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सेना को जल्द मिलेगी ड्रोन ट्रेस करने की नई तकनीक : रक्षा विशेषज्ञ - qamar agha on pak drones

पाकिस्तान ने सीमा के उस पार से ड्रोन के जरिये आतंकी हमले करने की तरकीब निकाली है. यह तरकीब सिर्फ भारत ही नहीं बल्कि आतंक से तंग समस्त देशों के लिए चुनौती बनी हुई है. इस समस्या से निबटने के लिए भारत द्वारा ड्रोन ट्रेस करने की नई तकनीक पर काम हो रहा है. इस मामले को लेकर ईटीवी भारत ने रक्षा विशेषज्ञ से खास बातचीत की है. जानें उन्होंने क्या कुछ कहा...

रक्षा विशेषज्ञ
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Published : Oct 9, 2019, 5:53 PM IST

नई दिल्ली : कश्मीर से अनुच्छेद 370 हटने के बाद पाकिस्तान बौखलाया हुआ है और भारत में आतंकी हमले करने के नये-नये तरीके अपना रहा है. आतंकवादियों ने घाटी में घुसपैठ के बाद अब पंजाब में ड्रोन के जरिये हथियार पहुंचाने की कोशिश शुरु कर दी है. इस संबंध में ईटीवी भारत ने रक्षा विशेषज्ञ कमर आगा से बात की है.

रक्षा विशेषज्ञ कमर आगा ने बताया कि ड्रोन का बॉर्डर पर पता लगा पाना मुश्किल है और इस समस्या से सिर्फ भारत ही नहीं बल्कि दुनिया के बाकी देश भी जूझ रहे हैं.

ड्रोन को ट्रेस करने की तकनीक की जानकारी देते कमर आगा, देखें वीडियो...

कमर आगा ने कहा, ड्रोन की क्षमता ज्यादा ऊंचाई पर उड़ने की नहीं होती और यही कारण है कि इन्हें ट्रेस करना मुश्किल काम हो जाता है.

उन्होंने बताया, 'देश की सीमाओं पर सुरक्षा एजंसियां अब तक पुराने तरीकों से ही ड्रोन की गतिविधियों का पता लगाती थीं, लेकिन अब नई तकनीक के जरिये ड्रोन का पता लगाने की कोशिश हो रही है. हालांकि, इसमें अब तक हमें पूर्ण रूप से सफलता नहीं मिल पाई है.'

यह भी पढे़ं : पाक को भारत की चेतावनी, भारतीय सीमा में घुसने वाले ड्रोन को मार गिराया जाएगा

रक्षा विशेषज्ञ ने बताया कि सीमा पर ड्रोन का पता लगाने के लिए लेसर फेंसिंग सबसे ज्यादा कारीगर है, लेकिन कई बार क्रॉस-बॉर्डर फायरिंग का फायदा उठाते हुए दुश्मन देश अपनी सीमा से नजदीक में आकर इसे पहुंच देता है और इस दौरान कोई भी तकनीक ड्रोन का पता नहीं लगा पाती है.

उन्होंने आगे बताया कि दुश्मन देश ड्रोन को कभी नदी नालों द्वारा तो कभी छोटी-छोटी पहाड़ियों द्वारा खुफिया तरीकों से पहुंचाता है.

कमर आगा ने बताया की केंद्र सरकार ने इन सब चुनौतियों से निबटने के लिए नई तकनीक पर काम करना शुरू कर दिया और हमें उम्मीद है कि सरकार को इसमें जल्द ही सफलता मिलेगी.

बता दें कि सितम्बर में पाकिस्तान द्वारा ड्रोन द्वारा पंजाब में भारी संख्या में हथियार गिराने की खबर सामने आई थी, जिसके बाद राज्य के मुख्यमंत्री का अमरिंदर सिंह ने गृहमंत्री अमित शाह को इस मामले को संज्ञान में लेने के लिए कहा था.

गृह मंत्रालय में अमित शाह ने BSF (सीमा सुरक्षा बल), IB (इंटेलिजेंस ब्यूरो), SSB (सशस्त्र सीमा बल) के डीजी एवं गृह मंत्रालय के आला अधिकारियों के साथ बैठक की थी, जिसमें उन्होंने खुद स्थिति का जायजा लिया था.

इस घटना की जांच गृह मंत्रालय ने NIA (राष्ट्रीय जांच ब्यूरो) को सौंप दी है. सितम्बर महीने के बाद पंजाब में लगातार ड्रोन दिखने की सूचनाएं सामने आ रही हैं. फिरोजपुर में ड्रोन दिखने के बाद BSF को अलर्ट कर दिया गया है.

नई दिल्ली : कश्मीर से अनुच्छेद 370 हटने के बाद पाकिस्तान बौखलाया हुआ है और भारत में आतंकी हमले करने के नये-नये तरीके अपना रहा है. आतंकवादियों ने घाटी में घुसपैठ के बाद अब पंजाब में ड्रोन के जरिये हथियार पहुंचाने की कोशिश शुरु कर दी है. इस संबंध में ईटीवी भारत ने रक्षा विशेषज्ञ कमर आगा से बात की है.

रक्षा विशेषज्ञ कमर आगा ने बताया कि ड्रोन का बॉर्डर पर पता लगा पाना मुश्किल है और इस समस्या से सिर्फ भारत ही नहीं बल्कि दुनिया के बाकी देश भी जूझ रहे हैं.

ड्रोन को ट्रेस करने की तकनीक की जानकारी देते कमर आगा, देखें वीडियो...

कमर आगा ने कहा, ड्रोन की क्षमता ज्यादा ऊंचाई पर उड़ने की नहीं होती और यही कारण है कि इन्हें ट्रेस करना मुश्किल काम हो जाता है.

उन्होंने बताया, 'देश की सीमाओं पर सुरक्षा एजंसियां अब तक पुराने तरीकों से ही ड्रोन की गतिविधियों का पता लगाती थीं, लेकिन अब नई तकनीक के जरिये ड्रोन का पता लगाने की कोशिश हो रही है. हालांकि, इसमें अब तक हमें पूर्ण रूप से सफलता नहीं मिल पाई है.'

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रक्षा विशेषज्ञ ने बताया कि सीमा पर ड्रोन का पता लगाने के लिए लेसर फेंसिंग सबसे ज्यादा कारीगर है, लेकिन कई बार क्रॉस-बॉर्डर फायरिंग का फायदा उठाते हुए दुश्मन देश अपनी सीमा से नजदीक में आकर इसे पहुंच देता है और इस दौरान कोई भी तकनीक ड्रोन का पता नहीं लगा पाती है.

उन्होंने आगे बताया कि दुश्मन देश ड्रोन को कभी नदी नालों द्वारा तो कभी छोटी-छोटी पहाड़ियों द्वारा खुफिया तरीकों से पहुंचाता है.

कमर आगा ने बताया की केंद्र सरकार ने इन सब चुनौतियों से निबटने के लिए नई तकनीक पर काम करना शुरू कर दिया और हमें उम्मीद है कि सरकार को इसमें जल्द ही सफलता मिलेगी.

बता दें कि सितम्बर में पाकिस्तान द्वारा ड्रोन द्वारा पंजाब में भारी संख्या में हथियार गिराने की खबर सामने आई थी, जिसके बाद राज्य के मुख्यमंत्री का अमरिंदर सिंह ने गृहमंत्री अमित शाह को इस मामले को संज्ञान में लेने के लिए कहा था.

गृह मंत्रालय में अमित शाह ने BSF (सीमा सुरक्षा बल), IB (इंटेलिजेंस ब्यूरो), SSB (सशस्त्र सीमा बल) के डीजी एवं गृह मंत्रालय के आला अधिकारियों के साथ बैठक की थी, जिसमें उन्होंने खुद स्थिति का जायजा लिया था.

इस घटना की जांच गृह मंत्रालय ने NIA (राष्ट्रीय जांच ब्यूरो) को सौंप दी है. सितम्बर महीने के बाद पंजाब में लगातार ड्रोन दिखने की सूचनाएं सामने आ रही हैं. फिरोजपुर में ड्रोन दिखने के बाद BSF को अलर्ट कर दिया गया है.

Intro:नई दिल्ली। कश्मीर से धारा 370 हटने के बाद पाकिस्तान बौखला यह हुआ है और भारत में आतंकी हमले करने के नए-नए तरीके अपना रहा है। आतंकवादियों ने घाटी में घुसपैठ के बाद अब पंजाब में ड्रोन के जरिए हथियार पहुंचाने की कोशिश शुरु कर दी है। इस पर ईटीवी भारत ने रक्षा विशेषज्ञ कमर आगा से बात की जिन्होंने कहा कि ड्रोन का बॉर्डर पर पता लगा पाना मुश्किल है और इस समस्या से सिर्फ भारत ही नहीं बल्कि दुनिया के बाकी देश भी जूझ रहे हैं।


Body:कमर आगा ने कहा, "ड्रोन के उड़ने के उड़ने कि छमता ज्यादा उचाईं में उड़ने की नहीं होती है और इसी कारण उन्हें ट्रेस करना मुश्किल हो जाता है।" उन्होंने बताया कि देश की सीमाओं पर सुरक्षा एजंसियां अभी तक पुराने तरीकों से ही ड्रोन की गतिविधियों का पता लगाती थीं लेकिन अब नई तकनीक के ज़रिये ड्रोन का पता लगाने की कोशिश हो रही। हालांकि, इसमें अभी तक हमें पूर्ण रूप से सफलता नहीं मिल पायी है।

रक्षा विशेषज्ञ ने बताया कि सीमा पर ड्रोन का पता लगाने के लिए लेसर फेंसिंग सबसे ज़्यादा कारीगर है लेकिन कई बार क्रॉस-बॉर्डर फायरिंग का फायदा उठाते हुए दुश्मन देश अपनी सीमा से नज़दीक में आकर इसे पहुंच देता है। और इस दौरान कोई भी तकनीक ड्रोन का पता नहीं लगा पाती है। उन्होंने बताया कि दुश्मन देश कभी ड्रोन को नदी-नालों के द्वारा तो कभी छोटी-छोटी पहाड़ियों के द्वारा उन्हें खुफिया तरीकों से पहुंचाया जाता है।

कमर आगा ने बताया की केंद्र सरकार ने इन सब चुनौतियों से निपटने के लिये नई तकनीक पर काम करना शुरु कर दिया और हमें उम्मीद है कि सरकार को इसमें जल्द ही सफलता मिलेगी।



Conclusion:बता दें कि सितंबर में पाकिस्तान ने ड्रोन द्वारा पंजाब में भारी संख्या में हथियार गिराने की खबर सामने आई जिसके बाद राज्य के मुख्यमंत्री का अमरिंदर सिंह ने गृहमंत्री अमित शाह को इस मामले को संज्ञान में लेने के लिए कहा जिसके बाद गृह मंत्रालय में अमित शाह ने बीएसएफ, आईबी, एसएसबी के डीजी एवं गृह मंत्रालय के आला अधिकारियों के साथ बैठा की थी जिसमें उन्होंने खुद स्थिति का जयज़ा लिया था।

इस घटना की जांच गृह मंत्रालय ने एनाआईए को सौंप दी है। सितंबर माह के बाद पंजाब में लगातार ड्रोन दिखने की सूचनाएँ सामने आ रही है। फिरोजपुर में ड्रोन दिखने के बाद बीएसएफ को अलर्ट कर दिया गया है।
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