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जयपुर में 'हेरा फेरी': 25 दिन में 25 हजार का 35 हजार करने वाली कंपनी करोड़ों लेकर फरार - जयपुर लेटेस्ट अपडेट्स

राजधानी जयपुर में 25 दिन में 25 हजार को 35 हजार करने वाली कंपनी रातों-रात सैंकड़ों ग्राहकों के करोड़ों रुपए लेकर फरार (jaipur fraud case) हो गई. बताया जा रहा है कि कंपनी नवंबर 2021 में खोली गई थी जिसमें कुछ स्टाफ भी काम करते थे. कई ग्राहकों को कंपनी ने पैसे लौटाए थे जिससे लोगों में भरोसा जागा और वो ठगी का शिकार हो गए.

Jaipur Fraud Case
राजधानी में 'हेरा फेरी'
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Published : Mar 24, 2022, 2:07 PM IST

जयपुर. राजधानी जयपुर में 25 दिन में 25 हजार को 35 हजार करने वाली कंपनी रातों-रात सैंकड़ों ग्राहकों का करोड़ों रुपए लेकर (jaipur fraud case) भाग गई. कंपनी ने न तो कार्यालय का किराया दिया और न ही कर्मचारियों को पगार दी. जब पीड़ित थाने में रिपोर्ट दर्ज करवाने पहुंचे, तो पुलिस ने भगा दिया. इसके बाद पीड़ितों ने न्यायालय की शरण ली. कोर्ट की दखल के बाद अब तक चार पर एफआईआर दर्ज की गई है. मिली जानकारी में पता चला कि ये कंपनी नवंबर 2021 में खोली गई थी और फरवरी 2022 में बंद करके सभी फरार हो गए. करधनी थाना पुलिस ठग दंपती की तलाश (case registered against fraud company in jaipur) में जुट गई है.

25 दिन में 25 हजार को 35 हजार बनाने का दिया झांसा: पीड़ितों के मुताबिक कंपनी का ऑफिस रातों रात बंद हो गया. स्टाफ तक को पता नहीं चला कि कंपनी के प्रतिनिधि कब फरार हो गए. बाद में अब कोर्ट की दखल से एक के बाद एक मुकदमें दर्ज हो रहे हैं. दो दिन में अब तक चार केस सामने आ चुके हैं. जांच अधिकारी मोतीलाल शर्मा के मुताबिक दंपती ने करधनी क्षेत्र में एक घर का कुछ हिस्सा किराए पर लेकर कुछ महीनों पहले कंपनी खोली थी. कंपनी में आठ से दस लोगों का स्टाफ भी रखा गया था. कंपनी ने इन्वेस्टमेंट का पैसा बढ़ाकर 25 दिन में ही लौटाने की स्कीम शुरु की थी. इन्वेस्टमेंट की रकम भी 25 हजार रुपए रखी गई.

पढ़ें-Cyber Fraud in Jaipur: शातिर साइबर ठग गिरफ्तार, परिचित बनकर पूर्व आईएएस डीबी गुप्ता की पुत्रवधु से 80 हजार ठगे थे

कंपनी 26 हजार 500 रुपए लेती थी और पंद्रह सौ रुपए काटकर पच्चीस दिन में लौटाती थी और साथ ही दस हजार रुपए का बोनस भी देती थी. कई ग्राहकों को 25 के बदले 35 हजार लौटाए तो ग्राहकों में भरोसा जाग गया. ग्राहकों ने अपने रिश्तेदारों और जानकारों का भी पैसा लगाया, और इस तरह धीरे धीरे लोग फंसने लगे. पैसा सीधे खाते में लिया जाता था और सीधे खाते में लौटाया जाता था. इसी कारण लोग इस स्कीम में फंसते चले गए और ठगी का शिकार हो गए.

कई ग्राहकों का पैसा लौटाने से लोगों में भरोसा जागा: पीड़ित धनराज शर्मा के मुताबिक कंपनी ने एक दो बार पैसा लौटाया था. उसके बाद उसे अपने कई परिचितों को पैसा इंवेस्ट करने की सलाह दी, जिसपर धनराज ने करीब दो लाख रुपए इंवेस्ट कर दिए थे. वहीं राजेश शर्मा के भी लाखों रुपए कंपनी में फंसे हैं. पैसा खाते में आने की तारीख जब जंप हुई तो लोग कंपनी पहुंचने लगे. आकर देखा तो ऑफिस में ताले लटके थे. मकान पता करने पर मालिक ने बताया कि कंपनी के डायरेक्टर्स ने किराया तक नहीं दिया और रातों-रात फरार हो गए.

पढ़ें-'चिल्ड्रन मनोरंजन बैंक' के नोट लेकर ठग निकले ट्रैक्टर खरीदने, एक पुलिस के हत्थे चढ़ा

पुलिस के मुताबिक जयंत और मौसमी विश्वास ने लोगों का भरोसा जीतकर ठगी के वारदात को अंजाम दिया है. कंपनी के जो दस्तावेज मिले हैं, जिसमें हैदराबाद का पता लिखा है. दंपती वहीं के रहने वाले बताए जा रहे हैं. ठगों के बारे मे पीड़ितों से जानकारी जुटाई जा रही है. एक टीम को जल्द ही हैदराबाद भेजने की तैयारी की जा रही है.

जयपुर. राजधानी जयपुर में 25 दिन में 25 हजार को 35 हजार करने वाली कंपनी रातों-रात सैंकड़ों ग्राहकों का करोड़ों रुपए लेकर (jaipur fraud case) भाग गई. कंपनी ने न तो कार्यालय का किराया दिया और न ही कर्मचारियों को पगार दी. जब पीड़ित थाने में रिपोर्ट दर्ज करवाने पहुंचे, तो पुलिस ने भगा दिया. इसके बाद पीड़ितों ने न्यायालय की शरण ली. कोर्ट की दखल के बाद अब तक चार पर एफआईआर दर्ज की गई है. मिली जानकारी में पता चला कि ये कंपनी नवंबर 2021 में खोली गई थी और फरवरी 2022 में बंद करके सभी फरार हो गए. करधनी थाना पुलिस ठग दंपती की तलाश (case registered against fraud company in jaipur) में जुट गई है.

25 दिन में 25 हजार को 35 हजार बनाने का दिया झांसा: पीड़ितों के मुताबिक कंपनी का ऑफिस रातों रात बंद हो गया. स्टाफ तक को पता नहीं चला कि कंपनी के प्रतिनिधि कब फरार हो गए. बाद में अब कोर्ट की दखल से एक के बाद एक मुकदमें दर्ज हो रहे हैं. दो दिन में अब तक चार केस सामने आ चुके हैं. जांच अधिकारी मोतीलाल शर्मा के मुताबिक दंपती ने करधनी क्षेत्र में एक घर का कुछ हिस्सा किराए पर लेकर कुछ महीनों पहले कंपनी खोली थी. कंपनी में आठ से दस लोगों का स्टाफ भी रखा गया था. कंपनी ने इन्वेस्टमेंट का पैसा बढ़ाकर 25 दिन में ही लौटाने की स्कीम शुरु की थी. इन्वेस्टमेंट की रकम भी 25 हजार रुपए रखी गई.

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कंपनी 26 हजार 500 रुपए लेती थी और पंद्रह सौ रुपए काटकर पच्चीस दिन में लौटाती थी और साथ ही दस हजार रुपए का बोनस भी देती थी. कई ग्राहकों को 25 के बदले 35 हजार लौटाए तो ग्राहकों में भरोसा जाग गया. ग्राहकों ने अपने रिश्तेदारों और जानकारों का भी पैसा लगाया, और इस तरह धीरे धीरे लोग फंसने लगे. पैसा सीधे खाते में लिया जाता था और सीधे खाते में लौटाया जाता था. इसी कारण लोग इस स्कीम में फंसते चले गए और ठगी का शिकार हो गए.

कई ग्राहकों का पैसा लौटाने से लोगों में भरोसा जागा: पीड़ित धनराज शर्मा के मुताबिक कंपनी ने एक दो बार पैसा लौटाया था. उसके बाद उसे अपने कई परिचितों को पैसा इंवेस्ट करने की सलाह दी, जिसपर धनराज ने करीब दो लाख रुपए इंवेस्ट कर दिए थे. वहीं राजेश शर्मा के भी लाखों रुपए कंपनी में फंसे हैं. पैसा खाते में आने की तारीख जब जंप हुई तो लोग कंपनी पहुंचने लगे. आकर देखा तो ऑफिस में ताले लटके थे. मकान पता करने पर मालिक ने बताया कि कंपनी के डायरेक्टर्स ने किराया तक नहीं दिया और रातों-रात फरार हो गए.

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पुलिस के मुताबिक जयंत और मौसमी विश्वास ने लोगों का भरोसा जीतकर ठगी के वारदात को अंजाम दिया है. कंपनी के जो दस्तावेज मिले हैं, जिसमें हैदराबाद का पता लिखा है. दंपती वहीं के रहने वाले बताए जा रहे हैं. ठगों के बारे मे पीड़ितों से जानकारी जुटाई जा रही है. एक टीम को जल्द ही हैदराबाद भेजने की तैयारी की जा रही है.

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