जयपुर. केंद्र सरकार की ओर से बैंकों के विलय के लिए गए फैसले के विरोध में मंगलवार को बैंक कर्मचारियों ने केंद्र सरकार के खिलाफ विरोध प्रदर्शन किया. इस दौरान राष्ट्रव्यापी बैंक कर्मचारियों की हड़ताल के कारण करीब एक हजार से अधिक बैंक शाखा बंद रही और करीब 2 हजार करोड़ रुपए का कारोबार भी प्रभावित हुआ.
बता दें कि बैंकों के विलय को लेकर मंगलवार को बैंक कर्मचारियों ने केंद्र सरकार के खिलाफ विरोध प्रदर्शन किया. वहीं, राष्ट्रव्यापी बैंक कर्मचारियों की हड़ताल से करीब एक हजार बैंक बंद रहे, जिससे करीब 2 हजार करोड़ का कारोबार भी प्रभावित हुआ.
ऑल इंडिया बैंक एंप्लाइज यूनियन और बैंक एंप्लोई फेडरेशन ऑफ इंडिया की ओर से बुलाई हड़ताल से बैंक ऑफ बड़ौदा, बैंक ऑफ महाराष्ट्र और सिंडिकेट बैंक पर अधिक असर रहा. मंगलवार सुबह 11 बजे बैंकिंग संगठन विरोध जताते हुए जयपुर के अहिंसा सर्किल स्थित सिंडिकेट बैंक पर प्रदर्शन करते हुए पहुंचे. वहीं, इस दौरान बैंकिंग कर्मियों ने सरकार के सामने अपनी मांग भी रखी.
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बैंक कर्मचारियों ने कहा कि बैंकों के विलय होने से सरकारी नौकरी पर संकट आएगा और बेरोजगारी बढ़ेगी. साथ ही बैंकों के एनपीए बढ़ते कर्ज दाताओं से कर्ज वसूली में ढ़िलाई बरतने से कर्ज वसूली नहीं हो पा रही है. वहीं, इस दौरान बैंक कर्मचारियों ने केंद्र सरकार और वित्त मंत्री के खिलाफ मुर्दाबाद के नारे लगाए और अपना विरोध भी जताया.
इस दौरान कर्मचारियों ने कहा कि यदि सरकार ने उनकी मांग नहीं मानी तो वह अनिश्चितकालीन हड़ताल पर बैठ जाएंगे. कर्मचारियों ने कहा कि बढ़ते निजीकरण से बैंक कर्मचारियों पर बेरोजगारी की मार भी पड़ेगी.