जयपुर. ईटीवी भारत से खास बातचीत में महापौर मुनेश गुर्जर ने कहा कि पार्षदों को किसी तरह की (Munesh Gurjar on Councilors Revolt) नाराजगी नहीं है. निर्दलीय पार्षदों ने भी अपने धरने में स्पष्ट कहा था कि महापौर से कोई परेशानी नहीं है. उन्होंने जल्द से जल्द कमेटियां बनाए जाने की मांग की थी. समितियों को लेकर वो खुद भी उन पार्षदों के साथ खड़ी हैं.
महापौर ने कहा कि वो विधायक और मंत्री सभी के पास जाकर आई हैं, उनकी भी कोई नाराजगी नहीं है. पार्षदों से वो नियमित मिलती हैं. उनके वार्डों में भी दौरे करती हैं. पार्षद उनका परिवार है. वो हमेशा उनके साथ खड़ी रही हैं और आगे भी खड़ी रहेंगी. परिवार में मतभेद हो सकता है, लेकिन सुख-दुख में वो सब साथ (खड़े होते हैं, फिर भी यदि किसी पार्षद को जरा भी मलाल है तो वो उन्हें सुनने के लिए तैयार हैं. उन्होंने कहा कि जहां तक बात कमेटियों की गठन की है तो वो उनके हाथ में नहीं है.
वहीं, हेरिटेज में कांग्रेस के अल्पसंख्यक महिला को मेयर बनाए जाने की मांग को लेकर महापौर ने कहा कि यहां हिंदू-मुस्लिम-सिख-इसाई सभी एक ही परिवार के लोग हैं. सभी यहां प्यार से रहते हैं, सभी एक साथ खड़े हैं. यदि कोई विद्रोह की बात होती, तो निर्दलीय पार्षदों के धरने के दौरान ही खिलाफत (Munesh Gurjar Dismissed Heritage Nigam Dispute) हो सकती थी. पार्षदों में सिर्फ कमेटियों को लेकर नाराजगी है.
निर्दलीय पार्षद की शिकायत पर मंत्री प्रताप सिंह खाचरियावास ने महापौर को माफी मांगने की भी नसीहत दी थी. इस पर महापौर ने कहा कि उन्होंने ऐसा कोई काम नहीं किया जिसके लिए माफी मांगने पड़े. उनकी कार्यशैली में एक खास बात ये रही है कि वो हमेशा सबको साथ लेकर चली हैं और जहां तक मंत्री की नाराजगी का सवाल है तो वो परिवार के मुखिया हैं. उनका बताया काम देर से हुआ, इस पर उनकी नाराजगी जायज है.
कांग्रेसी पार्षदों की आपसी खींचतान के बीच बीजेपी (Jaipur Karbala Case) इन हालातों को भुनाने की कोशिश में जुटी हुई है. इस पर महापौर ने कहा कि कांग्रेस परिवार न कभी कमजोर था, न कभी कमजोर होगा. सभी एक दूसरे के साथ खड़े हैं और आगे भी साथ ही खड़े रहेंगे.