जयपुर. कोविड महामारी में राजधानी के अस्पतालों में चल रही गैस सिलेंडरों की कमी अब दूर होगी. कोविड मरीजों को अब ऑक्सीजन के लिए भटकना नहीं पड़ेगा. जिला कलेक्टर ने ऑक्सीजन की कमी को पूरी करने के लिए 1500 ऑक्सीजन गैस सिलेंडरों को अलग-अलग औद्योगिक इकाइयों और फर्मों से अधिग्रहित किया हैं.
जिला कलेक्टर अंतर सिंह नेहरा ने बताया कि 6 फर्म-औद्यौगिक इकाइयों से 1500 सिलेंडर अधिग्रहित किए गए हैं. मलूका इंजीनियरिंग से 400 सिलेंडर, अजमेर एयर प्रोडक्ट से 300, विल्सन गैस से 250 सिलेंडर, श्री हरि गैस से 350 सिलेंडर, शिवम गैसेज से 100 और अंकुर एजेंसी से 100 ऑक्सीजन गैस सिलेंडर अधिग्रहित किए गए हैं.
कलेक्टर ने ऑक्सीजन गैस सिलेंडर अधिकृत करने के लिए आदेश जारी किया और आदेश में कहा गया कि गंभीर प्रकृति के कोविड-19 ग्रसित रोगियों को मेडिकल ऑक्सीजन गैस की अधिक आवश्यकता रहती है. वर्तमान में जयपुर शहर के सभी चिकित्सालय कोविड-19 में बढ़ती हुई मेडिकल ऑक्सीजन गैस की आवश्यकता के मद्देनजर अधिक ऑक्सीजन गैस सिलेंडर की आवश्यकता है. चिकित्सालय और कोविड केयर सेन्टर में मेडिकल ऑक्सीजन गैस की समुचित व्यवस्था और निर्बाध आपूर्ति सुनिश्चित करने के लिए राजस्थान महामारी अध्यादेश 2020 और आपदा प्रबंधन अधिनियम 2005 के तहत औद्योगिक इकाइयों और अलग-अलग फर्मों से यह गैस सिलेंडर अधिकृत किए गए हैं. आदेश में कहा गया है कि यह औद्योगिक इकाइयां और फर्म चिकित्सालय द्वारा कोविड-19 के उपयोग में लेने के बाद खाली हुए सिलेंडरों को फिर से समय-समय पर प्राथमिकता से भरकर आगामी आदेश तक उपलब्ध कराते रहेंगे.
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आदेश की अवहेलना करने पर आपदा प्रबंधन अधिनियम 2005 की धारा 57 के तहत कार्रवाई की जाएगी. इसमें 1 वर्ष तक के कारावास और जुर्माना और दोनों सजा से दंडित किया जा सकता है. कलेक्टर ने बताया कि प्रक्रिया को पूरी करने के लिए रिको के अधिकारियों को अधिग्रहणकर्ता अधिकारी बनाया गया है. गौरतलब है कि शहर में लगातार कोरोना मरीजों की संख्या बढ़ती जा रही है. वहीं निजी और सरकारी अस्पतालों में ऑक्सीजन गैस सिलेंडरों की कमी हो रही है. इसकी शिकायत भी जिला कलेक्टर अंतर सिंह मेहरा तक पहुंची थी इसके बाद कलेक्टर अंतर सिंह नेहरा ने यह आदेश जारी किया है.