जयपुर. नगर निगम ग्रेटर साधारण सभा की बैठक गुरुवार को निगम मुख्यालय में हुई. बैठक में 9 प्रस्तावों पर चर्चा की गई और चर्चा के बाद सभी प्रस्तावों को पास कर दिया गया. विकास के मुद्दों पर पार्टियों के जनप्रतिनिधि हर बार उलझते हुए नजर आते हैं, लेकिन जब अपने भत्ते बढ़ाने की बात आती है तो वे एकजुट हो जाते हैं. ऐसा ही नजारा निगम मुख्यालय में नगर निगम ग्रेटर की पहली साधारण सभा की बैठक में भी देखने को मिला.
यहां निगम का वर्ष 2021-22 का बजट पास कराने में 3 घंटों का समय लगा और कई बार पार्षद आपस में उलझते हुए भी दिखाई दिए. जब पार्षदों के भत्ते बढ़ाने की बात आई तो पार्षद एकजुट हो गए और पल भर में ही प्रस्ताव को पारित कर दिया गया. हंगामे के बीच महापौर ने दो बार सदन की कार्यवाही को 15-15 मिनट के लिए स्थगित भी की.
शुरुआत में ही हुआ हंगामा
सभा की शुरुआत में महापौर ने शोकाभिव्यक्ति की तो कांग्रेस पार्षद करण शर्मा ने किसान आंदोलन में मरे किसानों को भी इसमें शामिल करने की मांग की. इस बात पर कांग्रेस और भाजपा पार्षदों में हंगामा शुरू हो गया. महापौर ने 2 मिनट का मौन रखने के बाद 15 मिनट के लिए सदन की कार्यवाही को स्थगित कर दिया.
इस दौरान भाजपा और कांग्रेस पार्षदों में खूब जयकारे लगाए गए. भाजपा पार्षदों ने वंदे मातरम और जय श्रीराम के नारे लगाए तो कांग्रेसी पार्षदों ने जय जवान जय किसान और भारत माता की जय के जयकारे लगाए. सदन के दौरान कांग्रेस पार्षद करण शर्मा के दोबारा बोलने पर भाजपा पार्षदों ने आपत्ति जताई. इस बात को लेकर भाजपा पार्षदों और कांग्रेस पार्षदों में जमकर तू-तू मैं-मैं देखने को मिली.
महापौर ने भी करण शर्मा को को बोलने से मना कर दिया. इसके बाद कांग्रेस पार्षद वेल तक पहुंच गए उनको देखकर भाजपा पार्षद उनके सामने आ गए. भाजपा पार्षदों ने जय श्री राम के नारे लगाए वहीं कांग्रेस ने पार्षदों ने मोदी के खिलाफ नारेबाजी की जय जवान जय किसान के नारे लगाए.
बजट अभिभाषण में सरकार पर भेदभाव का आरोप
महापौर सौम्या गुर्जर ने अपने बजट अभिभाषण में सरकार पर भेदभाव का आरोप लगाया. महापौर ने कहा कि हमे विरासत में खाली खजाने के साथ 165 करोड़ रुपए की देनदारियां भी मिली है. सरकार ने दो नगर निगम बना दिए, हमारे निगम क्षेत्र बड़ा होने के बाद भी हमें संसाधन कम दिए गए. हम जमीन विक्रय के लिए लैंडबैंक बना रहे हैं. कमजोर और आर्थिक रूप से पिछड़े लोगों के लिए काम करेंगे. कच्ची बस्तियों का विकास करेंगे.
बैठक में 821 करोड़ का बजट पास
ग्रेटर नगर निगम की पहली साधारण सभा की बैठक में 821 करोड़ रुपए का बजट पास किया गया. बजट में सड़क, सीवरेज विकास कार्य को लेकर कम राशि रखने पर पार्षदों ने आपत्ति भी जताई, लेकिन महापौर और उपमहापौर ने साफ किया कि अब तक जो बजट बनता है वह वास्तविकता से दूर था. पहली बार बजट को वास्तविकता के आधार पर बनाया गया है. इसी आधार पर विकास कार्य किए जाएंगे.
लोन पर उठाए सवाल
कांग्रेस पार्षद कारण शर्मा ने हुडको से 500 करोड़ का लोन लेने पर सवाल उठाए. उन्होंने कहा कि जब बजट में राजस्व का लक्ष्य रखा गया है और लोन लेने की कहां जरूरत है. विवाह स्थल, लाइसेंस शुल्क वसूली, डेयरी बूथ किराया, मोबाइल टावर किराया अगर सही ढंग से वसूल किया जाए तो लोन की आवश्यकता ही नहीं पड़ेगी.
शील धाभाई को लेकर आए आगे
महापौर पद के प्रबल दावेदार शील धाभाई बैठक की शुरुआत में सबसे पीछे बैठी हुई थी, लेकिन उपमहापौर पुनीत कर्णावत, पार्षद राखी राठौड़ और दिनेश कांवट ने महापौर से चर्चा की और उसके बाद धाभाई को आगे की पंक्ति में लाकर बैठाया गया.
यह प्रस्ताव हुए पारित...
- 821 करोड़ रुपए का बजट
- पार्षदों का भत्ता 3500 से बढ़ाकर 11000 रुपए किया
- हुडको से 500 करोड़ रुपए के लोन की मंजूरी
- पार्षदों को लैपटॉप का वितरण
- प्रत्येक वार्ड में दो अकुशल श्रमिकों की नियुक्ति
- जेडीए के नए बिल्डिंग बायलॉज निगम क्षेत्र में लागू करना
- जेडीए की आरक्षित दरों को प्रभावी करने का प्रस्ताव
- शहर में साफ-सफाई पर चर्चा
- संचालन समितियों का गठन
ग्रेटर नगर निगम का बजट
सड़क व नाली मरम्मत 40 करोड़, अन्य निर्माण 40 करोड़, नई सड़कों का निर्माण 33 करोड़, स्वच्छ भारत मिशन 20 करोड़, उद्यान एवं पौधारोपण 18 करोड़, सीवरेज राशि 15 करोड़, बिजली लाइन वृद्धि 12 करोड़, मोक्ष धाम और कब्रिस्तान 3.60 करोड़.
पार्षदों के भत्ते बढ़ाने पर उठाए सवाल
नगर निगम ग्रेटर की साधारण सभा की बैठक में पार्षदों के वेतन भत्ते बढ़ाने पर सवाल उठाया गया. कांग्रेस पार्षद चांद सैनी से पार्षदों के भत्ते बढ़ाने पर सवाल उठाया. उन्होंने कहा कि जब वार्ड बड़ा था तो पार्षद का भत्ता 3500 रुपए था और अब वार्ड पहले से छोटा हो गया है तो भत्ता बढ़ाकर 11 हजार क्यों किया जा रहा है. सैनी ने कहा कि निगम पर पहले से ही कर्जा है, ऐसे में भत्ते बढ़ाने के प्रस्ताव को फिलहाल स्थगित किया जाए. हालांकि भत्ते बढ़ाने का प्रस्ताव पहले ही पास हो चुका था.
पार्षद खरीद को लेकर दिए बयान पर हुआ हंगामा
नगर निगम ग्रेटर की साधरण सभा की बैठक में निर्दलीय पार्षद विकास बारहठ के बयान को लेकर भी जबरदस्त हंगामा देखने को मिला. उनके बयान पर दोनों दलों के पार्षद एक दूसरे के आमने-सामने हो गए. विकास बारहठ ने कांग्रेस पार्टी पर पार्षद खरीदने को लेकर बयानबाजी की थी. काफी समझाइश के बाद मामला शांत हुआ.
महापौर ने सदन से बाहर निकालने की धमकी तक दे दी थी. इससे पहले निर्दलीय पार्षदों को लेकर कांग्रेस पार्षद करण शर्मा ने भी गलत बयान बाजी की, जिसे लेकर निर्दलीय पार्षद विकास बारहठ ने हंगामा किया. इसके बाद कांग्रेस पार्षद करण शर्मा को माफी मांगनी पड़ी. विकास बारहठ के कांग्रेस पार्टी पर दिए बयान को लेकर कांग्रेस पार्षदों ने भी मांग की कि विकास बारहठ माफी मांगे. काफी समझाइश के बाद मामला शांत हुआ.