जयपुर. शहर को स्वच्छता में नंबर- 1 बनाने के लक्ष्य को लेकर चल रही ग्रेटर नगर निगम महापौर डॉ. सौम्या गुर्जर ने सफाई व्यवस्था को लेकर निगम अधिकारियों की बैठक ली. इस दौरान महापौर ने बीवीजी की कार्यशैली पर नाराजगी जताते हुए कहा कि पायलट प्रोजेक्ट के रूप में एक जोन से बीवीजी को हटाकर निगम के संसाधनों से डोर-टू- डोर कचरा संग्रहण की व्यवस्था शुरू की जानी है, इसके लिए आवश्यक तैयारी करने के निर्देश दिए. वहीं जिन वार्डों में सफाई कर्मचारियों की कमी है, वहां जोन उपायुक्त अपने स्तर पर एक वार्ड से दूसरे वार्ड में सफाई कर्मचारियों का स्थानांतरण कर दें.
इसके साथ ही सौम्या गुर्जर में कोविड- 19 की गाइडलाइन पालना को लेकर सख्त रुख अख्तियार करते हुए मास्क लगाए बिना घूमने वालों के चालान काटने, और विवाह समारोह में 100 से ज्यादा लोग मिलने पर मैरिज गार्डन को सीज करते हुए जुर्माना वसूलने के निर्देश दिए. इस दौरान उन्होंने सफाई कार्य में लापरवाही बरतने, मीटिंग में अनुपस्थित रहने और आमजन की शिकायतों का समय पर निस्तारण नहीं करने पर सांगानेर जोन के मुख्य सफाई निरीक्षक रोशन चंद्र को 17 सीसीए के तहत कारण बताओ नोटिस देने के निर्देश दिए. साथ ही उन्होंने अधिकारियों को निर्देश दिए कि साल 2018 की सफाई कर्मचारी की भर्ती से जो भी नियुक्तियां हुई हैं, उन सभी कर्मचारियों को सफाई व्यवस्था में लगाया जाए. उन्होंने कहा कि सफाई कर्मचारी चाहे किसी भी जाति, धर्म, संप्रदाय का हो, सफाई ही करेगा.
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गौरतलब है कि इस संबंध में लगातार शिकायत मिल रही थी कि नई सफाई कर्मचारी भर्ती से जो कर्मचारी नियुक्त हुए हैं, उनमें से गैर वाल्मीकि समाज के कई कर्मचारी सफाई व्यवस्था में कार्यरत नहीं होकर कार्यालय में लगे हुए हैं. ऐसे में महापौर ने सफाई व्यवस्था को एक जाति विशेष की जिम्मेदारी नहीं बताते हुए, जो जिस पद पर नियुक्त हुआ है, उसे वही कार्य करने के लिए निर्देशित किया.