जयपुर. कोरोना संक्रमण को रोकने के लिए लगाये गए लॉकडाउन का चौथा चरण जारी है. लॉकडाउन के चलते कई लोगों की रोजी-रोटी पर संकट आ गया है. प्रदेश भर में लॉकडाउन के कारण टेंट और शादियों से जुड़े विभिन्न व्यवसाय भी बंद पड़े हैं. ऐसे में राजस्थान टेंट डीलर्स समिति सरकार के सामने अपनी मांग रखी है. राजस्थान टेंट डीलर्स किराया व्यवसायी समिति ने मुख्यमंत्री को ज्ञापन देकर 1 जून से शादियों में 300 से 400 लोगों के शामिल होने के लिए मंजूरी देने की मांग की है.
राजस्थान टेंट डीलर्स किराया व्यवसायी समिति के अध्यक्ष रवि जिंदल ने बताया कि, शादी समारोह फिर से शुरू करने के लिए 13 सुझाव सरकार को दिए हैं. इन सुझावों के आधार पर फिर से शादी समारोह की सरकार मंजूरी दे. ताकि टेंट, लाइट, जनरेटर, फूल माला, इवेंट, लवाजमा, बैंड, डीजे साउंड, केटरिंग, हलवाई, विवाह स्थल और फोटोग्राफर को रोजगार मिल सके. जिंदल ने बताया कि अगर हवाई जहाज में 186 लोगों को बैठने की मंजूरी दी जाती है, तो फिर शादी समारोह में क्यों नहीं. लॉकडाउन से टेंट और शादियों से जुड़े करीब 3.5 लाख लोगों के परिवारों पर रोजी-रोटी का संकट खड़ा हो गया है. सरकार से मांग है कि शादी और अन्य समारोह के लिए 1 जून से करीब 400 लोगों के साथ आयोजन करने की छूट दी जाए.
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उन्होंने कहा कि हम सरकार की गाइडलाइन के मुताबिक कोरोना संक्रमण रोकने के लिए सोशल डिस्टेंसिंग, मास्क, सैनिटाइजर जैसे तमाम इंतजाम के साथ समारोह आयोजित करने को तैयार है. साथ ही उन्होंने सरकार से शहरी निकायों के विवाह स्थलों का वर्ष 2020-21 का वार्षिक शुल्क माफ करने और सरकारी और अर्ध सरकारी, प्राइवेट विवाह स्थल, गोदाम, दुकानों का मार्च अप्रैल से अक्टूबर माह तक का किराया माफ करने, छोटे व्यवसायियों को आर्थिक सहायता प्रदान करने की भी मांग की है.
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समिति के महासचिव रघुनंदन बंसल ने बताया कि सरकार ने रेवन्यू देने वाली सभी दुकान और उद्योग धंधों को खोलने की छूट दी है. उसी तरह टेंट व्यवसाईयों को भी छूट मिलनी चाहिए. किसी भी शादी समारोह में 50 लोगो के जाने की अनुमति होती है. लेकिन किसी घर के मेंबर ही 100 है, तो ऐसे में किसको लेकर जाएं और किस को मना किया जाए. जिससे परिवार के लोग भी शादी में शामिल नहीं हो पाते हैं. ऐसे में कम से कम 400 लोगों को शादी समारोह में शामिल होने की छूट दी जानी चाहिए. साथ ही टेंट व्यवसाय से जुड़े छोटे व्यापारियों को आर्थिक पैकेज भी दिया जाना चाहिए.