जयपुर. राजकीय योजनाओं की धरातल पर क्रियान्विति की निगरानी और पर्यवेक्षण के लिए बुधवार को जयपुर जिले के 3500 से अधिक कार्यालयों का पूर्व सूचित निरीक्षण किया गया. इस बीच जयपुर संभाग के 12 हजार से अधिक कार्यालयों का निरीक्षण सम्भागीय आयुक्त की टीमों ने किया है. संभाग के पांचों जिलों (अलवर, दौसा, जयपुर, झुंझुनू, सीकर) में जिला, ब्लॉक, पंचायत स्तर के राजकीय कार्यालयों और संस्थाओं के पूर्व सूचित निरीक्षण के लिए संभागीय आयुक्त कार्यालय में पांच प्रभारी अधिकारियों के नेतृत्व में निरीक्षण दलों का गठन किया गया. दलों ने बुधवार को विभिन्न विभागों एवं संस्थानों का निरीक्षण किया और आम जन से प्राप्त शिकायतों का समयबद्ध निस्तारण, राज्य सरकार की योजनाओं के अन्तर्गत लाभार्थियों के आवेदन पत्रों और लम्बित प्रकरणों के समयबद्ध निस्तारण करने संबंधित निरीक्षण किया है.
जयपुर जिले में 3500 से अधिक कार्यालयों का निरीक्षण विभिन्न टीमों द्वारा किया गया है. संभागीय आयुक्त डॉ. समित शर्मा ने जयपुर ग्रामीण, दौसा, अलवर का दौरा कर राज्य सरकार की योजनाओं की धरातल पर क्रियान्विति की वस्तुस्थिाति को जाना. जयपुर जिले की ग्राम मोहनपुरा पंचायत समिति बस्सी में नरेगा कार्यों का निरीक्षण किया, जो संतोषजनक पाया गया. समित शर्मा ने दौसा जिला चिकित्सालय में निरीक्षण के दौरान साफ सफाई में कमी और ओपीडी को खाली देखकर नाराजगी प्रकट की और कार्यवाहक पीएमओ को व्यवस्थाएं दुरुस्त करने के निर्देश दिए हैं. शर्मा ने बताया कि सभी अधिकारियों एवं कर्मचारियों को अपने काम में सक्रिय करना, लाभार्थियों को दी जाने वाली सेवाओं की उपलब्धता समय पर सुनिश्चित करना और प्रशासनिक व्यवस्थाओं को बेहतर बनाने के उद्देश्य से निरीक्षण किया गया है.
जयपुर जिले के आंगनबाड़ी केन्द्रों, पटवार घरों, समस्त विद्यालयों, स्वास्थ्य केन्द्रों, राजकीय कार्यालयों का निरीक्षण किया गया तथा व्यवस्थाओं को बेहतर बनाने के निर्देश दिए गए. दौसा जिला अस्पताल के निरीक्षण के दौरान आमजन से प्राप्त शिकायतों का मौके पर निस्तारण किया गया. एक प्रसूता को समय पर इलाज नहीं मिलने के कारण मृत्यू हो गई. इसे संभागीय आयुक्त ने गंम्भीरता से लिया. इस प्रकार की गंभीर शिकायतें प्राप्त होने पर संभागीय आयुक्त ने अपने साथ आई टीम और जिला कलक्टर को 24 घंटे के अंदर जांच कर रिपोर्ट देने के निर्देश दिए हैं.
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अस्पताल में इस प्रकार की अनियमितताएं और प्रसूता से स्टाफ द्वारा पैसे लेना और डॉक्टरों द्वारा बाहर से अनावश्यक जांच और दवाइयां मंगवाना और अपने निजी अस्पताल में भेजना जैसी गंभीर अनियमितताओं पर जिला कलेक्टर को पीएमओ डॉ. सी एल मीणा को नोटिस जारी करने के निर्देश दिए हैं. वहीं कार्यरत गायनी के इंचार्ज डॉ. राजेश गुर्जर की शिकायतों की गहन जांच करने के निर्देश दिए हैं. निरीक्षण के दौरान संभागीय आयुक्त ने अच्छा कार्य करने वाले कार्मिकों को चॉकलेट और प्रशस्ति पत्र भी प्रदान किया है.