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54 बाघों की दहाड़ से गूंज रहा पन्ना टाइगर रिजर्व, साल 2008 में बाघ विहीन हुआ था घोषित - mp news

टाइगर रिजर्व में बाघ पुनर्स्थापना कार्यक्रम में बेजोड़ मेहनत की गई, जिसका परिणाम है कि लगातार पन्ना टाईगर रिजर्व में टाइगरों की संख्या में इजाफा हो रहा है.

54 बाघों की दहाड़ से गूंज रहा पन्ना टाइगर रिसर्व
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Published : Oct 21, 2019, 5:37 PM IST

Updated : Oct 21, 2019, 6:00 PM IST

पन्ना। साल 2008 में पन्ना रिजर्व में बाघ विहीन होने के बाद बाघों की वृद्धि के लिए चलाई गई बाघ पुनर्स्थापना योजना अपना रंग दिखाने लगी है. यहां लगातार बाघों की संख्या वृद्धि हो रही है. जानकारों के अनुसार इस समय पन्ना टाइगर रिजर्व के इतिहास में बाघों की सर्वाधिक संख्या है.

54 बाघों की दहाड़ से गूंज रहा पन्ना टाइगर रिसर्व

टाइगर रिजर्व में बाघों का पूरी तरह से सफाया हो जाने के बावजूद भी यहां के बाघों की नस्ल खत्म नहीं हुई. वर्ष 2008 में बाघों का सफाया हो जाने की घोषणा के बाद टाइगर रिजर्व में वर्ष 2009 में बाघ पुनर्स्थापना योजना शुरू की गई. योजना के तहत कान्हा और बांधवगढ़ राष्ट्रीय उद्यान से चार बाघिन तथा पेंच टाइगर रिजर्व से एक बाघ पन्ना लाया गया. 2 वर्ष की ही अल्प अवधि में ही यहां तीनों बाघिनों का सफल प्रजनन हुआ, जिसके बाद निरंतर पन्ना टाइगर रिजर्व में इनकी संख्या बढ़ती ही जा रही है.

वर्तमान में फील्ड डायरेक्टर केएस भदौरिया के अनुसार पन्ना टाइगर रिजर्व में 54 बाघ दहाड़ रहे हैं, जिसमें 37 वयस्क बाघ है. जानकार बताते हैं कि यह संख्या पन्ना टाइगर रिजर्व के इतिहास में बाघों की सर्वाधिक संख्या है.

पन्ना। साल 2008 में पन्ना रिजर्व में बाघ विहीन होने के बाद बाघों की वृद्धि के लिए चलाई गई बाघ पुनर्स्थापना योजना अपना रंग दिखाने लगी है. यहां लगातार बाघों की संख्या वृद्धि हो रही है. जानकारों के अनुसार इस समय पन्ना टाइगर रिजर्व के इतिहास में बाघों की सर्वाधिक संख्या है.

54 बाघों की दहाड़ से गूंज रहा पन्ना टाइगर रिसर्व

टाइगर रिजर्व में बाघों का पूरी तरह से सफाया हो जाने के बावजूद भी यहां के बाघों की नस्ल खत्म नहीं हुई. वर्ष 2008 में बाघों का सफाया हो जाने की घोषणा के बाद टाइगर रिजर्व में वर्ष 2009 में बाघ पुनर्स्थापना योजना शुरू की गई. योजना के तहत कान्हा और बांधवगढ़ राष्ट्रीय उद्यान से चार बाघिन तथा पेंच टाइगर रिजर्व से एक बाघ पन्ना लाया गया. 2 वर्ष की ही अल्प अवधि में ही यहां तीनों बाघिनों का सफल प्रजनन हुआ, जिसके बाद निरंतर पन्ना टाइगर रिजर्व में इनकी संख्या बढ़ती ही जा रही है.

वर्तमान में फील्ड डायरेक्टर केएस भदौरिया के अनुसार पन्ना टाइगर रिजर्व में 54 बाघ दहाड़ रहे हैं, जिसमें 37 वयस्क बाघ है. जानकार बताते हैं कि यह संख्या पन्ना टाइगर रिजर्व के इतिहास में बाघों की सर्वाधिक संख्या है.

Intro:पन्ना।
एंकर :- वर्ष 2008 में बाघ विहीन होने पर पन्ना टाइगर रिजर्व जिस तरह से सुर्खियों में आया था अब वह बाघों की तेजी से वंश वृद्धि को लेकर चर्चा में हैं सबसे ज्यादा खुशी की बात यह है कि टाइगर रिजर्व में बाघों का पूरी तरह से सफाया हो जाने के बावजूद भी यहां के बाघों की नस्ल खत्म नहीं हुई वर्ष 2008 में बाघों का सफाया हो जाने की घोषणा के बाद टाइगर रिजर्व में वर्ष 2009 में बाघ पुनर्स्थापना योजना शुरू की गई योजना के तहत कान्हा और बांधवगढ़ राष्ट्रीय उद्यान से चार बाघिन तथा पेंच टाइगर रिजर्व से एक बाघ पन्ना लाया गया 2 वर्ष की ही अल्प अवधि में ही यहां तीनों बाघिनों का सफल प्रजनन हुआ जिसके बाद निरंतर पन्ना टाइगर रिजर्व में टाईगर ओं की संख्या बढ़ती ही जा रही है।Body:वर्तमान में फील्ड डायरेक्टर के.एस. भदौरिया के अनुसार पन्ना टाइगर रिजर्व में 54 भाग दहाड़ रहे हैं जिसमें 37 वयस्क बाघ बाघिन सहित बाघो की कुल संख्या 54 हो गई है। जानकार बताते हैं कि यह संख्या पन्ना टाइगर रिजर्व के इतिहास में बाघों की सर्वाधिक संख्या है।Conclusion:टाइगर रिजर्व में तत्कालीन फील्ड डायरेक्टर आर श्रीनिवास मूर्ति के द्वारा बाघ पुनर्स्थापना कार्यक्रम में बेजोड़ मेहनत की गई जिसका परिणाम है कि लगातार पन्ना टाइगर रिजर्व में टाइगरो की संख्या में इजाफा हो रहा है इस कार्यक्रम पर रिसर्च करने के लिए भी भारत सहित विदेशों से भी विशेषज्ञा आ चुके हैं।
बाइट :- 1 के.एस. भदौरिया (फील्ड डायरेक्टर पन्ना टाइगर रिसर्व)
Last Updated : Oct 21, 2019, 6:00 PM IST
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