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कोरोना वायरस के फैलते कहर को देखते हुए नीमच में किया जाएगा होली यज्ञ - holi yug

नीमच के रामनगर में कोरोना वायरस के कहर को देखते हुए आज होलिका दहन के अवसर पर होली यज्ञ किया जाएगा. होली यज्ञ के लिए 10 किलो का कपूर और हवन सामग्री का उपयोग किया जाएगा.

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नीमच में किया जाएगा होली यज्ञ
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Published : Mar 9, 2020, 8:46 PM IST

Updated : Mar 9, 2020, 9:35 PM IST

नीमच। देश में कोरोना वायरस को लेकर डर है, इसके बचाव और लोगों को जागरूक करने के लिए सरकार से लेकर स्वास्थ्य विभाग तक लगा हुआ है. नीमच जिले के मनासा के रामनगर वासियों द्वारा हर साल अनूठी होली का दहन किया जाता है. इस साल वायरस के दुष्प्रभाव को रोकने के लिए राम नगरवासी होली यज्ञ कर वातावरण को शुद्ध करेंगे.

नीमच में किया जाएगा होली यज्ञ

होली यज्ञ में 10 किलों का कपूर और हवन सामग्री का उपयोग किया जाएगा. जो वातावरण में फैल रहे कीटाणुओं को नष्ट करेगा. पर्यावरण संतुलन को बनाए रखने के लिए लकड़ी का नाम मात्र का उपयोग किया जाएगा. रामनगर की होली हर साल एक नया संदेश देती है. रामनगर में करीब 28 सालों से होलिका दहन किया जा रहा है. साल 2018 में गाजर घास की होलिका बनाई गई थी, जिसमें अश्लील साहित्य, तंबाकू-गुटखा और प्लास्टिक की होलिका दहन कर समाज को जागरूक करने का संदेश दिया था.

इस बार कोरोना वायरस से लोगों का भय दूर करने के लिए होली में 10 किलो की हवन सामग्री का उपयोग किया जाएगा. इस अनोखी होली बनाने में 3 दिन का समय लगता है. इस कार्य को करने के लिए सुरेश प्रजापति उनके साथी से आर्थिक मदद लेकर करते हैं. सुरेश प्रजापति और उनके साथियों द्वारा अनूठी होलिका दहन करने के पीछे का मकसद समाज में फैली कुरीतियों को नष्ट करना और पर्यावरण को संरक्षित करने का संदेश देना है.

नीमच। देश में कोरोना वायरस को लेकर डर है, इसके बचाव और लोगों को जागरूक करने के लिए सरकार से लेकर स्वास्थ्य विभाग तक लगा हुआ है. नीमच जिले के मनासा के रामनगर वासियों द्वारा हर साल अनूठी होली का दहन किया जाता है. इस साल वायरस के दुष्प्रभाव को रोकने के लिए राम नगरवासी होली यज्ञ कर वातावरण को शुद्ध करेंगे.

नीमच में किया जाएगा होली यज्ञ

होली यज्ञ में 10 किलों का कपूर और हवन सामग्री का उपयोग किया जाएगा. जो वातावरण में फैल रहे कीटाणुओं को नष्ट करेगा. पर्यावरण संतुलन को बनाए रखने के लिए लकड़ी का नाम मात्र का उपयोग किया जाएगा. रामनगर की होली हर साल एक नया संदेश देती है. रामनगर में करीब 28 सालों से होलिका दहन किया जा रहा है. साल 2018 में गाजर घास की होलिका बनाई गई थी, जिसमें अश्लील साहित्य, तंबाकू-गुटखा और प्लास्टिक की होलिका दहन कर समाज को जागरूक करने का संदेश दिया था.

इस बार कोरोना वायरस से लोगों का भय दूर करने के लिए होली में 10 किलो की हवन सामग्री का उपयोग किया जाएगा. इस अनोखी होली बनाने में 3 दिन का समय लगता है. इस कार्य को करने के लिए सुरेश प्रजापति उनके साथी से आर्थिक मदद लेकर करते हैं. सुरेश प्रजापति और उनके साथियों द्वारा अनूठी होलिका दहन करने के पीछे का मकसद समाज में फैली कुरीतियों को नष्ट करना और पर्यावरण को संरक्षित करने का संदेश देना है.

Last Updated : Mar 9, 2020, 9:35 PM IST
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