बीकानेर. राज्य सरकार की तरफ से लॉकडाउन में बेरोजगार हुए लोगों और प्रवासियों की 37 श्रेणियों में राशन वितरण का काम चल रहा है. राशन वितरण का यह काम 26 जून तक प्रदेश भर में चलेगा. लेकिन बीकानेर जिला कलेक्ट्रेट परिसर में स्थित जिला रसद अधिकारी कार्यालय में राशन वितरण के दौरान सोशल डिस्टेंसिंग की जमकर धज्जियां उड़ाई गई.
पढ़ें: राजस्थान एपिडेमिक अध्यादेश के तहत पुलिस ने काटे 1.36 लाख लोगों के चालान, 2.35 करोड़ का वसूला जुर्माना
बीकानेर जिला कलेक्ट्रेट परिसर में राशन लेने आए कई लोग मास्क भी नहीं लगाए हुए थे. वहीं प्रदेश भर में कोरोना वायरस संक्रमण के मामले लगातार बढ़ते जा रहे हैं. लेकिन वहीं राशन वितरण के समय सरकार की तरफ से जारी गाइडलाइन भी हवा-हवाई नजर आई. इस पूरे घटनाक्रम पर जिला रसद अधिकारी यसवंत भाकर ने बताया कि सोशल डिस्टेंसिंग की पालना हेतु चार काउंटर बनवा दिए गए हैं ताकि एक जगह भीड़ ना हो.
क्या है राज्य सरकार की स्कीम?
कोविड-19 महामारी के कारण लॉकडाउन की अवधि में प्रदेश में विभिन्न व्यवस्थाओं में दैनिक रूप से कार्य करने वाले लोग अस्थाई रूप से बेरोजगार हो गए हैं. उन्हें खाद्यान्न सामग्री देने के लिए राज्य सरकार ने 37 विशेष श्रेणी निर्धारित की हैं. अब ऐसी विशेष श्रेणी के व्यक्तियों को मई और जून माह के लिए प्रति व्यक्ति 5 किलो गेहूं और प्रति परिवार 1 किलो चना प्रतिमाह निःशुल्क वितरण 12 जून से किया जा रहा है. सर्वे के आधार पर प्रदेश में विशेष श्रेणी के नॉन एनएफएसए व्यक्तियों की संख्या लगभग 43 लाख हैं.
राशन का वितरण उचित मूल्य की दुकान पर दो सरकारी कर्मचारियों की देखरेख में किया जाता है. गेहूं और चने का सभी लाभार्थियों को वितरण से पहले एसएमएस के माध्यम से सूचित किया जाता है.