अलवर. अनलॉक के बाद अलवर में काम धीरे-धीरे पटरी पर लौटने लगा है. उद्योगों में उत्पादन बढ़ने के साथ ही मजदूरों की मांग बढ़ने लगी है. जिले में 15 हजार से अधिक औद्योगिक इकाइयां हैं. इनमें 70 फीसदी मजदूरों के साथ काम शुरू हो चुका है. जबकि कुछ कंपनियां पहले की तरह काम करने लगी हैं. छोटी कंपनियों को कुछ परेशानी का सामना करना पड़ रहा है. हालांकि दिवाली से पहले सभी में फिर से सभी श्रमिकों के काम पर आने की उम्मीद है.
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ऑटोमोबाइल, फार्मा, पैकेजिंग, गिलास, फूड, टेक्सटाइल, रबड़, प्लास्टिक, फर्नेस, मिलनस, वायर व बियर सहित कई तरह की औद्योगिक इकाइयां हैं, जिनमें सात से आठ लाख श्रमिक काम करते हैं. भिवाड़ी की बात करें तो भिवाड़ी क्षेत्र में 3840 कंपनियां शुरू हो चुकी हैं. जबकि अलवर खैरथल, थानागाजी, खेड़ली क्षेत्र में करीब 900 औद्योगिक इकाइयां शुरू हो चुकी हैं. अभी शुरू हुई औद्योगिक इकाइयों पर नजर डालें तो ऑटोमोबाइल से जुड़े हुए 400 प्लांट शुरू हुए हैं. फार्मा से जुड़े हुए 20, पैकेजिंग से जुड़े हुए 200, ग्लास से जुड़ी हुई एक, फूड से जुड़े हुए 500, टेक्सटाइल से जुड़े हुए 10, मिल रन यूनिट 200, रबड़ प्लास्टिक की 50, फर्नेस की 20 यूनिट शुरू हो चुकी हैं. इसके अलावा दूसरी 500 उद्योग इकाइयां शुरू हो चुकी हैं.
दिवाली तक सभी औद्योगिक इकाइयों में दो लाख से अधिक श्रमिक वापस काम पर लौटने की उम्मीद की जा रही है. लगातार डिमांड बढ़ने के साथ उत्पादन बढ़ने लगा है. कुछ बड़ी औद्योगिक इकाइयां पहले की तरह काम करने लगी हैं. जबकि छोटी औद्योगिक इकाइयों को खासी दिक्कत या परेशानी का सामना करना पड़ रहा है. हालांकि सभी औद्योगिक इकाइयां सरकार की गाइडलाइन का पालन कर रही हैं. लेकिन उसके बाद भी डिमांड कम होने के कारण दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा है. हालांकि रीको और डीआईसी के अधिकारियों की माने तो उद्योग इकाइयों में काम शुरू होने से श्रमिकों को राहत मिली है. अलवर में उत्तर प्रदेश, बिहार, झारखंड, मध्य प्रदेश, महाराष्ट्र, गुजरात, हरियाणा और दिल्ली सहित देश भर से श्रमिक रोजगार के लिए आते हैं.