जयपुर. परिवहन विभाग के द्वारा अंगदान को बढ़ावा देने के लिए एक अनूठी पहल करते हुए अब वाहन चालकों को जारी होने वाले ड्राइविंग लाइसेंस पर अंगदान की सहमति देने और नहीं देने की जानकारी अंकित करने की कवायद तेज कर उसे जरूरी भी कर दिया है.
वहीं दूसरी तरफ वाहन चालकों की सबसे अहम जानकारी चालक का ब्लड ग्रुप उसके ड्राइविंग लाइसेंस पर अंकित करने की प्रक्रिया खुद परिवहन विभाग अब भुला बैठा है. रोजाना जारी हो रहे सैकड़ों ड्राइविंग लाइसेंस पर आवेदक का बिना ब्लड ग्रुप लिखे जारी करने के मामले में लगातार बढ़ रहे हैं, लेकिन परिवहन विभाग के अधिकारी इस ओर ध्यान भी नहीं दे रहे हैं.
पढ़ेंः विधायक मदन दिलावर ने हाईकोर्ट में दाखिल की यचिका, बसपा विधायकों के विलय को रद्द करने की मांग
हालांकि परिवहन विभाग के जब आला अधिकारियों से इस मामले को लेकर जानना चाहा तो विभाग के किसी भी अधिकारी ने इस संबंध में बोलने से मना कर दिया. वहीं परिवहन विभाग के आयुक्त अभी कोरोना वायरस से संक्रमित है. जिसके चलते कई अधिकारियों ने भी अपने आपको होम क्वॉरेंटाइन भी कर रखा है.
गौरतलब है कि परिवहन आयुक्त रवि जैन ने बीते दिनों आदेश जारी कर ड्राइविंग लाइसेंस वाले आवेदकों से आवेदन पत्र पर अंगदान करने की जानकारी देने की अनिवार्यता लागू की थी. अब आवेदक को आवेदन पत्र में अंगदान की सहमति देने और इनकार करने की जानकारी अंकित करना अनिवार्य होगा.
दूसरी तरफ सड़क दुर्घटना होने और वाहन चालक की गंभीर स्थिति में खून की जरूरत होने पर ड्राइविंग लाइसेंस पर संबंधित व्यक्ति का ब्लड ग्रुप अंकित हो तो मेडिकल स्टाफ को आसानी होती है. बावजूद इसके आवेदक और खुद परिवहन विभाग स्टाफ सबसे जरूरी जानकारी अंकित करना में ही अनदेखी कर रहा है.
आवेदक द्वारा जानकारी उपलब्ध नहीं कराने की स्थिति में परिवहन विभाग ब्लड ग्रुप अननोन की रिपोर्ट सलंग्न कर ड्राइविंग लाइसेंस आवेदक को देगा. वहीं जब परिवहन विभाग के एक वरिष्ठ अधिकारी ने फोन पर बातचीत में बताया कि, आवेदक ही इस तरह की जानकारी देने को लेकर जागरूक नहीं है, तो विभाग भी अब क्या करें.
जबकि विभाग ऑर्गन डोनर की जानकारी देने की अनिवार्यता लागू कर रहा है, तो यह बाध्यता भी कितने दिन अब परिवहन विभाग में चलेगी, यह भी देखने वाली बात होगी. क्योंकि बिना ब्लड ग्रुप की जानकारी के ऑर्गन डोनर भी करना भी सफल नहीं हो पाएगा.