सागर। मध्य प्रदेश और उत्तर प्रदेश के बुंदेलखंड में सिंचाई और पेयजल की समस्या से निजात दिलाने के लिए 17 साल पहले केन बेतवा लिंक परियोजना का प्रस्ताव सामने आया था. इस बीच केंद्र और दोनों राज्यों में कई सरकारें बदली, लेकिन ये योजना मूर्त रूप नहीं ले पाई. अब जब केंद्र, मध्य प्रदेश और उत्तर प्रदेश में भी भाजपा की सरकार है, तो एक बार फिर केन बेतवा लिंक परियोजना शुरू होने की उम्मीद जगी है, लेकिन दोनों राज्यों में पानी के बंटवारे को लेकर सहमति नहीं बन पा रही है.
जनवरी माह में केंद्रीय जल संसाधन मंत्रालय ने दोनों राज्यों के बीच सहमति बनाने का प्रयास किया था. हालांकि बीजेपी प्रदेश अध्यक्ष और खजुराहो सांसद वीडी शर्मा का दावा है कि तमाम विवाद सुलझा लिए गए हैं. जल्दी ही इस योजना का शिलान्यास होगा.
2004 में केन बेतवा लिंक की योजना को लेकर आया प्रस्ताव
केंद्र में जब एनडीए की अटल बिहारी वाजपेयी सरकार थी. उत्तर प्रदेश में समाजवादी पार्टी की सरकार थी और मुलायम सिंह यादव मुख्यमंत्री थे. वहीं मध्य प्रदेश में जब भाजपा की सरकार थी और बाबूलाल गौर मुख्यमंत्री थे. दोनों राज्यों में तब इस योजना को लेकर केंद्र सरकार की मध्यस्थता से सहमति बनी थी.
केन बेतवा परियोजना से दूर होगा बुंदेलखंड का जल संकट- वीडी शर्मा
सांसद का दावा- सुलझ गया है पानी का विवाद
भाजपा के प्रदेशाध्यक्ष और खजुराहो सांसद वीडी शर्मा का दावा है कि मैं बुंदेलखंड के सभी नागरिकों को बधाई देना चाहता हूं कि केन बेतवा लिंक परियोजना जो इतने सालों से लंबित थी. प्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह और उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ को हृदय से धन्यवाद देता हूं. खजुराहो सांसद होने के नाते मैंने इसे लोकसभा में उठाया था. इस पर प्राइवेट बिल भी लाया गया था. अब केन बेतवा लिंक की सारी बाधाएं दूर हो गई हैं और सहमति बन गई है. जब प्रधानमंत्री समय दे देंगे, तो जल्द ही इसका शिलान्यास होगा. बुंदेलखंड के एक-एक गांव में सिंचाई से जमीन सिंचित होगी. पानी के विवाद के सवाल पर उन्होंने कहा कि पानी का विवाद निपटा लिया गया है.
कांग्रेस का आरोप- गुमराह कर रही है भाजपा
मध्य प्रदेश कांग्रेस के कार्यकारी अध्यक्ष सुरेंद्र चौधरी का कहना है कि भाजपा झूठ बोलने में माहिर है. उत्तर प्रदेश और मध्य प्रदेश के बुंदेलखंड में केन बेतवा लिंक के नाम पर राजनीति करती आई है. सच्चाई ये है कि आज दिनांक तक कि यह योजना स्वीकृत नहीं हुई है. दोनों राज्यों के बीच में पानी को लेकर विवाद है. मध्य प्रदेश के हिस्से का पानी कम किया जा रहा है और उत्तर प्रदेश को ज्यादा पानी दिया जा रहा है. इस तरह के विवाद की स्थिति में आज भी एमओयू पर हस्ताक्षर नहीं हुए हैं. वीडी शर्मा का बयान पूरी तरह गलत है और गलत बयानी कर आम जनता को गुमराह कर रहे हैं. उत्तर प्रदेश के विधानसभा चुनाव को देखते हुए बुंदेलखंड की जनता को गुमराह कर झूठ बोल रहे हैं.