जयपुर. प्रदेश भर में कोरोना की दूसरी लहर ने बहुत कहर बरपाया. सैकड़ों लोगों की जान गई और हजारों संक्रमित हुए. राजधानी जयपुर भी इससे अछूता नहीं रहा. जयपुर जिला प्रशासन एवं भामाशाहों ने इस विकट परिस्थिति में जयपुर जिले की लोगों की भरपूर मदद की. जयपुर के ग्रामीण क्षेत्रों में से भी एक ऐसा शख्स सामने आया जिसने दिल खोल कर पीड़ितों की तरफ मदद के हाथ बढ़ाए और 10 बेड का कोविड केयर सेंटर शुरू किया. अस्पतालों तक मरीजों को पहुंचाने के लिए निशुल्क एंबुलेंस चलवाई तो राशन सामग्री और निशुल्क दवाइयां भी बंटवाईं.
हम बात कर रहे हैं जयपुर के ग्रामीण क्षेत्र के समाजसेवी आशु सिंह सुरपुरा की जिन्होंने कोरोना संक्रमित मरीजों के लिए खुलकर मदद के हाथ बढ़ाए. दूसरी लहर के चलते स्वास्थ्य विभाग ने भरपूर कोशिश कर संसाधन उपलब्ध करवाए, लेकिन ये भी नाकाफी रहे. ऐसे में तमाम भामाशाहों की तरह आशु सिंह सुरपुरा ने भी कोरोना से लोगों की जान बचाने के लिए अपने धन का सदुपयोग कर जैन गुरुकुल धर्मशाला में 10 बेड का आधुनिक सुविधाएं युक्त कोविड सेंटर बनाया. दूसरी लहर में ऑक्सीजन की किल्लत रही और सरकारी अस्पतालों में बेड भी फुल हो गए. जयपुर में बनाए गए आरयूएचएस, एसएमएस, अस्पताल व बीलवा में बनाए गए कोविड सेंटर में भी बेड कम पड़ गए.
ऑक्सीजन युक्त एंबुलेंस निशुल्क चलाई
सुरपुरा ने कोविड केयर सेन्टर बनाकर ग्रामीण क्षेत्रों के लोगों को बड़ी राहत दी. संक्रमण के दौरान लोगों की मदद के लिए सुरपुरा ने दो ऑक्सीजन युक्त एंबुलेंस निशुल्क उपलब्ध करवाई, ताकि मरीजों को अस्पताल तक पहुंचाने में मदद मिल सके. कोविड सेंटर में भर्ती मरीजों व उनके परिजनों के लिए निशुल्क भोजन और ठहरने की व्यवस्था भी अलग से की गई. उन्होंने न केवल कोविड केयर सेंटर बनाया बल्कि प्रतिदिन व्यवस्थाओं का भी जायजा लिया. लोगों की मदद के लिए हेल्पलाइन नंबर भी जारी किए. लोगों ने उन्हें फोन कर अपनी परेशानी बताई और सुरपुरा ने उनकी मदद भी की.
समाजसेवी आशु सिंह सुरपुरा ने कोविड केयर सेंटर आरयूएचएस, सवाई मानसिंह अस्पताल के बाहर अपनी टीम के साथ लोगों की मदद भी की. फुटपाथ पर रहने वाले परिवारों को भी उन्होंने राशन उपलब्ध करवाया. आशु सिंह सुरपुरा ने कोरोना से मरने वाले मृतकों के परिजनों को आर्थिक सहायता भी उपलब्ध करवाई. हालांकि कोरोना की दूसरी लहर अब कमजोर पड़ने लगी है और मरीजों की संख्या में भी गिरावट हुई है. इन सब के बावजूद आशु सिंह सुरपुरा की ओर से किए जाने वाले मदद कार्य अभी भी जारी हैं.