जयपुर. संस्कृत शिक्षा विभाग में विद्यालय संवर्ग के 165 पदों के लिए आरपीएससी की ओर से पदोन्नति की बैठक का आयोजन किया गया. जबकि संस्कृत कॉलेजों में कार्यरत 21 व्याख्याताओं को पे बैंड-4 के लिए भी स्क्रीनिंग कमेटी की बैठक हुई है. संस्कृत शिक्षा मंत्री डॉ. बीडी कल्ला ने यह जानकारी दी है.
संस्कृत शिक्षा मंत्री डॉ. बीडी कल्ला ने बताया कि संस्कृत शिक्षा विभाग में विद्यालय (Sanskrit Education Department) संवर्ग के विभिन्न 165 पदों के लिए आज राजस्थान लोकसेवा आयोग ने पदोन्नति की बैठक आयोजित की (RPSC held meeting regarding promotion) है. इसके अलावा संस्कृत महाविद्यालयों में कार्यरत सलेक्शन स्केल के एपीआई स्कोर वाले 21 व्याख्याताओं की पे-बैंड-4 के लिए भी स्क्रिनिंग समिति की बैठक आयोजित की गई. संस्कृत महाविद्यालयों में वर्ष 2012 में पहली बार मुख्यमंत्री अशोक गहलोत द्वारा यूजीसी वेतनमान स्वीकृत किए गए. महाविद्यालय शिक्षकों की ओर से 7वां वेतन आयोग तथा पे बैंड-4 की मांग लंबे समय से की जा रही थी. इस पर मुख्यमंत्री ने सहानुभूतिपूर्वक विचार करते हुए साल 2021 में स्वीकृति प्रदान की. संस्कृत शिक्षा के इतिहास में महाविद्यालय शिक्षकों को अकादमिक प्रदर्शन के आधार पर पहली बार पे-बैंड-4 दिया गया है.
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डॉ. कल्ला ने बताया कि विद्यालय संवर्ग के लिए आयोजित पदोन्नति की बैठक में संभागीय संस्कृत शिक्षा अधिकारी/सहायक निदेशक के 9 पदों, प्रधानाध्यापक (प्रवेशिका) के 5 पदों, विभिन्न विषयों के विद्यालय शाखा के प्राध्यापकों के 142 पदों और वरिष्ठ अध्यापक (टीएसपी) के 9 पदों के लिए पदोन्नतियां की गई. डॉ. कल्ला ने बताया कि महाविद्यालय संवर्ग ने जिन सलेक्शन स्केल प्राप्त व्याख्याताओं को बिना एपीआई स्कोर पे-बैंड-4 दिया जाना हैं. उनके संबंध में विभाग की ओर से प्रस्ताव भिजवाए जा चुके हैं. इन्हें भी यथाशीघ्र पे-बैंड-4 स्वीकृत करने का प्रयास किया जाएगा. संस्कृत महाविद्यालयों में कार्यरत शिक्षकों ने पे-बैंड-4 स्वीकृत किए जाने के इस निर्णय को लेकर मुख्यमंत्री और संस्कृत शिक्षा मंत्री का आभार व्यक्त किया है.