अलवर. जिले के सरिस्का बाघ परियोजना के सबसे उम्रदराज बाघ एसटी-6 के पिछले पांव कमजोर हो चुके थे. लंबे समय से बाघ एनक्लोजर में बंद है. शुक्रवार को बाघ एसटी-6 का वरिष्ठ पशु चिकित्सा अधिकारी नाहरगढ़ बायोलोजिकल पार्क जयपुर एवं सरिस्का के वरिष्ठ पशु चिकित्सक की ओर से स्वास्थ्य परीक्षण किया गया. बाघ की आयु ज्यादा होने के कारण उसके पांवों में कमजोरी आ गई है. बाघ को दवा देने के साथ उसपर 24 घंटे नजर रखी जा रही है.
सरिस्का के डीएफओ सुदर्शन शर्मा ने बताया कि क्षेत्र निदेशक आरएन मीणा की देखरेख में बाघ एसटी-6 स्वास्थ्य परीक्षण वरिष्ठ पशु चिकित्सा अधिकारी नाहरगढ़ बायोलोजिकल पार्क जयपुर के डॉ. अरविंद माथुर तथा सरिस्का के वरिष्ठ पशु चिकित्सक डॉ. दीनदयाल मीणा ने किया है. इस दौरान बाघ के पिछले पांवों की मसल्स में कमजोरी पाई गई.
यह बीमारी बाघ की उम्र ज्यादा होने के कारण हुई है. इसके लिए स्वास्थ्य परीक्षण दल की ओर से बाघ को दवाएं दी गईंं हैं. बाघ एसटी-6 की सतत मॉनिटरिंग के निर्देश दिए गए हैं. उन्होंने बताया कि उम्र ज्यादा होने तथा पूर्व में घाव होने के कारण बाघ पिछले कई महीनों से सरिस्का के एनक्लोजर में है. फिलहाल अभी उसे खाना खाने व पानी पीने में कोई परेशानी नहीं है.
बाघ एसटी-6 लंबे समय से एनक्लोजर में है. सरिस्का प्रशासन की तरह से बाघ के लिए खाने व पानी की व्यवस्था भी एनक्लोजर में ही कराई जा रही है. डॉक्टरों की टीम बाघ को दवा भी दे रही है. बाघ की तबीयत की जानकारी वन विभाग के अधिकारियों को लगातार दी जा रही है.