जयपुर. राजस्थान शिक्षक पात्रता परीक्षा के जरिए इस साल 20,000 शिक्षकों की भर्ती (REET Recruitment in rajasthan) के नाम पर सियासत गरमा गई है. भाजपा नेताओं की माने तो गहलोत सरकार केवल अपनी वादाखिलाफी और पूर्व में किए गए पापों को छुपाने के लिए इस परीक्षा की वापस घोषणा कर लीपापोती का प्रयास कर रही है. जबकि पूर्व में हुईं परीक्षाओं में धांधली को लेकर प्रदेश का बेरोजगार अब तक नाराज है.
भाजपा प्रदेश अध्यक्ष डॉ. सतीश पूनिया (Satish poonia comment on REET Recruitment) के अनुसार होना तो यह चाहिए था कि प्रदेश सरकार पहले पूर्व में हुई रीट परीक्षा की धांधली की जांच सीबीआई से करवाती और जब उस में दोषियों को सजा मिलती तब बेरोजगार अभ्यर्थियों को सुकून मिलता लेकिन ऐसा नहीं हुआ भाजपा प्रदेश अध्यक्ष के अनुसार 3 साल बाद टुकड़ों में भर्ती करके गहलोत सरकार केवल युवाओं को भ्रमित करने का काम कर रही है जबकि भर्ती के लिए सरकार को डेडीकेटेड एक्शन प्लान बना कर युवाओं के सामने रखना चाहिए था ताकि समय बस तरीके से परीक्षा और भर्तियां हो सके.
प्रदेश सरकार ही करवा रही अनियमितता
भाजपा प्रदेश अध्यक्ष ने कहा कि भर्ती परीक्षाओं में अनियमितता खुद कांग्रेस सरकार ही करवा रही है. पूर्व में रीट परीक्षा में बत्ती लाल मीणा की संलिप्तता सामने आने और अब वीडीओ परीक्षा में एनएसयूआई प्रदेश महासचिव की गिरफ्तारी इस बात का उदाहरण है. उन्होंने कहा कि प्रदेश का युवा अब कांग्रेस के चाल-चरित्र को समझ चुका है और सरकार के बहकावे में आने वाला नहीं है.
तेरापंथ आचार्य महाश्रमण के साथ पदयात्रा पर भाजपा प्रदेश अध्यक्ष
तेरापंथ के प्रेरक आचार्य महाश्रमण अपनी अहिंसा यात्रा के दौरान जयपुर प्रवास पर हैं. इस दौरान गुरुवार को जहां उन्होंने मुख्यमंत्री अशोक गहलोत के निवास स्थान पर पहुंच कर उनसे मुलाकात की थी. शुक्रवार को भी आचार्य महाश्रमण निर्माण नगर क्षेत्र में पहुंचे. भाजपा प्रदेश अध्यक्ष सतीश पूनिया ने भी सपरिवार उनसे मुलाकात कर आशीर्वाद लिया और उनके साथ करीब 1 किलोमीटर तक पैदल यात्रा भी की.
सतीश पूनिया जैन संतो के साथ पैदल ही महाप्रज्ञा इंटरनेशनल स्कूल से 200 फीट बाइपास अजमेर रोड तक पदयात्रा पर चले और इस दौरान जैन संतों का मार्गदर्शन भी उन्होंने लिया आचार्य महाश्रमण ने पूनिया को इमानदारी और शुचिता के साथ राजनीतिक और सेवा कार्य करने का संदेश दिया. वहीं पूनिया ने कहा कि आचार्य महाश्रमण जैसे तपस्वी संतों के जयपुर आगमन शहरवासियों के लिए सौभाग्य का विषय है. उन्होंने कहा कि आचार्य महाश्रमण की यह यात्रा देश के मौजूदा परिस्थितियों में सामाजिक सद्भावना के लिए बेहद महत्वपूर्ण है और इसका एक संदेश भी समाज और प्रदेश में जा रहा है.