जयपुर. केंद्र सरकार ने पेट्रोल-डीजल पर केंद्रीय उत्पाद शुल्क में कमी कर दी जिसके बाद अब प्रदेश की गहलोत सरकार पर भी वैट की दरों में कमी करने का दबाव है. इस बीच भाजपा युवा मोर्चा ने प्रदेश सरकार को 3 दिन का अल्टीमेटम देते हुए कहा है कि यदि इस दौरान पेट्रोल-डीजल पर लगे वैट की दरों को कम नहीं किया गया तो युवा मोर्चा कार्यकर्ता सभी जिलों में विरोध प्रदर्शन शुरू करेंगे. इस बीच मुख्यमंत्री ने ट्वीट कर पेट्रोल पर रविवार को 71 पैसे बढ़ाने पर केंद्र सरकार पर निशाना (CM Gehlot tweet on increased petrol price) साधा.
दरअसल, रविवार को प्रदेश भाजपा मुख्यालय में पत्रकारों से रूबरू हुए मोर्चा प्रदेश अध्यक्ष हिमांशु शर्मा, महामंत्री राजकुमार बिवाल व रामकेश मीणा ने बताया कि इससे पहले भी मोदी सरकार ने जब पेट्रोल-डीजल पर एक्साइज ड्यूटी दीपावली के दौरान कम की थी, तब भी गहलोत सरकार ने वैट की दर कम करने में 13 दिन का समय लगा दिया था. उस दौरान भी युवा मोर्चा कार्यकर्ताओं ने सड़कों पर उतरकर प्रदेश सरकार पर दबाव बनाया जिसके बाद मुख्यमंत्री ने पेट्रोल-डीजल पर वैट की दर कम की.
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शर्मा ने कहा कि इस बार भी मुख्यमंत्री से निवेदन है कि वह केंद्र की मोदी सरकार के सामान पेट्रोल-डीजल पर लग रहे वैट की दरों में कमी लाकर आम जनता को राहत दे और यदि ऐसा नहीं किया तो महंगाई से त्रस्त जनता को राहत दिलाने के लिए युवा मोर्चा कार्यकर्ता प्रदेश कांग्रेस सरकार के खिलाफ सड़कों पर उतरेगा. युवा मोर्चा ने पेट्रोल-डीजल पर एक्साइज ड्यूटी कम करने और उज्जवला योजना के तहत गैस कनेक्शनधारियों को एलपीजी सिलेंडर पर 200 रुपए की सब्सिडी देने की घोषणा का स्वागत करते हुए प्रधानमंत्री का आभार भी जताया.
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71 पैसे पेट्रोल पर बड़े तो सीएम गहलोत ने किया ये कटाक्ष : रविवार को भाजयुमो की प्रेस वार्ता के बाद मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने एक ट्वीट कर केंद्र के मोदी सरकार पर निशाना साधा. दरअसल, रविवार को तेल कंपनियों ने 17 पैसे पेट्रोल पर अचानक बढ़ा दिए, जिसका उल्लेख गहलोत ने अपने ट्वीट में किया. गहलोत ने लिखा कि कल केंद्र सरकार का एक्साइज पेट्रोल-डीजल पर कम हुआ और आज तेल कंपनियों ने 71 पैसे पेट्रोल पर अचानक बढ़ा दिए. अगले कुछ दिन में इसी प्रकार यह एक्साइज कटौती अप्रासंगिक हो जाएगी. गहलोत ने लिखा केंद्र सरकार को ऐसी औपचारिकता करने के बजाय एक्साइज ड्यूटी को यूपीए सरकार के स्तर पर लाना चाहिए जिससे आमजन को असल मायने में राहत मिल सके.