जयपुर. प्रदेश की गहलोत सरकार के 2 साल के कार्यकाल पर सियासी आरोप-प्रत्यारोप का सिलसिला जारी है. अब भारतीय जनता पार्टी के पूर्व प्रदेश अध्यक्ष व पूर्व मंत्री डॉ. चतुर्वेदी ने कहा कि वर्तमान कांग्रेस सरकार आजादी के बाद की अब तक की सबसे असफल व कमजोर सरकार है. चतुर्वेदी के अनुसार, ये सरकार राजस्थान के इतिहास में विभिन्न योजनाओं को बंद करने वाली सरकार के नाम से जानी जाएगी. राज्य की अशोक गहलोत सरकार ने अपने 24 माह के शासन में 21 योजनाओं को बंद करने का काम किया है.
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इन योजनाओं को बंद करने का लगाया आरोप
- मुफ्त दूध बन्द
- भामाशाह बंद
- भामाशाह स्वास्थ्य सेवा बंद
- आयुष्मान योजना लागू नहीं
- अन्नपूर्णा योजना प्रारम्भ नहीं
- जल स्वावलंबन बंद
- पेंशन बंद
- आर्थिक पिछड़ा वर्ग की छात्रवृत्ति बंद
- गौरव पथ निर्माण बंद
- प्रशासन शहरों की ओर अभियान बंद
- गांवों में लगने वाले राजस्व शिविर बंद
- शिक्षित युवाओं का रोजगार बंद
- बिजली पर मिलने वाली किसानों की छूट बंद
- किसानों की बाजरे की MSP की खरीद बंद
- संविदा कर्मियों की भर्ती बंद
- सफाई कर्मचारियों की भर्ती बंद
- शहरों का विकास बंद
- भ्रष्टाचार पर लगाम बंद
- अपराधियों पर नियंत्रण बंद
- सेवानिवृत कर्मियों की दवाई बंद
- कोरोना काल में मुख्यमंत्री व मंत्री घरों में बंद
अरुण चतुर्वेदी ने कहा कि सरकार की असफलता का अंदाजा इसी बात से लगाया जा सकता है कि इस महामारी के समय देश के सभी मुख्यमंत्री घर से निकलकर जनता की समस्याओं को दूर करने में लगे हैं. वहीं, राजस्थान के मुख्यमंत्री गत 9 माह से घर के बाहर नहीं निकले. मुख्यमंत्री को न तो जनता से मिलने की फुरसत है और न ही कांग्रेस कार्यकर्ताओं से. कल सेवादल के कार्यकर्ताओं को वर्चुअली संबोधित करके मुख्यमंत्री ने यह सिद्ध कर दिया है.