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Alwar news: एसीबी के एडीजी दिनेश एमएन पहुंचे अलवर, कहा- शिकायत मिलते ही एक्शन में आती है एसीबी

भ्रष्टाचार निरोधक ब्यूरो के एडीजी दिनेश एमएन मंगलवार को अलवर (ACB ADG Dinesh MN reached Alwar) पहुंचे. उन्होंने कार्यक्रम के दौरान लोगों को जागरुक किया. साथ ही एसीबी की कार्य प्रणाली के बारे में बताया. उन्होंने आमजन के सवालों के जवाब भी दिए.

ACB ADG Dinesh MN reached Alwar
एसीबी के एडीजी दिनेश एमएन
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Published : Apr 19, 2022, 10:23 PM IST

Updated : Apr 19, 2022, 10:42 PM IST

अलवर. भ्रष्टाचार निरोधक ब्यूरो के एडीजी दिनेश एमएन मंगलवार को अलवर (ACB ADG Dinesh MN reached Alwar) पहुंचे. उन्होंने प्रताप ऑडिटोरियम में एसीबी के एक कार्यक्रम के दौरान लोगों को जागरूक किया. साथ ही रिश्वत लेने वाले कर्मचारी अधिकारियों के खिलाफ एसीबी को शिकायत करने की बात कही. उन्होंने कहा कि इस साल रिकॉर्ड मामले एसीबी ने ट्रैप किए हैं. रिश्वत खोरों को किसी भी हाल में बख्शा नहीं जाएगा. उन्होंने कहा कि कई मामलों में शिकायतकर्ता की एसीबी तक पहुंचने की स्थिति नहीं होती है. उन मामलों में एसीबी के अधिकारी शिकायतकर्ता तक पहुंचते हैं.

जागरूकता कार्यक्रम के दौरान उन्होंने एसीबी की कार्य व्यवस्था, ट्रैप की प्रक्रिया की विस्तार से जानकारी दी. उन्होंने कहा कि राजस्थान एसीबी पूरे देश में सबसे बेहतर कार्य कर रही है. राजस्थान की जमीन पर रिश्वत लेने वाले प्रत्येक कर्मचारी व ऐसी संस्था जिनको राजस्थान सरकार से मदद मिलती है. उनको पकड़ने का काम एसीबी की टीम कर रही है. उत्तर प्रदेश, मध्य प्रदेश, गुजरात सहित कई राज्यों के अधिकारियों को भी एसीबी ने पकड़ा है. साथ ही केंद्र सरकार के रिश्वत लेने वाले कर्मचारी व अधिकारियों को भी एसीबी की टीम ने अपनी गिरफ्त में लिया है. कार्यक्रम के दौरान अलवर के लोगों ने एडीजी से अपने सवाल पूछे व सुझाव दिए.

एसीबी के एडीजी दिनेश एमएन

पढ़े:राजस्थान: दो लाख रुपए की रिश्वत लेते एएसपी गिरफ्तार, एसीबी टीम पर फायरिंग

जेल में बिताए अनुभव किए साझाः दिनेश एमएन ने भी अपने कार्य की जानकारी दी. उन्होंने जेल में बिताए अपने अनुभव भी लोगों के साथ साझा किए. उन्होंने कहा कि जेल में बिताए हुए साढ़े पांच साल उनके जीवन में नहीं भूलने वाला समय था. उन्होंने लोगों से आगे आकर भ्रष्टाचार के खिलाफ शिकायत करने व भ्रष्टाचारियों को पकड़वाने की बात कही. इस दौरान अलवर के लोगों ने उनका स्वागत किया. कुछ लोगों ने अपनी समस्याएं रखी तो कुछ ने अपने सुझाव दिए.

उन्होंने लोगों की निजी शिकायतें भी सुनी. एसीबी के कार्यालय में लोगों ने अपनी शिकायतें अधिकारियों के खिलाफ उनको दी. एडीजी ने कई कहानियों के माध्यम से लोगों को मोटिवेट किया. उन्होंने कहा कि हम समाज की बुराइयों को मिटा नहीं सकते. लेकिन उन बुराइयों के खिलाफ एक कदम उठा सकते हैं. एसीबी की जांच प्रक्रिया पर उन्होंने कहा कि एसीबी मामलों की जांच पड़ताल करती है. शिकायत मिलने पर एसीबी के कर्मचारी व अधिकारी एक्टिव होते हैं. कई मामलों में एसीबी खुद भी संज्ञान लेती है.

पढ़े:सावधान! एनकाउंटर स्पेशलिस्ट IPS दिनेश एमएन की रडार पर हैं कालाबाजारी करने वाले

आय से अधिक संपत्ति रखने पैसे का लेनदेन करने सहित अलग-अलग मामलों में एसीबी जांच पड़ताल करती है. उन्होंने कहा कि तकनीक के दौर में एसीबी तकनीक पर ध्यान दे रही है. एसीबी के अधिकारियों, कर्मचारियों को आईटी की ट्रेनिंग दी जाती है. साथ ही अधिकारी व कर्मचारी एसीबी से बचने के लिए कई हथकंडे अपनाते हैं. उनके खिलाफ भी सख्त जांच पड़ताल एसीबी की टीम करती है. उन्होंने कहा कि शुरुआत में जब एसीबी ट्रैप करती है. उसकी जानकारी लोगों तक पहुंचती है. लेकिन बाद में उन मामलों की जांच पड़ताल लंबे समय तक चलती है. उसमें जांच अधिकारी नियुक्त होता है. उसके बाद जो तथ्य सामने आते हैं. उनकी जानकारी लोगों तक नहीं पहुंच पाती है. साथ ही न्यायालय में भी अब मामलों का जल्द से जल्द निस्तारण हो, इसका प्रयास किया जा रहा है.

राजनीतिक सवालों से दिनेश एमएन ने दूरी बनाए रखी. उन्होंने कहा कि सरकार भ्रष्टाचारियों के खिलाफ है और सरकार की नीतियों पर विभाग काम कर रहा है. भ्रष्टाचारियों के खिलाफ सख्त कदम उठाए जा रहे हैं. उन्होंने कहा कि अगर शिकायतकर्ता अपनी जानकारी गुप्त रखना चाहता है तो उसकी जानकारी भी विभाग की तरफ से उजागर नहीं की जाती है. साथ ही लंबे समय से ट्रैप प्रक्रिया के दौरान शिकायतकर्ता की राशि मामले का निस्तारण होने तक जमा रहती है. इस दौरान शिकायतकर्ता को खासी परेशानी होती है. कई बार रकम ज्यादा होने के कारण शिकायतकर्ता ट्रैप की कार्रवाई नहीं करवा पाता है. इसलिए अलग से एक फंड बनाया गया है. उस फंड से शिकायतकर्ता को ट्रैप की कार्यवाही होने के बाद राशि लौटाई जाती है. उसके लिए एक टीम बनी हुई है व टीम राशि लौटाने को लेकर फैसला लेती है. दिनेश एमएन ने एसीबी के शिकायत हेल्पलाइन नंबर के बारे में भी विस्तार से जानकारी दी.

अलवर. भ्रष्टाचार निरोधक ब्यूरो के एडीजी दिनेश एमएन मंगलवार को अलवर (ACB ADG Dinesh MN reached Alwar) पहुंचे. उन्होंने प्रताप ऑडिटोरियम में एसीबी के एक कार्यक्रम के दौरान लोगों को जागरूक किया. साथ ही रिश्वत लेने वाले कर्मचारी अधिकारियों के खिलाफ एसीबी को शिकायत करने की बात कही. उन्होंने कहा कि इस साल रिकॉर्ड मामले एसीबी ने ट्रैप किए हैं. रिश्वत खोरों को किसी भी हाल में बख्शा नहीं जाएगा. उन्होंने कहा कि कई मामलों में शिकायतकर्ता की एसीबी तक पहुंचने की स्थिति नहीं होती है. उन मामलों में एसीबी के अधिकारी शिकायतकर्ता तक पहुंचते हैं.

जागरूकता कार्यक्रम के दौरान उन्होंने एसीबी की कार्य व्यवस्था, ट्रैप की प्रक्रिया की विस्तार से जानकारी दी. उन्होंने कहा कि राजस्थान एसीबी पूरे देश में सबसे बेहतर कार्य कर रही है. राजस्थान की जमीन पर रिश्वत लेने वाले प्रत्येक कर्मचारी व ऐसी संस्था जिनको राजस्थान सरकार से मदद मिलती है. उनको पकड़ने का काम एसीबी की टीम कर रही है. उत्तर प्रदेश, मध्य प्रदेश, गुजरात सहित कई राज्यों के अधिकारियों को भी एसीबी ने पकड़ा है. साथ ही केंद्र सरकार के रिश्वत लेने वाले कर्मचारी व अधिकारियों को भी एसीबी की टीम ने अपनी गिरफ्त में लिया है. कार्यक्रम के दौरान अलवर के लोगों ने एडीजी से अपने सवाल पूछे व सुझाव दिए.

एसीबी के एडीजी दिनेश एमएन

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जेल में बिताए अनुभव किए साझाः दिनेश एमएन ने भी अपने कार्य की जानकारी दी. उन्होंने जेल में बिताए अपने अनुभव भी लोगों के साथ साझा किए. उन्होंने कहा कि जेल में बिताए हुए साढ़े पांच साल उनके जीवन में नहीं भूलने वाला समय था. उन्होंने लोगों से आगे आकर भ्रष्टाचार के खिलाफ शिकायत करने व भ्रष्टाचारियों को पकड़वाने की बात कही. इस दौरान अलवर के लोगों ने उनका स्वागत किया. कुछ लोगों ने अपनी समस्याएं रखी तो कुछ ने अपने सुझाव दिए.

उन्होंने लोगों की निजी शिकायतें भी सुनी. एसीबी के कार्यालय में लोगों ने अपनी शिकायतें अधिकारियों के खिलाफ उनको दी. एडीजी ने कई कहानियों के माध्यम से लोगों को मोटिवेट किया. उन्होंने कहा कि हम समाज की बुराइयों को मिटा नहीं सकते. लेकिन उन बुराइयों के खिलाफ एक कदम उठा सकते हैं. एसीबी की जांच प्रक्रिया पर उन्होंने कहा कि एसीबी मामलों की जांच पड़ताल करती है. शिकायत मिलने पर एसीबी के कर्मचारी व अधिकारी एक्टिव होते हैं. कई मामलों में एसीबी खुद भी संज्ञान लेती है.

पढ़े:सावधान! एनकाउंटर स्पेशलिस्ट IPS दिनेश एमएन की रडार पर हैं कालाबाजारी करने वाले

आय से अधिक संपत्ति रखने पैसे का लेनदेन करने सहित अलग-अलग मामलों में एसीबी जांच पड़ताल करती है. उन्होंने कहा कि तकनीक के दौर में एसीबी तकनीक पर ध्यान दे रही है. एसीबी के अधिकारियों, कर्मचारियों को आईटी की ट्रेनिंग दी जाती है. साथ ही अधिकारी व कर्मचारी एसीबी से बचने के लिए कई हथकंडे अपनाते हैं. उनके खिलाफ भी सख्त जांच पड़ताल एसीबी की टीम करती है. उन्होंने कहा कि शुरुआत में जब एसीबी ट्रैप करती है. उसकी जानकारी लोगों तक पहुंचती है. लेकिन बाद में उन मामलों की जांच पड़ताल लंबे समय तक चलती है. उसमें जांच अधिकारी नियुक्त होता है. उसके बाद जो तथ्य सामने आते हैं. उनकी जानकारी लोगों तक नहीं पहुंच पाती है. साथ ही न्यायालय में भी अब मामलों का जल्द से जल्द निस्तारण हो, इसका प्रयास किया जा रहा है.

राजनीतिक सवालों से दिनेश एमएन ने दूरी बनाए रखी. उन्होंने कहा कि सरकार भ्रष्टाचारियों के खिलाफ है और सरकार की नीतियों पर विभाग काम कर रहा है. भ्रष्टाचारियों के खिलाफ सख्त कदम उठाए जा रहे हैं. उन्होंने कहा कि अगर शिकायतकर्ता अपनी जानकारी गुप्त रखना चाहता है तो उसकी जानकारी भी विभाग की तरफ से उजागर नहीं की जाती है. साथ ही लंबे समय से ट्रैप प्रक्रिया के दौरान शिकायतकर्ता की राशि मामले का निस्तारण होने तक जमा रहती है. इस दौरान शिकायतकर्ता को खासी परेशानी होती है. कई बार रकम ज्यादा होने के कारण शिकायतकर्ता ट्रैप की कार्रवाई नहीं करवा पाता है. इसलिए अलग से एक फंड बनाया गया है. उस फंड से शिकायतकर्ता को ट्रैप की कार्यवाही होने के बाद राशि लौटाई जाती है. उसके लिए एक टीम बनी हुई है व टीम राशि लौटाने को लेकर फैसला लेती है. दिनेश एमएन ने एसीबी के शिकायत हेल्पलाइन नंबर के बारे में भी विस्तार से जानकारी दी.

Last Updated : Apr 19, 2022, 10:42 PM IST
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