सागर। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की महत्वाकांक्षी परियोजना स्मार्ट सिटी मिशन में सागर शहर को भी शामिल किया गया है. सागर शहर में जहां सड़कों का नेटवर्क तैयार किया जा रहा है. वहीं खेलकूद, पर्यावरण और संस्कृति से जुड़े कार्य किए जा रहे हैं. स्मार्ट सिटी मिशन के अंतर्गत हेरिटेज रीस्टोरेशन के तहत ऐतिहासिक स्थानों को भी सजाया संवारा जा रहा है. इसी कड़ी में सागर शहर के ऐतिहासिक लाखा बंजारा तालाब के किनारे बनी परकोटा दीवार को नया लुक दिया जा रहा है. करीब ढाई सौ साल से ज्यादा पुरानी दीवार को संजाने और संवारने के साथ ऐतिहासिक वैभव बना रहे,इसका विशेष ध्यान रखा जा रहा है. दीवार की मरम्मत करने के बाद ऑयल पेंटिंग के जरिए उसके हेरिटेज लुक को पुनर्जीवित किया जा रहा है, तो भित्ति चित्र और शानदार लाइटिंग के माध्यम से इसकी खूबसूरती में चार चांद लगाए जाएंगे. (lighting and pictures will enhance wall of parkota)
क्या है परकोटा की दीवार का इतिहासः सागर शहर का ऐतिहासिक किला लाखा बंजारा झील किनारे परकोटा इलाके में स्थित है. कहा जाता है कि इस किले का निर्माण करीब साढ़े तीन सौ साल पहले 1660 में उदल शाह ने कराया था. बाद में 1766 में पेशवा गोविंद पंत खैर ने परकोटा की दीवार का निर्माण कराया था. इस दीवार का निर्माण कराने के पीछे उद्देश्य सागर के किले की सुरक्षा और आने-जाने वाले लोगों पर निगाह रखना था. परकोटा की दीवार की दोनों तरफ सैनिक तैनात रहते थे और वह लगातार आने-जाने वालों पर नजर रखते थे. सागर किला तालाब से घिरा हुआ था और किले जाने का सिर्फ एक ही रास्ता था. परकोटा की दीवार के दोनों तरफ बंदूकधारी सैनिक तैनात होते थे और उन्हें असुरक्षा की स्थिति में दीवार में बने क्षेत्रों से गोली चलाने की अनुमति थी. (what is the history of the wall of the parkota)
हेरिटेज रीस्टोरेशन के जरिए संवारी जाएगी परकोटा की दीवारः ढाई सौ साल से ज्यादा पुरानी परकोटा दीवार की ऐतिहासिकता को बनाए रखने के साथ इसके हेरिटेज लुक को सजाने संवारने की जिम्मेदारी सागर स्मार्ट सिटी लिमिटेड द्वारा ली गई है. स्मार्ट सिटी मिशन के अंतर्गत Heritage Restoration के तहत ये काम किया जा रहा है. करीब 51 लाख की लागत से historic wall को नया लुक दिया जा रहा है. इस प्रोजेक्ट के तहत दीवार की ऑयल पेंटिंग के बाद स्ट्रीट पोल लगाएं जाएंगे और लाइटिंग की जाएगी. दीवार के दोनों तरफ भित्ति चित्र लगाए जाएंगे. फिलहाल इस दीवार में ऑयल पेंटिंग का कार्य पूरा हो चुका है और लाइटिंग का कार्य चल रहा है. रात के समय जब परकोटा की दीवार की लाइटिंग की जाती है. तो ढाई सौ साल पुरानी दीवार खूबसूरती में चार चांद लग जाते हैं. (51 lakh spent on 250 years old heritage)