ETV Bharat / city

प्रदेश सरकार ने प्रमुख मंदिरों को तो अपने नियंत्रण में लिया लेकिन मस्जिद, गुरुद्वारा और चर्च छोड़ दिए -दीप्ति माहेश्वरी

भाजपा विधायक दीप्ति माहेश्वरी ने विधानसभा में बोलेते हुए सरकार से मांग की है कि प्रमुख मंदिरों से सरकारी नियंत्रण (deepti maheshwari demands to free famous temples from government control) हटाया जाए. उन्होंने इसके लिए एक हाई लेवल की कमेटी गठित करने की मांग की है.

Demand to remove government control from temples in assembly
भाजपा विधायक दीप्ति माहेश्वरी का बयान
author img

By

Published : Mar 14, 2022, 7:13 PM IST

जयपुर. भाजपा विधायक दीप्ति माहेश्वरी ने प्रदेश सरकार से मांग की है कि प्रमुख मंदिरों से सरकार अपना नियंत्रण (deepti maheshwari demands to free famous temples from government control) हटाए या फिर मस्जिद, गुरुद्वारा और चर्च को भी इसके दायरे में लाए. माहेश्वरी ने कहा संविधान भी यही कहता है कि मंदिर का प्रबंधन भक्तों के द्वारा होना चाहिए ना कि सरकार के द्वारा. महेश्वरी ने मंदिरों पर सरकारी नियंत्रण को संविधान के खिलाफ बताते हुए इस मामले में एक हाई लेवल कमेटी के गठन की मांग की.

राजस्थान विधानसभा में सोमवार को देवस्थान विभाग की अनुदान मांगों पर बोलते हुए माहेश्वरी ने यह बात कही. माहेश्वरी ने कहा कि पूर्व में सुप्रीम कोर्ट के भी इस मामले में निर्णय आ चुके हैं. लेकिन आज सरकार ने प्रदेश के सभी प्रमुख मंदिरों को अपने नियंत्रण में ले लिया है. जबकि विकास के नाम पर इन मंदिरों में सरकार कुछ काम नहीं करती. इस दौरान माहेश्वरी ने श्रीनाथ मंदिर का उदाहरण दिया और कहा कि मंदिर बोर्ड की आय 100 करोड़ रुपए से भी ज्यादा है.

भाजपा विधायक दीप्ति माहेश्वरी ने संसद में उठाया मुद्दा

माहेश्वरी ने कहा मैंने विधानसभा में भी इस मंदिर में सरकार की ओर से किए गए विकास कार्यों की जानकारी चाही तो ये जानकारी आई कि, जो भी विकास कार्य किया गया था वो दानदाता वैष्णव ने किए हैं. जबकि मंदिर मंडल की तरफ से कोई राशि नहीं दी गई है.

पढे़ं- Zero Hour in Rajasthan Assembly : विधानसभा के शून्यकाल में उठाए गए ये अहम मुद्दे...कृषि को उद्योग का दर्जा देने की मांग

माहेश्वरी ने कहा कि यह सरकारी नियंत्रण का साइड इफेक्ट है. माहेश्वरी ने नाथद्वारा मंदिर का भी उदाहरण दिया और ये भी कहा कि टेंपल बोर्ड मंदिर के विकास पर तो कुछ खर्च नहीं करता. दीप्ति माहेश्वरी ने कहा मंदिर बोर्ड ने हिंदू धर्म के प्रचार प्रसार के लिए कुछ नहीं किया. लेकिन उसकी जमीन को सरकारी भवन बनाने के लिए दे दिया गया.

धर्मांतरण की समस्या का भी बताया समाधानः सदन में बोलते हुए दीप्ति माहेश्वरी ने कहा कि राजस्थान में धर्मातरण की समस्या भी काफी बड़ा रूप ले रही है. सरकारी आंकड़ों के अनुसार 447 मामले पिछले दिनों दर्ज हुए जो सरकारी रिकॉर्ड में हैं. माहेश्वरी ने कहा प्रदेश में नाथद्वारा और सांवरिया सेठ ऐसे दो बड़े मंदिर हैं, जहां काफी आय होती है. यदि यह मंदिर बोर्ड आदिवासी इलाकों में अलग-अलग अंचलों में एक-एक मंदिर बना दें जो वहां सनातन धर्म का प्रचार भी करें और शिक्षा केंद्र के रूप में काम करें तो इस समस्या का समाधान हो सकता है.

जयपुर. भाजपा विधायक दीप्ति माहेश्वरी ने प्रदेश सरकार से मांग की है कि प्रमुख मंदिरों से सरकार अपना नियंत्रण (deepti maheshwari demands to free famous temples from government control) हटाए या फिर मस्जिद, गुरुद्वारा और चर्च को भी इसके दायरे में लाए. माहेश्वरी ने कहा संविधान भी यही कहता है कि मंदिर का प्रबंधन भक्तों के द्वारा होना चाहिए ना कि सरकार के द्वारा. महेश्वरी ने मंदिरों पर सरकारी नियंत्रण को संविधान के खिलाफ बताते हुए इस मामले में एक हाई लेवल कमेटी के गठन की मांग की.

राजस्थान विधानसभा में सोमवार को देवस्थान विभाग की अनुदान मांगों पर बोलते हुए माहेश्वरी ने यह बात कही. माहेश्वरी ने कहा कि पूर्व में सुप्रीम कोर्ट के भी इस मामले में निर्णय आ चुके हैं. लेकिन आज सरकार ने प्रदेश के सभी प्रमुख मंदिरों को अपने नियंत्रण में ले लिया है. जबकि विकास के नाम पर इन मंदिरों में सरकार कुछ काम नहीं करती. इस दौरान माहेश्वरी ने श्रीनाथ मंदिर का उदाहरण दिया और कहा कि मंदिर बोर्ड की आय 100 करोड़ रुपए से भी ज्यादा है.

भाजपा विधायक दीप्ति माहेश्वरी ने संसद में उठाया मुद्दा

माहेश्वरी ने कहा मैंने विधानसभा में भी इस मंदिर में सरकार की ओर से किए गए विकास कार्यों की जानकारी चाही तो ये जानकारी आई कि, जो भी विकास कार्य किया गया था वो दानदाता वैष्णव ने किए हैं. जबकि मंदिर मंडल की तरफ से कोई राशि नहीं दी गई है.

पढे़ं- Zero Hour in Rajasthan Assembly : विधानसभा के शून्यकाल में उठाए गए ये अहम मुद्दे...कृषि को उद्योग का दर्जा देने की मांग

माहेश्वरी ने कहा कि यह सरकारी नियंत्रण का साइड इफेक्ट है. माहेश्वरी ने नाथद्वारा मंदिर का भी उदाहरण दिया और ये भी कहा कि टेंपल बोर्ड मंदिर के विकास पर तो कुछ खर्च नहीं करता. दीप्ति माहेश्वरी ने कहा मंदिर बोर्ड ने हिंदू धर्म के प्रचार प्रसार के लिए कुछ नहीं किया. लेकिन उसकी जमीन को सरकारी भवन बनाने के लिए दे दिया गया.

धर्मांतरण की समस्या का भी बताया समाधानः सदन में बोलते हुए दीप्ति माहेश्वरी ने कहा कि राजस्थान में धर्मातरण की समस्या भी काफी बड़ा रूप ले रही है. सरकारी आंकड़ों के अनुसार 447 मामले पिछले दिनों दर्ज हुए जो सरकारी रिकॉर्ड में हैं. माहेश्वरी ने कहा प्रदेश में नाथद्वारा और सांवरिया सेठ ऐसे दो बड़े मंदिर हैं, जहां काफी आय होती है. यदि यह मंदिर बोर्ड आदिवासी इलाकों में अलग-अलग अंचलों में एक-एक मंदिर बना दें जो वहां सनातन धर्म का प्रचार भी करें और शिक्षा केंद्र के रूप में काम करें तो इस समस्या का समाधान हो सकता है.

ETV Bharat Logo

Copyright © 2024 Ushodaya Enterprises Pvt. Ltd., All Rights Reserved.