जयपुर. ऑल इंडिया रेलवे मेंस फेडरेशन के आह्वान पर शुक्रवार को पूरे देश के डीआरएम कार्यालय, उत्पादन ईकाइयों और कारखानों पर कई मांगों को लेकर विशाल प्रदर्शन किया गया. नॉर्थ वेस्टर्न रेलवे एम्पलॉइज यूनियन ने भी अपनी विभिन्न मांगों को लेकर जयपुर मंडल कार्यालय पर रैली निकालकर विरोध प्रदर्शन किया. इस दौरान डीए फ्रीज को चालू करने की मांग और नाइट ड्यूटी अलाउंस दोहरी मापदंड अपनाने का विरोध किया. साथ ही कर्मचारियों के खिलाफ केंद्र सरकार की एक तरफा कार्रवाई का विरोध किया गया. यूनियन का कहना है कि इंजीनियरिंग कर्मचारियों से 365 दिन काम लिया जाता है. ऐसे कर्मचारियों के लिए पीने का पानी की कोई व्यवस्था नहीं है और वो संसाधन के अभाव में काम कर रहे है, जिससे कर्मचारियों का शोषण हो रहा है.
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गौरतलब है कि एनपीएस संबंधित मुद्दों पर यूनियन समय-समय पर विरोध जता चुकी है. कर्मचारियों ने मांगे मनवाने के लिए केंद्र सरकार को चेतावनी दी है कि समय पर मांगों का निस्तारण नहीं किया जाता है तो आने वाले समय में यूनियन की ओर से बड़े रूप में आंदोलन किया जाएगा. यूनियन का कहना है कि रेलवे के निजीकरण को लेकर लोगों को जगाने का भी यूनियन ने काम किया है. रेल को निजीकरण से बचाने के लिए सभी को साथ आना होगा.
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नॉर्थ वेस्टर्न रेलवे एंप्लाइज यूनियन के मंडल मंत्री आरके सिंह ने बताया कि ऑल इंडिया रेलवे मेंस फेडरेशन के आह्वान पर देशभर में विरोध प्रदर्शन किया गया है. कर्मचारियों की मांग है कि फ्रिज किए गए डीए को वापस चालू किया जाए. इसके साथ ही विभिन्न मांगे लगातार की जा रही है, लेकिन सरकार की ओर से कोई ध्यान नहीं दिया जा रहा. रेलवे इंजीनियरिंग डिपार्टमेंट के कर्मचारी 365 दिन काम करते हैं, जिनके लिए कोई व्यवस्थाएं नहीं है. इससे कर्मचारियों को काफी मुश्किलों का सामना करना पड़ रहा है. कर्मचारियों ने रैली निकालकर भारत सरकार को चेतावनी देने का काम किया है. अगर कर्मचारियों की मांगों को समय पर पूरा नहीं किया गया तो आंदोलन को तेज किया जाएगा. रेलवे कर्मचारियों की विभिन्न मांगों को लेकर मंडल प्रबंधक को भी ज्ञापन दिया गया है. आने वाले समय में जागृति सप्ताह मनाकर बड़ा आंदोलन किया जाएगा. रेलवे के निजीकरण को लेकर भी आक्रोश जताया गया है. रेलवे के निजीकरण से जनता को भी बहुत नुकसान होगा. इसलिए सभी को मिलकर रेल को बचाने का काम करना चाहिए.