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MP Vidisha : फसल विवाद को लेकर प्रशासनिक अफसरों के सामने खुदकुशी का प्रयास - जबरन फसल कटवाने का आरोप

विदिशा में फसल को लेकर जारी विवाद में एक किसान ने प्रशासनिक अधिकारियों के सामने खुदकुशी करने की कोशिश की. उसे अस्पताल में भर्ती कराया गया है.

Suicide attempt in front of officers crop dispute
प्रशासनिक अफसरों के सामने खुदकुशी का प्रयास
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Published : Feb 28, 2023, 6:52 PM IST

विदिशा। प्रशासनिक अधिकारियों के सामने किसान ने आत्महत्या करने की कोशिश की. इस मामले में किसान के परिजनों ने विरोधाभासी बयान दिए हैं. प्रशासन कुछ और ही कह रहा है. किसान के भाई मलखान सिंह मीणा का कहना है कि मेरी खुद की निजी 10 बीघा जमीन है. एसडीएम गोपाल वर्मा 3 साल से गेहूं की खड़ी फसल कटवा रहे हैं. अभी मौके पर नायब तहसीलदार अनामिका मैडम गई थीं और वही मेडिकल कॉलेज मेरे भाई को इलाज के लिए लेकर आई हैं. प्रशासन के अधिकारी, नायब तहसीलदार व पटवारी ने खड़े होकर फसल घिरवा दी. सरदार सिंह और बादाम सिंह जो रास्ता मांग रहे हैं, वह लोग हैं.

जबरन फसल कटवाने का आरोप : मेडिकल कॉलेज के आकस्मिक चिकित्सा विभाग के डॉ.वैभव जैन ने बताया कि एक मरीज इंदर सिंह मीणा को यहां लाया गया है. हमने प्राथमिक उपचार करके आईसीयू में शिफ्ट कर दिया है. जांच होने के बाद ही बताया जा सकता है. किसान के भाई शेषराम मीणा का कहना है कि एसडीएम पैसे खाकर जबरदस्ती फसल कटवा रहे हैं. हमारी फसल से दूसरे के लिए रास्ता दे रहे हैं. हमारी निजी भूमि को लेकर केस चल रहा है. जब देखो तब वारंट निकाल रहे हैं. बता दे कि फसल का मामला खामखेड़ा के पास ग्राम दल्ला खेड़ी का है. वहीं, नायब तहसीलदार अनामिका ने इस मामले में कुछ भी कहने से इंकार किया है. शहरी ग्रामीण तहसीलदार विदिशा का कहना है कि आपसी भाइयों का जमीन को लेकर विवाद है. एक ही परिवार का बाकी बहुत डिटेल मुझे पता नहीं है. डिटेल होगा तो बता देंगे. जब हमने तहसीलदार से पूछा कि क्या स्थिति है किसान ने खुदकुशी के प्रयास की बात आ रही है तो तहसीलदार का कहना था कि नहीं, इस संबंध में मुझे कुछ नहीं मालूम है. आप डॉक्टर साहब से पूछ लीजिए.

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एसडीएम ने आरोप निराधार बताए : गौरतलब है कि विदिशा के मेडिकल कॉलेज में तहसीलदारों की गाड़ियां सायरन बजाते हुए तेज स्पीड में किसान इंदर सिंह मीणा को लेकर भागते दौड़ते अधिकारी इलाज के लिए केजुएल्टी वार्ड में पहुंचे और उस किसान का इलाज शुरू किया गया है. फिलहाल आईसीयू वार्ड में किसान इंदर सिंह का इलाज अभी जारी है. वहीं एसडीएम गोपाल सिंह वर्मा ने आरोपों को निराधार बताते हुए कहा कि किसान इंदर सिंह दूसरे किसान के खेत का रास्ता नहीं दे रहा है और इसका प्रकरण वह कलेक्टर और कमिश्नर के न्यायालय में हार चुका है. उन्हीं के आदेश का पालन किया जा रहा है.

विदिशा। प्रशासनिक अधिकारियों के सामने किसान ने आत्महत्या करने की कोशिश की. इस मामले में किसान के परिजनों ने विरोधाभासी बयान दिए हैं. प्रशासन कुछ और ही कह रहा है. किसान के भाई मलखान सिंह मीणा का कहना है कि मेरी खुद की निजी 10 बीघा जमीन है. एसडीएम गोपाल वर्मा 3 साल से गेहूं की खड़ी फसल कटवा रहे हैं. अभी मौके पर नायब तहसीलदार अनामिका मैडम गई थीं और वही मेडिकल कॉलेज मेरे भाई को इलाज के लिए लेकर आई हैं. प्रशासन के अधिकारी, नायब तहसीलदार व पटवारी ने खड़े होकर फसल घिरवा दी. सरदार सिंह और बादाम सिंह जो रास्ता मांग रहे हैं, वह लोग हैं.

जबरन फसल कटवाने का आरोप : मेडिकल कॉलेज के आकस्मिक चिकित्सा विभाग के डॉ.वैभव जैन ने बताया कि एक मरीज इंदर सिंह मीणा को यहां लाया गया है. हमने प्राथमिक उपचार करके आईसीयू में शिफ्ट कर दिया है. जांच होने के बाद ही बताया जा सकता है. किसान के भाई शेषराम मीणा का कहना है कि एसडीएम पैसे खाकर जबरदस्ती फसल कटवा रहे हैं. हमारी फसल से दूसरे के लिए रास्ता दे रहे हैं. हमारी निजी भूमि को लेकर केस चल रहा है. जब देखो तब वारंट निकाल रहे हैं. बता दे कि फसल का मामला खामखेड़ा के पास ग्राम दल्ला खेड़ी का है. वहीं, नायब तहसीलदार अनामिका ने इस मामले में कुछ भी कहने से इंकार किया है. शहरी ग्रामीण तहसीलदार विदिशा का कहना है कि आपसी भाइयों का जमीन को लेकर विवाद है. एक ही परिवार का बाकी बहुत डिटेल मुझे पता नहीं है. डिटेल होगा तो बता देंगे. जब हमने तहसीलदार से पूछा कि क्या स्थिति है किसान ने खुदकुशी के प्रयास की बात आ रही है तो तहसीलदार का कहना था कि नहीं, इस संबंध में मुझे कुछ नहीं मालूम है. आप डॉक्टर साहब से पूछ लीजिए.

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