अपने पति के साथ हिन्दुस्तान घूमने पहुंची थी और तबीयत बिगड़ जाने के कारण दुनिया को अलविदा कह गई.

स्विट्जरलैंड की 'केलर' का हिन्दुस्तान में अंतिम संस्कार

एक पराए मुल्क में घूमने पहुंचे इस बुजुर्ग दम्पती को दूर-दूर तक भी अंदेशा नहीं था कि उनका साथ यहीं छूट जाना तय था. स्विट्जरलैंड की पर्यटक केलर अपने पति रेनेट डोरिस के साथ इंडिया पहुंची. जहां जोधपुर आने पर 78 साल की केलर की तबीयत बिगड़ गई. केलर के बुजुर्ग पति ने उसे एक निजी अस्पताल पहुंचाया, जहां उसकी मौत हो गई.

पत्नी की मौत के बाद पति के सामने कोई रास्ता नहीं था. इस हालात में अब डोरियस को एक फैसला लेना था. जिसमें भागीदार बने जोधपुर के एक निजी अस्पताल के चिकित्सक. चिकित्सकों ने राह दिखाई और इस अंजान देश में फरिश्तों की तरह सामने आया 'हिन्दू सेवा मंडल' संगठन, जिसने मृत महिला के पति की मदद की. पति रेनेट डोरिस जो स्वयं भी काफी उम्रदराज हैं, उन्होंने अपनी पत्नी का अंतिम संस्कार भारत में ही करवाने का निर्णय लिया. जिसकी सूचना स्विट्जरलैंड दूतावास को भी दी गई.

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हिंदू सेवा मंडल ने सोमवार की दोपहर श्मशान में वेबर का पूर्ण विधि-विधान से अंतिम संस्कार किया. हालांकि इससे पहले शव का पोस्टमार्टम भी करवाया गया. महिला के पति ने भारत में ही अंतिम संस्कार करवाने के लिए दूतावास के मार्फत एक अधिकृत कंपनी से संपर्क किया. जिसके प्रतिनिधि सोमवार को जोधपुर पहुंचे और उनकी उपस्थिति में अंतिम संस्कार की क्रियाएं संपन्न करवाई गई.

कंपनी के प्रतिनिधि संदीप ने बताया कि अंतिम संस्कार के बाद उनके अवशेष स्विट्जरलैंड भेजे जाएंगे. हिंदू सेवा मंडल के प्रभारी विष्णु प्रजापति ने बताया कि महिला का अंतिम संस्कार पूरी तरह विधि-विधान से किया गया है. बता दें कि हिन्दू सेवा मंडल का भी एक अपना इतिहास रहा है. यह एक ऐसा संगठन है जो 1932 से लावारिस शवों का अंतिम संस्कार हिंदू रीति से करवा रहा है. अब तक हजारों की संख्या में ऐसे शवों का अंतिम संस्कार इस संगठन द्वारा किया जा चुका है. वहीं शवों का अंतिम संस्कार करने के बाद अवशेष गंगा में प्रवाहित करने का पुनीत कार्य, मंडल कई दफा कर चुका है.

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Body:हिन्दू रीति रिवाज से हुआ स्विट्जरलैंड की पर्यटक केलर का अंतिम संस्कार जोधपुर। अपने पति के साथ स्विट्जरलैंड से भारत घूमने आई के केलर वेबर नामक 78 वर्षीय महिला की तबीयत बिगड़ने पर जोधपुर के निजी अस्पताल में भर्ती करवाया गया जहां शनिवार रात को उनकी मौत हो गई ऐसी स्थिति में उनके पति रेनेट डोरिस जो स्वंय भी काफी उम्रदराज है ने अपनी पत्नी का अंतिम संस्कार भारत में ही करवाने का निर्णय लिया और स्विट्जरलैंड दूतावास को इसकी सूचना दी।  इसके आधार पर जोधपुर के हिंदू सेवा मंडल ने सोमवार दोपहर बाद हिंदू सेवा मंडल के श्मशान में वेबर का पूर्ण विधि-विधान से अंतिम संस्कार किया। हालांकि इससे पहले शव का पोस्टमार्टम भी करवाया गया महिला के पति ने भारत में ही अंतिम संस्कार करवाने के लिए दूतावास के मार्फत एक अधिकृत कंपनी से संपर्क किया जिसके प्रतिनिधि सोमवार को जोधपुर पहुंचे और उनकी उपस्थिति में अंतिम संस्कार की क्रियाएं संपन्न करवाई गई। कंपनी के प्रतिनिधि संदीप ने बताया कि अंतिम संस्कार के बाद उनके अवशेष स्विट्जरलैंड भेजे जाएंगे हिंदू सेवा मंडल के प्रभारी विष्णु प्रजापति ने बताया कि महिला का अंतिम संस्कार पूरी तरह विधि-विधान से किया गया है इससे पहले भी जोधपुर में बतौर पर्यटक आए कई विदेशी पर्यटकों की मृत्यु होने पर उनके संस्कार हिंदू सेवा मंडल ने संपन्न चुका है।  1932 से कर रहा है शवो का अंतिम संस्कार जोधपुर हिंदू सेवा मंडल 1932 से लावारिस शवों का अंतिम संस्कार हिंदू रीति से करवा रहा है अब तक हजारों की संख्या में ऐसे शव का अंतिम संस्कार करवाने के बाद उनके अवशेष गंगा में भी प्रभावित मंडल कर चुका है बाईट 1 विष्णु प्रजापति, प्रभारी हिन्दू सेवा मंडल बाईट 2संदीप, कंपनी प्रतिनिधि


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