नीमच। रामपुरा में बाढ़ की विनाश लीला झेल रहे पीड़ितों से मुख्यमंत्री कमलनाथ ने मुलाकात की. बाढ़ में करीब 200 करोड़ से ज्यादा की सड़कें, 1100 करोड़ की फसलें और मकान पानी-पानी हो चुके हैं. साथ ही अन्य क्षेत्रों में भी 400 करोड़ के नुकसान का आंकलन किया गया है. बावजूद इसके बाढ़ पीड़ितों को अभी तक मुआवजा नहीं मिल सका है.
मुख्यमंत्री ने कहा कि पूरी सरकार बाढ़ पीड़ितों के साथ है. फसल चौपट होने के बाद किसानों ने मुख्यमंत्री से जल्द मुआवजा दिलाने की मांग की है, लेकिन अभी तक मुआवजे की राशि किसानों को नहीं मिल पाई है.
ऐसा है मामला
मनासा तहसील के गांधी सागर डूब क्षेत्र में कर्मचारी के नहीं पहुंचने पर गुस्साए ग्रामीणों ने कार्यालय पहुंचकर मुआवजे के बारे में अवगत कराया था. जिसके बाद मुख्यमंत्री ने आश्वासन दिया था कि उनके खाते में एक लाख रुपये जमा करने के लिए बोला गया था, जबकि क्षतिग्रस्त मकान वालों को मात्र 7 से 12 हजार रुपये की राशि दी गई है. 6 महीने तक हर एक परिवार को 50 किलो अनाज देने की घोषणा की गई थी, लेकिन सिर्फ एक ही बार अनाज दिया गया.