जयपुर. राजस्थान हाईकोर्ट ने पुलिस कांस्टेबल भर्ती-2020 की लिखित परीक्षा में पदों के मुकाबले पांच गुणा अभ्यर्थियों को शारीरिक दक्षता परीक्षा के लिए उत्तीर्ण नहीं करने पर 24 मार्च से होने वाली दक्षता परीक्षा आयोजित करने पर रोक लगा दी है. न्यायाधीश एसपी शर्मा ने यह आदेश दिनेश कुमार जाखड़ व अन्य की याचिका पर दिए.
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अदालत ने अपने आदेश में कहा कि सुप्रीम कोर्ट के आदेशानुसार राज्य सरकार को परिणाम जारी करते समय रोस्टर पॉइंट का पालन करना चाहिए था, लेकिन पुलिस विभाग की ओर से प्रथम दृष्टया इसका उल्लंघन किया गया है. याचिका में अधिवक्ता रामप्रताप सैनी ने अदालत को बताया कि राज्य सरकार ने प्रदेश के विभिन्न जिलों में कांस्टेबल भर्ती निकाली. भर्ती विज्ञापन की शर्त के अनुसार शारीरिक दक्षता परीक्षा के लिए पदों के मुकाबले पांच गुणा अभ्यर्थियों को बुलाना था. लेकिन राज्य सरकार की ओर से तय अनुपात में अभ्यर्थियों को लिखित परीक्षा में उत्तीर्ण नहीं किया गया.
याचिका में कहा गया कि जीआरपी अजमेर में 57 पद, राजसमंद में 33 पद ओबीसी पुरुष के लिए आरक्षित रखे गए थे. नियमानुसार इन पदों के पांच गुणा अभ्यर्थियों को दक्षता परीक्षा के लिए बुलाया जाना था, लेकिन अजमेर में 285 अभ्यर्थियों के बजाए 97 अभ्यर्थियों को ही पास किया गया. इसी तरह अन्य जिलों में भी ओबीसी के कम अभ्यर्थी पास किए गए.
वहीं राज्य सरकार की ओर से कहा गया कि पहले भूतपूर्व सैनिकों का परिणाम जारी किया गया. जिसमें 43 पदों के मुकाबले 215 अभ्यर्थियों को पास किया गया है. इसमें से 188 अभ्यर्थी ओबीसी वर्ग से हैं. ऐसे में ओबीसी वर्ग को उचित प्रतिनिधित्व दिया गया है. जिस पर सुनवाई करते हुए एकलपीठ ने 24 मार्च से होने वाली दक्षता परीक्षा पर रोक लगा दी है.