श्योपुर। राजस्थान के बाद मध्य प्रदेश के कई जिलों में बर्ड फ्लू की दस्तक दे चुका है. श्योपुर में भी लगातार पक्षियों के मरने की खबरें आने लगीं हैं. हालांकि पशु विभाग द्वारा इन मौतों को वर्ल्ड फ्लू से होने की संभावनाओं से साफ इनकार किया जा रहा है. लेकिन एक के बाद एक करके लगातार हो रही पक्षियों की मौतें लोगों के मन में वर्ड फ्लू की आशंका बढ़ा रहीं हैं. पशु विभाग अमला भी अलर्ट पर है और उन्होंने मुर्गियों सहित दूसरे पक्षियों की सैंपलिंग करने का काम भी तेजी से शुरू कर दिया है.
14 पक्षियों की की हुई मौत
श्योपुर जिले में रविवार की शाम चार उल्लू और एक कबूतर सहित पांच पक्षियों की मौत हुई थी. इससे पहले भी 1 उल्लू 4 कौवे, 1 कबूतर सहित 6 पक्षियों की मौत हो चुकी है, मंगलवार को भी सुबह से 3 कबूतर मर हुए पाए गए थे. इस दौरान चार दिनों के भीतर कुल 14 पक्षियों की मौतें संदेहास्पद तरीके से हो चुकी हैं. जिन्हें लेकर पशुओं के चिकित्सक अलर्ट पर हैं.
'बर्ड फ्लू से नहीं हुई पक्षियों की मौत'
वह जहां से भी पक्षियों की मौतों की खबरें मिल रही हैं. वहां टीमें भेजकर उनकी सैंपल करवाए जा रहे हैं. अब तक कुल 26 मुर्गियों की सैंपल भी पशु अस्पताल प्रबंधन द्वारा लिए जा चुके हैं. फिलहाल पशु विभाग के अधिकारी जिले में वर्ल्ड फ्लू की संभावनाओं से इंकार कर रहे हैं. लेकिन एक के बाद एक करके लगातार हो रही पक्षियों की मौतें उनकी परेशानियां भी बढ़ाए हुए है. जिले में हो रही पक्षियों की मौतों के बारे में पशु विभाग नोडल डॉ महेश सिंह का कहना है कि पक्षियों की मौतें दूसरे किसी कारणों की वजह से हो रही है. फिलहाल सैंपलिंग के दौरान इस तरह के कोई सिम्टम्स किसी भी पक्ष में नहीं मिले हैं. लेकिन बर्ड फ्लू ना फैले इसके लिए जिलेभर मैं अलग-अलग स्थानों पर मुर्गा मुर्गियों की सैंपलिंग का काम तेजी के साथ किया जा रहा है.