सीधी। जिले में रविवार को कबाड़ी व्यवसायी की पुलिस अभिरक्षा में हुई मौत का मामला तूल पकड़ने लगा है. बसंल समाज का कहना है कि मृतक की अस्थियां ठंडी नहीं की जाएगी. जब तक आरोपियों पर हत्या का मामला दर्ज कर कार्रवाई नहीं की जाती तब तक मृतक की अस्थियां घर पर रखी रहेगी. साथ ही आज दिल्ली से आए डॉ अंबेडकर संगठन के पदाधिकारियों ने मृतक परिवार को पांच करोड़ रुपए आर्थिक मदद के साथ ही आवास और एक घर के सदस्य को शासकीय नौकरी की मांग की है.
जिले के सिटी कोतवाली क्षेत्र के मडरिया गांव में रविवार को सोनू बसंल कबाड़ का हाथ ठेला लेकर घर-घर कबाड़ खरीद रहा था. उसी दौरान करोंदिया इलाके में विष्णु चौहान के घर पर पेंटिंग का काम चल रहा था, तभी पेंट का एक डिब्बा गायब हो गया और सोनू बंसल को चोर समझते हुए उसकी लात घूसों से पांच छह लोगों ने जमकर पिटाई कर दी. शिकायत पर पुलिस ने सोनू को गिरफ्तार कर लिया और थाने लेकर आ गई. जहां परिजनों के मुताबिक थाना प्रभारी राजेश पांडेय ने सोनू की पिटाई की, इसी दौरान सोनू ने पुलिस अभिरक्षा में ही दम तोड़ दिया. पुलिस बेहोश मानते हुए जिला अस्पताल लेकर आई जहां सोनू मृत घोषित कर दिया.
परिजनों ने करीब 8 घण्टे जिला अस्पताल चौक पर चका जाम कर प्रदर्शन किया. एसपी कलेक्टर ने तत्काल थाना प्रभारी को निलंबित करते हुए चार आरोपियों को गिरफ्तार कर जेल भेज दिया है. अब बसंल समाज के लोग और दिल्ली से आए जय भीम सामाजिक संगठन ने थाना प्रभारी पर हत्या का मुकदमा दर्ज कर सभी आरोपियों को फांसी देने की मांग की है. वहीं थाना प्रभारी राजेश पांडेय आए दिन विवादों में रहते थे. कभी पत्रकारों के साथ बदसलूकी तो कभी कांग्रेस नेताओं के साथ मारपीट की शिकायत मिलती रहती थी.