ETV Bharat / state

Elephant Service in Umaria गणेश उत्सव के दौरान गजराजों की सेवा का बेहतरीन नजारा, खातिरदारी का ले रहे पूरा मजा

गणेश उत्सव के दौरान उमरिया के बांधवगढ़ टाइगर रिजर्व में गज महोत्सव मनाया गया. जिसको लेकर बांधवगढ़ टाइगर रिजर्व में हाथियों की खूब खातिरदारी की गई. उनके नहाने, मालिश करने से लेकर खाने-पीने का खास ख्याल रखा जा रहा है.

Elephant Service in Umaria
हाथियों की सेवा
author img

By

Published : Sep 1, 2022, 12:09 PM IST

Updated : Sep 1, 2022, 12:38 PM IST

उमरिया। जिले के बांधवगढ़ टाइगर रिजर्व में इन दिनों हाथियों की सेवा सत्कार का ये नजारा हाथी महोत्सव का है. गणेशचतुर्थी-पंचमी का पड़ना इस महोत्सव को और भी खास कर दिया. सभी हाथियों की इतनी खातिरदारी की जा रही है कि वे भी इस महोत्सव का आनंद ले रहे हैं. बांधवगढ़ में गजराजों की सेवा सत्कार से गणेशोत्सव में चार चांद लग गए हैं.

गजराज की सेवा

अच्छे से होती है हाथियों की खुशामदी

बता दे कि महोत्सव के दौरान हाथियों की खुशामदी का सिलसिला अलसुबह से शुरू होकर तमाम दिन चलता है. शुरुआत महावतों द्वारा सभी हाथियों को एकत्रित करने से होती है. जिसके बाद उन्हें नदी में घंटों नहलाना,नाखून काटना फिर नीम के तेल से शरीर की मालिश मानों हाथियों के पूरे ठाठ हो. इसके बाद विशेषज्ञ चिकित्सक हाथियों का स्वास्थ परीक्षण करते हैं. जिसके बाद हाथियों को उनका प्रिय भोजन और फल खिलाया जाता है. जिसमे मक्के और बाजरे की रोटियां,नारियल,केला,गन्ना और वो तमाम चीजें शामिल होती है, जो गजराज को पसंद है.

Elephant Service in Umaria
मालिश कराते हाथी

हाथियों के लिए जश्न मनाने का अवसर
बांधवगढ़ में पूरी तरह से प्रशिक्षित तकरीबन 14 हाथी मौजूद है. जिनमें से सबसे बुजुर्ग हाथी गौतम लगभग अपने अंतिम महोत्सव में शरीक है. तो गणेश नामक युवा गजराज पहली बार महोत्सव की मौज मस्ती में शरीक हुआ है. इसके साथ सूर्या,अनारकली,जैसी युवा हथिनी भी इस खास मौके का पूरा आनंद लेते देखे गये. खास बात यह है सालभर पार्क की सुरक्षा में जी तोड़ मेहनत करने वाले हाथियों को जब महोत्सव में लाया जाता है, तो प्रबंधन भी उनकी खुशामदगी में कोई कसर नही छोड़ता. मतलब साफ है कि यह हाथियों के लिए न सिर्फ एक खास पार्टी होती है बल्कि जश्न मनाने का भरपूर अवसर भी कहा जा सकता है.

Elephant Service in Umaria
फल खाते हाथी

MP जंगल के नियमों से रू-ब-रू हो रहा अनारकली हथनी का बेबी एलीफेंट, Video में देखें ट्रेनिंग

बता दें कि हाथी महोत्सव मनाने की सबसे बड़ी वजह साल भर उनसे ली जाने वाली कड़ी मेहनत के बदले में उपहार है. जिससे वो तरोताजा होकर फिर नये सिरे से पहरेदारी को तैयार हो. यह अलग बात है कि गजराजों की खातिरदारी के पीछे पार्क प्रबंधन की अपनी मंशा है, लेकिन गणेशोत्सव के समय गजराजों की असल सेवा की ये बेहतरीन तस्वीरे गणेशोत्सव में चार चांद लगाती है.

उमरिया। जिले के बांधवगढ़ टाइगर रिजर्व में इन दिनों हाथियों की सेवा सत्कार का ये नजारा हाथी महोत्सव का है. गणेशचतुर्थी-पंचमी का पड़ना इस महोत्सव को और भी खास कर दिया. सभी हाथियों की इतनी खातिरदारी की जा रही है कि वे भी इस महोत्सव का आनंद ले रहे हैं. बांधवगढ़ में गजराजों की सेवा सत्कार से गणेशोत्सव में चार चांद लग गए हैं.

गजराज की सेवा

अच्छे से होती है हाथियों की खुशामदी

बता दे कि महोत्सव के दौरान हाथियों की खुशामदी का सिलसिला अलसुबह से शुरू होकर तमाम दिन चलता है. शुरुआत महावतों द्वारा सभी हाथियों को एकत्रित करने से होती है. जिसके बाद उन्हें नदी में घंटों नहलाना,नाखून काटना फिर नीम के तेल से शरीर की मालिश मानों हाथियों के पूरे ठाठ हो. इसके बाद विशेषज्ञ चिकित्सक हाथियों का स्वास्थ परीक्षण करते हैं. जिसके बाद हाथियों को उनका प्रिय भोजन और फल खिलाया जाता है. जिसमे मक्के और बाजरे की रोटियां,नारियल,केला,गन्ना और वो तमाम चीजें शामिल होती है, जो गजराज को पसंद है.

Elephant Service in Umaria
मालिश कराते हाथी

हाथियों के लिए जश्न मनाने का अवसर
बांधवगढ़ में पूरी तरह से प्रशिक्षित तकरीबन 14 हाथी मौजूद है. जिनमें से सबसे बुजुर्ग हाथी गौतम लगभग अपने अंतिम महोत्सव में शरीक है. तो गणेश नामक युवा गजराज पहली बार महोत्सव की मौज मस्ती में शरीक हुआ है. इसके साथ सूर्या,अनारकली,जैसी युवा हथिनी भी इस खास मौके का पूरा आनंद लेते देखे गये. खास बात यह है सालभर पार्क की सुरक्षा में जी तोड़ मेहनत करने वाले हाथियों को जब महोत्सव में लाया जाता है, तो प्रबंधन भी उनकी खुशामदगी में कोई कसर नही छोड़ता. मतलब साफ है कि यह हाथियों के लिए न सिर्फ एक खास पार्टी होती है बल्कि जश्न मनाने का भरपूर अवसर भी कहा जा सकता है.

Elephant Service in Umaria
फल खाते हाथी

MP जंगल के नियमों से रू-ब-रू हो रहा अनारकली हथनी का बेबी एलीफेंट, Video में देखें ट्रेनिंग

बता दें कि हाथी महोत्सव मनाने की सबसे बड़ी वजह साल भर उनसे ली जाने वाली कड़ी मेहनत के बदले में उपहार है. जिससे वो तरोताजा होकर फिर नये सिरे से पहरेदारी को तैयार हो. यह अलग बात है कि गजराजों की खातिरदारी के पीछे पार्क प्रबंधन की अपनी मंशा है, लेकिन गणेशोत्सव के समय गजराजों की असल सेवा की ये बेहतरीन तस्वीरे गणेशोत्सव में चार चांद लगाती है.

Last Updated : Sep 1, 2022, 12:38 PM IST
ETV Bharat Logo

Copyright © 2024 Ushodaya Enterprises Pvt. Ltd., All Rights Reserved.