राजगढ़। जिले के बोड़ा थाना क्षेत्र स्थित कुंवर टोकरी में 16 मई की दरमियानी रात हुए अंधे कत्ल का पुलिस ने खुलासा किया है. जिसमें मृतक जयराम बाल्मीकि का पुत्र ही अपने पिता का हत्यारा निकला. बता दें कि 17 मई को मृतक के पुत्र ने बोड़ा थाना पहुंचकर अज्ञात युवकों के द्वारा मारपीट कर पिता को घायल होने की शिकायत दर्ज कराई थी. जिसके बाद पुलिस ने अज्ञात आरोपियों के खिलाफ मामला दर्ज कर जांच शुरू की थी.
दरअसल, नरसिंहगढ़ के बोडा थाना क्षेत्र के ग्राम कुंवर टोकरी में 17 मई को बादल बाल्मीकि ने थाने में आकर सूचना दर्ज कराई थी कि 16 मई की दरमियानी रात उसके पिता को किसी अज्ञात व्यक्ति ने मारकर घायल कर दिया है. जिसके बाद उन्हें इलाज के लिए अस्पताल ले जाया गया था. जहां से उन्हें इलाज के लिए भोपाल रेफर कर दिया गया है. विवेचना के दौरान जयराम बाल्मीकि की पत्नी से हमीदिया अस्पताल में पूछताछ की गई और उनके कथनों के आधार पर मामले में धारा 307 का इजाफा किया गया. हालांकि हमीदिया अस्पताल भोपाल में इलाज के दौरान जयराम बाल्मीकि की मृत्यु हो गई. जिसके बाद हमीदिया चौकी थाना कोहेफिजा से जीरो मर्ग डायरी प्राप्त होने पर थाना बोड़ा पर 22 मई को मामले का जांच करते हुए अपराध में 302 धारा का इजाफा किया गया.
घटना की गंभीरता को देखते हुए राजगढ़ पुलिस अधीक्षक प्रदीप शर्मा द्वारा एक दल का गठन किया गया. थाना प्रभारी बोडा राजपाल राठौर ने थाने के दल के साथ जांच शुरू की और मृतक द्वारा पिछले दिनों जिन -जिन लोगों से बातचीत की गई थी उन सभी से पूछताछ कर कथनों और साइबर सेल से प्राप्त डाटा का विश्लेषण किया गया. पूछताछ के दौरान बोड़ा पुलिस दल को जानकारी हाथ लगी जिसमें मृतक जयराम वाल्मीकि की घटना दिनांक को उसके नाबालिग बेटे के साथ लड़ाई झगडे की बात सामने आई. जांच के दौरान पाए गए तथ्यों से परिवार पर ही पुलिस का संदेह बना हुआ था. लेकिन अपनी कुशल कार्यशैली के लिए जाने जाने वाले गंभीर प्रवृत्ति के थाना प्रभारी बोडा ने अपने दल के साथ इस हत्या का खुलासा कर दिया.