अलवर. जिले से रामगढ़ 36 किलोमीटर दूर है. सिंगल रोड सड़क मार्ग पर सड़क व आसपास हजारों की संख्या में खड़े हैं. इस मार्ग पर सबसे ज्यादा यातायात बार होने के कारण हादसे भी सबसे ज्यादा होते हैं. ऐसे में लोगों द्वारा लंबे समय से इस मार्ग का दोहरीकरण करने की मांग उठ रही थी.
बता दें कि लोगों को होने वाली समस्या को देखते हुए सरकार ने दोहरीकरण का प्रस्ताव मंजूर करते हुए स्मार्ट उदारीकरण करने के आदेश दिए. सरकार के आदेश के बाद स्मारक का काम भी शुरू हो चुका है. तेजी से मार्ग को चोडा करने का काम चल रहा है, लेकिन इस कार्य में कई तरह की अनियमितताएं बरती जा रही है. जिसके कारण यह मार्ग जानलेवा बन गया है.
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सड़क मार्ग पर नाही तारबंदी की कोई व्यवस्था है और न ही इंडिकेशन बोर्ड लगे हैं. ऐसे में रात के समय वाहनों की रफ्तार तेज रहती है. ऐसे में वाहन साइड में नीचे उतर जाते हैं. इससे वाहन पलटने व हादसे में लोगों के घायल होने का डर बना रहता है. प्रतिदिन इस मार्ग पर रात के समय हादसे होने की शिकायतें मिल रही है, लेकिन उसके बाद भी विभाग के अधिकारियों का इस ओर कोई ध्यान नहीं है. ठेकेदार द्वारा काम में लापरवाही बरती जा रही है. इसका खामियाजा आम लोगों को उठाना पड़ रहा है. लोगों ने भी इस संबंध में कई बार संबंधित विभाग के अधिकारियों को शिकायत दी, लेकिन अभी तक इस पर किसी का ध्यान नहीं है, इसलिए लगातार हादसों का सिलसिला जारी है.