अजमेर. अजमेर शरीफ ख्वाजा मोइनुद्दीन चिश्ती रहमतुल्लाह के 808 उर्स मुबारक के मौके पर चढ़ाने के लिए चादरें आना शुरू हो गया है. ऐसे ख्वाजा मोइनुद्दीन चिश्दी के दरगाह पर सबसे पहली चादर राष्ट्रीय मुस्लिम मंच के अध्यक्ष और आरएसएस के पूर्व प्रतिनिधि इंद्रेश कुमार ने भिजवाई है. इंद्रेश कुमार ने अपने प्रतिनिधि के रूप में राष्ट्रीय मुस्लिम मंच के अधिकारी इमरान चौधरी और कार्यकर्ताओं के हाथों चादर और पैगाम भिजवाया है. इस दौरान ईटीवी भारत के संवादाता ने इमरान चौधरी से खास बातचीत और इंद्रेश कुमार का पैगाम जाना.
इमरान चौधरी ने बताया कि इंद्रेश कुमार दिल्ली दरवाजे तक आए थे, लेकिन उनकी तबियत नासाज होने और दरगाह पर भीड़ होने के कारण वे अंदर नहीं आए. चौधरी ने बताया कि इंद्रेश दिल्ली दरवाजे पर उनके हाथ में चादर और लिखित में पैगाम भेजा है. पैगाम में इंद्रेश कुमार ने 'मजहब नहीं सिखाता आपस में बैर करना', कौमी एकता और आपसी भाईचारे की बात लिखी है. जिसे चौधरी ने पढ़कर सुनाया.
ये पढ़ेंः 808वें उर्स: 2 करोड़ 94 लाख में छूटा दरगाह में देग का ठेका
वहीं दरगाह में रखे गए सूफी कॉनफ्रेंस को लेकर चौधरी ने बताया कि देश में कुछ लोग नफरत का माहौल पैदाकर रहे है. ऐसे में सूफी विचारधारा ऐसी विचारधारा है जो मोहब्बत पैदा करने वाली है. इसीलिए सूफी कॉनफ्रेंस दरगाह में आयोजित किया गया है. इसके जरिए देश भर में मोहब्बत का पैगाम पहुंचेगा. देश की आवाम में मोहब्बत और भाईचारा बढ़गा.