रीवा। होनहार छात्र कृष्ण कुमार ने गुरुवार को मीडिया के माध्यम से पुकार लगाते हुए सीएम शिवराज द्वारा किए गए वादों को याद दिलाकर उसे पूरा करने की बात कही थी. इसके बाद मऊगंज कलेक्टर ने कृष्ण कुमार की मदद करने का आश्वासन दिया. कलेक्टर शुक्रवार को कृष्ण कुमार से मिलने उसके घर पहुंचे. कलेक्टर अजय श्रीवास्तव ने कृष्ण कुमार का हाल जाना. इसके बाद उसके बुलंद हौसलों की तारीफ की. कलेक्टर ने उसे मऊगंज कलेक्ट्रेट कार्यलय में नौकरी देने का वादा किया है. इसके साथ ही ऑनलाइन UPSC की तैयारी कराकर कृष्ण कुमार को कलेक्टर बनाने की बात कही.
कलेक्टर ने दिया पूरी मदद का भरोसा : कलेक्टर ने कृष्ण कुमार को पढ़ाई के लिए एक मोबाइल फोन और अगले ही दिन UPSC की किताबें देने का आश्वासन दिया. इसके साथ ही कृष्ण कुमार के घर में खराब पड़े बोरिंग मशीन में भी मोटर डलवाकर उसे सुधारने के लिए कलेक्टर ने अधिकारियो को निर्देश दिए. बता दें कि मऊगंज शहर से करीब 6 किलोमीटर की दूरी पर स्थित हरजई मुड़हान कस्बे में रहने वाले कृष्ण कुमार के दोनों हाथ जन्म से ही नही हैं. कृष्ण कुमार केवट की उम्र बढ़ती गई लेकिन दोनों हाथ न होने के बावजूद उसका हौसला कम नहीं हुआ.
हाथ नहीं तो पैरों से किया कमाल : पिता की गरीबी भी कृष्ण कुमार के आड़े नहीं आई. उसने अपने पैरों को ही हाथ बनाया और एक नई इबारत लिख दी. उसने वह कर दिखाया जो हाथ वाले भी न कर पाएं. कृष्ण कुमार ने अपने भाई बहनों के बीच रहकर न केवल चलना और पढ़ना सीखा बल्कि अपने पैरों से परीक्षा देकर हर कक्षा में पास होते गए. वर्ष 2020 में 12वीं की परीक्षा उत्तीर्ण की. कृष्ण कुमार की इस उपलब्धि से मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान भी बेहद प्रसन्न हैं. लैपटॉप वितरण कार्यक्रम में सीएम ने वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए कृष्ण कुमार को प्रदेश का बेटा कहा था. इतना ही नहीं सीएम शिवराज ने कृष्ण कुमार की पूरी पढ़ाई और इलाज कराकर कृत्रिम हाथ लगाने का भी आश्वासन दिया.