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जोधपुर में नहीं चला गहलोत का जादू, गजेंद्र सिंह ने वैभव को दी करारी शिकस्त

प्रदेश की हॉट सीट जोधपुर पर गजेंद्र सिंह शेखावत ने मुख्यमंत्री गहलोत के बेटे वैभव गहलोत को करारी शिकस्त देते हुए 2 लाख 74 हजार 440 मतों से जीत दर्ज की. हालांकि जीत का अंतर उनकी 2014 की जीत से कम रहा.

गजेंद्र सिंह शेखावत
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Published : May 23, 2019, 9:28 PM IST

जोधपुर. राजनीति के जादूगर माने जाने वाले मुख्यमंत्री अशोक गहलोत का जादू मोदी लहर के सामने नहीं चल पाया. जोधपुर सीट से कांग्रेस प्रत्याशी और मुख्यमंत्री अशोक गहलोत के बेटे वैभव गहलोत को हार का सामना करना पड़ा है. जोधपुर शहर मुख्यमंत्री का गृहनगर है. ऐसे में जोधपुर को उनका गढ़ कहा जाता है. प्रदेश की हॉट सीट जोधपुर पर गजेंद्र सिंह शेखावत ने 2 लाख 74 हजार 440 मतों से जीत दर्ज की है. हालांकि उनकी जीत का अंतर 2014 की जीत से कम रहा. जोधपुर सीट पर गजेंद्र सिंह को 7 लाख 88 हजार 888 मत मिले, जबकि वैभव गहलोत को 5 लाख 14 हजार 448 वोट मिले.

जोधपुर में नहीं चला गहलोत का जादू, गजेंद्र सिंह ने वैभव को दी करारी शिकस्त

जोधपुर लोकसभा सीट पर गजेंद्र शेखावत का मुकाबला वैभव गहलोत से कम उनके पिता और राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत से ज्यादा था. वहीं चुनाव प्रचार के दौरान इस सीट पर प्रधानमंत्री मोदी और मुख्यमंत्री गहलोत के बीच मुकाबला माना जा रहा था. क्योंकि यहां जीत हासिल करने के लिए पीएम मोदी ने रैली कर गहलोत को घेरा था. वहीं गहलोत ने भी पीएम पर निशाना साधने में कोई कसर नहीं छोड़ी थी. जोधपुर सीट पर गहलोत ने चुनाव प्रचार में पूरी ताकत लगा दी थी. लेकिन इस बार उनका जादू नहीं चला.

प्रदेश में 5 महीने पहले हुए विधानसभा चुनाव में जोधपुर संसदीय क्षेत्र की 8 विधानसभा सीटों में से 6 सीट पर कांग्रेस के विधायक निर्वाचित हुए थे. ऐसे में माना जा रहा था कि जोधपुर सीट वैभव गहलोत के लिए सुरक्षित हो सकती है. लेकिन गुरुवार को आए नतीजों ने सभी कयासों को पलट दिया. विधानसभा चुनाव में सरदारपुरा सीट से करीब 45 हजार मतों से चुनाव जीतने वाले मुख्यमंत्री गहलोत यहां भी अपने पुत्र को बढ़त नहीं दिला पाए. वैभव को यहां से 18 हजार से ज्यादा मतों से शिकस्त झेलनी पड़ी.

जोधपुर संसदीय क्षेत्र से अन्य 5 कांग्रेसी विधायक भी अपने क्षेत्रों में वैभव को बढ़त नहीं दिला पाए. वैभव को सबसे बड़ी शिकस्त लूणी विधानसभा क्षेत्र में मिली, वैभव यहां से 68 हजार से ज्यादा मतों से पीछे रहे. इसके उलट विधानसभा चुनाव में फलौदी और सूरसागर सीट से 10 हजार से कम मतों से जीतने वाले भाजपा विधायकों के क्षेत्र में शेखावत को बड़ी बढ़त मिली.

गजेंद्र सिंह शेखावत को कहां से मिली कितनी बढ़त
बीजेपी प्रत्याशी गजेंद्र सिंह शेखावत को फलौदी विधानसभा क्षेत्र से 19 हजार 162 मतों की बढ़त मिली. लोहावट विधानसभा क्षेत्र से गजेंद्र सिंह शेखावत 32 हजार 311 वोट से आगे रहे. वहीं जोधपुर शहर विधानसभा सीट से 29 हजार 728 वोट, पोकरण विधानसभा क्षेत्र से 19 हजार 811 वोट, लूणी विधानसभा क्षेत्र से 68 हजार 946 वोट, सरदारपुरा विधानसभा क्षेत्र से 18 हजार 827 वोट, शेरगढ़ विधानसभा क्षेत्र से 39 हजार 801 वोट और सूरसागर विधानसभा क्षेत्र से 41 हजार 528 वोट की बढ़त मिली.

जोधपुर. राजनीति के जादूगर माने जाने वाले मुख्यमंत्री अशोक गहलोत का जादू मोदी लहर के सामने नहीं चल पाया. जोधपुर सीट से कांग्रेस प्रत्याशी और मुख्यमंत्री अशोक गहलोत के बेटे वैभव गहलोत को हार का सामना करना पड़ा है. जोधपुर शहर मुख्यमंत्री का गृहनगर है. ऐसे में जोधपुर को उनका गढ़ कहा जाता है. प्रदेश की हॉट सीट जोधपुर पर गजेंद्र सिंह शेखावत ने 2 लाख 74 हजार 440 मतों से जीत दर्ज की है. हालांकि उनकी जीत का अंतर 2014 की जीत से कम रहा. जोधपुर सीट पर गजेंद्र सिंह को 7 लाख 88 हजार 888 मत मिले, जबकि वैभव गहलोत को 5 लाख 14 हजार 448 वोट मिले.

जोधपुर में नहीं चला गहलोत का जादू, गजेंद्र सिंह ने वैभव को दी करारी शिकस्त

जोधपुर लोकसभा सीट पर गजेंद्र शेखावत का मुकाबला वैभव गहलोत से कम उनके पिता और राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत से ज्यादा था. वहीं चुनाव प्रचार के दौरान इस सीट पर प्रधानमंत्री मोदी और मुख्यमंत्री गहलोत के बीच मुकाबला माना जा रहा था. क्योंकि यहां जीत हासिल करने के लिए पीएम मोदी ने रैली कर गहलोत को घेरा था. वहीं गहलोत ने भी पीएम पर निशाना साधने में कोई कसर नहीं छोड़ी थी. जोधपुर सीट पर गहलोत ने चुनाव प्रचार में पूरी ताकत लगा दी थी. लेकिन इस बार उनका जादू नहीं चला.

प्रदेश में 5 महीने पहले हुए विधानसभा चुनाव में जोधपुर संसदीय क्षेत्र की 8 विधानसभा सीटों में से 6 सीट पर कांग्रेस के विधायक निर्वाचित हुए थे. ऐसे में माना जा रहा था कि जोधपुर सीट वैभव गहलोत के लिए सुरक्षित हो सकती है. लेकिन गुरुवार को आए नतीजों ने सभी कयासों को पलट दिया. विधानसभा चुनाव में सरदारपुरा सीट से करीब 45 हजार मतों से चुनाव जीतने वाले मुख्यमंत्री गहलोत यहां भी अपने पुत्र को बढ़त नहीं दिला पाए. वैभव को यहां से 18 हजार से ज्यादा मतों से शिकस्त झेलनी पड़ी.

जोधपुर संसदीय क्षेत्र से अन्य 5 कांग्रेसी विधायक भी अपने क्षेत्रों में वैभव को बढ़त नहीं दिला पाए. वैभव को सबसे बड़ी शिकस्त लूणी विधानसभा क्षेत्र में मिली, वैभव यहां से 68 हजार से ज्यादा मतों से पीछे रहे. इसके उलट विधानसभा चुनाव में फलौदी और सूरसागर सीट से 10 हजार से कम मतों से जीतने वाले भाजपा विधायकों के क्षेत्र में शेखावत को बड़ी बढ़त मिली.

गजेंद्र सिंह शेखावत को कहां से मिली कितनी बढ़त
बीजेपी प्रत्याशी गजेंद्र सिंह शेखावत को फलौदी विधानसभा क्षेत्र से 19 हजार 162 मतों की बढ़त मिली. लोहावट विधानसभा क्षेत्र से गजेंद्र सिंह शेखावत 32 हजार 311 वोट से आगे रहे. वहीं जोधपुर शहर विधानसभा सीट से 29 हजार 728 वोट, पोकरण विधानसभा क्षेत्र से 19 हजार 811 वोट, लूणी विधानसभा क्षेत्र से 68 हजार 946 वोट, सरदारपुरा विधानसभा क्षेत्र से 18 हजार 827 वोट, शेरगढ़ विधानसभा क्षेत्र से 39 हजार 801 वोट और सूरसागर विधानसभा क्षेत्र से 41 हजार 528 वोट की बढ़त मिली.

Intro:जोधपुर। राजस्थान प्रदेश की राजनीति के जादूगर कहलाने वाले मुख्यमंत्री अशोक गहलोत का जादू उनके गृह नगर जोधपुर में नहीं चला और उनके पुत्र वैभव गहलोत को चुनाव हारना पड़ा। लोकसभा चुनाव में देश और प्रदेश की हॉट सीट बनी जोधपुर आखिरकार भारतीय जनता पार्टी के प्रत्याशी व केंद्रीय मंत्री गजेंद्र सिंह शेखावत चुनाव जीतने में सफल हो गए शेखावत ने यह चुनाव 274000 से अधिक मतों से जीता है, हालांकि यह जीत 2014 की जीत से कम है। लेकिन महत्वपूर्ण है क्योंकि शेखावत का मुकाबला वैभव गहलोत से कम उनके पिता और मुख्यमंत्री अशोक गहलोत से ज्यादा था इससे भी बड़ी बात यह थी इस मुकाबले को पीएम मोदी और सीएम गहलोत के बीच का मुकाबला भी मान कर देखा जा रहा था क्योंकि पीएम मोदी ने जोधपुर की रैली में सीएम को घेरा तो गहलोत ने भी पीएम पर हमले करने में कोई कसर नहीं छोड़ी थी लेकिन इसके बावजूद जादूगर गहलोत का अपने घर में ही जादू नहीं चला और उनके पुत्र को चुनाव हारना पड़ा।


Body:क्षमा पहले ही प्रदेश में विधानसभा के चुनाव में कांग्रेस की जीत के साथ सरकार बनी और अशोक गहलोत मुख्यमंत्री बने जोधपुर संसदीय क्षेत्र में 8 विधानसभा सीटों में कांग्रेस के छह विधायक निर्वाचित हुए ऐसे में माना जा रहा था कि यह सीट सबसे ज्यादा वैभव गहलोत के लिए सुरक्षित हो सकती है लेकिन गुरुवार को आए परिणामों ने सभी कयासों को पलट दिया आलम यह रहा कि सरदारपुरा सीट से जाम मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने 45000 वोटों से चुनाव जीता था यहां से भी वे अपने पुत्र को आगे नहीं रख सके वैभव गहलोत को सरदारपुरा से भी 18 हजार से अधिक मतों से शिकस्त झेलनी पड़ी इतना ही नहीं कांग्रेस के अन्य पांच विधायक भी अपने-अपने क्षेत्रों में वैभव को आगे नहीं रख सके सभी जगह पर कांग्रेस की करारी शिकस्त हुई। सबसे बड़ी शिकस्त लूणी विधानसभा क्षेत्र में कांग्रेस को हुई यहां 68 हजार से अधिक मतों से वैभव गहलोत को पीछे रहने पड़ा। इसके उलट विधानसभा चुनाव में 8 में से सिर्फ 2 सीटें जीतने वाले भारतीय जनता पार्टी के विधायकों के क्षेत्र में शेखावत को बड़ी बढ़त मिली विधानसभा चुनाव में भाजपा ने फलौदी व सूरसागर में 10000 से कम के अंतर से सीटें जीती थी लेकिन गुरुवार को आए परिणामों इन दोनों सीटों से भाजपा को बढ़त मिली।


Conclusion:गजेंद्र सिंह शेखावत : 788888
वैभव गहलोत : 514448
जीत का अंतर : 274440
------
शेखावत को कहाँ से कितनी बढ़त
फलोदी 19162
लोहावट 32311
जोधपुर शहर 29728
पोकरण 19811
लूनी 68946
सरदारपुरा 18827
शेरगढ़ 39801
सूरसागर 41528
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