जयपुर. कोरोना काल में करीब 10 महीने के बाद खुले उच्च शिक्षण संस्थानों में विद्यार्थी फिलहाल कम संख्या में ही पहुंच रहे हैं. बीते दो दिनों में राजस्थान विश्वविद्यालय के विभागों और संघटक कॉलेजों में भी विद्यार्थियों की संख्या उतनी तादाद में नहीं दिखी, जितनी कोरोना काल से पहले होती थी. हालांकि, अभी सिर्फ अंतिम वर्ष के विद्यार्थियों की ही कॉलेज और डिपार्टमेंट में ऑफलाइन पढ़ाई शुरू हुई है.
कोरोना काल में करीब 10 महीने बाद 18 जनवरी से शिक्षण संस्थान खुल चुके हैं. फिलहाल, स्कूलों में जहां कक्षा 9 से 12 वीं तक के विद्यार्थियों की ऑफलाइन पढ़ाई शुरू हुई है, तो वहीं कॉलेजों में अंतिम वर्ष के विद्यार्थियों की भी ही पढ़ाई ऑफलाइन शुरू हुई है. हालांकि, बीते दो दिन में राजस्थान विश्वविद्यालय से जुड़े उच्च शिक्षण संस्थाओं में विद्यार्थियों की संख्या कम ही देखने को मिली है. वहीं आंकड़े बताते हैं कि राजस्थान विश्वविद्यालय की संघटक कॉलेजों में अंतिम वर्ष के करीब 20-25 फीसदी ही कॉलेज आ रहे हैं, जबकि विवि के स्नातकोत्तर विभागों में यह संख्या और भी कम देखी जा रही है.
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फिलहाल, कॉलेज और विश्वविद्यालय अंतिम वर्ष के विद्यार्थियों और शोध विद्यार्थियों के लिए ही खोले गए हैं. वहीं विश्वविद्यालय की संघटक महारानी कॉलेज में बीते दो दिनों में अंतिम वर्ष की महज 25 फीसदी छात्राएं ही कॉलेज पहुंची हैं. वहीं शिक्षकों का कहना है कि दो दिन में छात्राओं की संख्या कम देखने को मिली है, लेकिन इस सप्ताह के अंत तक यह आंकड़ा बढ़ने की उम्मीद है. उन्होंने कहा कि कई छात्राएं जयपुर से बाहर की हैं, जो कोरोना काल में अपने घर चली गई थी, उन्हें वापस जयपुर आने में कुछ और समय लग सकता है.
वहीं इसी तरह महाराजा कॉलेज, राजस्थान कॉलेज और कॉमर्स कॉलेज में भी करीब 20 फीसदी विद्यार्थी ही बीते दो दिन में कैंपस में पहुंचे हैं. इनमें से भी ज्यादातर का समय एक दूसरे के हालचाल जानने और मौज मस्ती में ही बीता है. वहीं इन कॉलेजों के शिक्षकों का भी कहना है कि हालांकि दो दिन में संख्या कम रही है लेकिन अगले सप्ताह तक कॉलेज आने वाले विद्यार्थियों की संख्या में इजाफा होने की उम्मीद है.
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बता दें कि इसी तरह विश्वविद्यालय के स्नातकोत्तर विभागों में बीते दो दिन में विद्यार्थियों की उपस्थिति 10 फीसदी से भी कम रही है. कई विभाग तो ऐसे भी रहे जिनमें इक्का-दुक्का विद्यार्थी ही नजर आए. वहीं विश्वविद्यालय के जिम्मेदार अधिकारियों का कहना है कि जल्द ही हॉस्टल्स में प्रवेश की प्रक्रिया भी शुरू की जा रही है. इसके बाद क्लास में विद्यार्थियों की संख्या बढ़ने की उम्मीद है.