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RTI के तहत सूचना नहीं देने पर पूर्व उपायुक्त पर लगा 25000 का जुर्माना

सूचना अधिकार के तहत समय पर जानकारी मुहैया न कराना नगर निगम के पूर्व उपायुक्त और लोक सूचना अधिकारी अनिल सिंह चौहान को महंगा पड़ गया. राज्य सूचना आयोग ने उनके ऊपर कार्रवाई करते हुए जुर्माना लगाया है.

Municipality Morena
नगर पालिका मुरैना
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Published : Dec 27, 2020, 2:11 PM IST

मुरैना। नगर निगम के पूर्व उपायुक्त और लोक सूचना अधिकारी अनिल सिंह चौहान पर राज्य सूचना आयोग ने 25 हजार रुपए का जुर्माना लगाया है. ये जुर्माना सूचना के अधिकार के तहत समय पर जानकारी मुहैया न करने पर लगाया गया है. अनिल सिंह चौहान वर्तमान में ग्वालियर नगर निगम में पदस्थ हैं.

क्या था पूरा मामला ?

मुरैना के आरटीआई कार्यकर्ता राजेश शर्मा ने नगर निगम से 13 दिसंबर 2019 को सूचना के अधिकार अधिनियम के तहत आवेदन देकर हाउसिंग बोर्ड की कॉलोनी को नगर निगम के हैंडओवर करने के दस्तावेजों की जानकारी मांगी थी, लेकिन नगर निगम ने ये जानकारी नहीं दी. RTI कार्यकर्ता ने इसकी शिकायत नगर निगम कमिश्नर अमरसत्य गुप्ता से की. तब नगर निगम कमिश्नर ने 24 जनवरी 2020 को निर्देश दिए कि मांगी गई जानकारी 10 फरवरी 2020 तक उपलब्ध कराई जाए. इसके बाद भी उपायुक्त अनिल सिंह ने RTI कार्यकर्ता राजेश शर्मा को जानकारी नहीं दी.

जानकारी लेने में लग गए 240 दिन

आवेदक राजेश शर्मा ने इसकी शिकायत राज्य सूचना आयोग से की. इसके बाद नगर निगम ने राजेश शर्मा को 30 दिन में मिलने वाली जानकारी 240 दिन बाद मुहैया कराई गई. इस मामले में राज्य सूचना आयुक्त डीपी अहिरवार ने कार्रवाई करते हुए मुरैना नगर निगम के पूर्व उपायुक्त अनिल सिंह चौहान पर 25 हजार रुपए का जुर्माना लगाया हैं

जुर्माना राशि भरने की 15 दिन की मिली मोहलत

अनिल सिंह वर्तमान में ग्वालियर नगर निगम में पदस्थ है. इस कारण राज्य सूचना आयोग ने ग्वालियर नगर निगम कमिश्नर को आदेश किया है. कि अनिल सिंह चौहान से 15 दिन में 25 हजार रुपए की वसूली कर सरकारी खाते या फिर राज्य निर्वाचन आयोग कार्यालय में जमा कराई जाए.

मुरैना। नगर निगम के पूर्व उपायुक्त और लोक सूचना अधिकारी अनिल सिंह चौहान पर राज्य सूचना आयोग ने 25 हजार रुपए का जुर्माना लगाया है. ये जुर्माना सूचना के अधिकार के तहत समय पर जानकारी मुहैया न करने पर लगाया गया है. अनिल सिंह चौहान वर्तमान में ग्वालियर नगर निगम में पदस्थ हैं.

क्या था पूरा मामला ?

मुरैना के आरटीआई कार्यकर्ता राजेश शर्मा ने नगर निगम से 13 दिसंबर 2019 को सूचना के अधिकार अधिनियम के तहत आवेदन देकर हाउसिंग बोर्ड की कॉलोनी को नगर निगम के हैंडओवर करने के दस्तावेजों की जानकारी मांगी थी, लेकिन नगर निगम ने ये जानकारी नहीं दी. RTI कार्यकर्ता ने इसकी शिकायत नगर निगम कमिश्नर अमरसत्य गुप्ता से की. तब नगर निगम कमिश्नर ने 24 जनवरी 2020 को निर्देश दिए कि मांगी गई जानकारी 10 फरवरी 2020 तक उपलब्ध कराई जाए. इसके बाद भी उपायुक्त अनिल सिंह ने RTI कार्यकर्ता राजेश शर्मा को जानकारी नहीं दी.

जानकारी लेने में लग गए 240 दिन

आवेदक राजेश शर्मा ने इसकी शिकायत राज्य सूचना आयोग से की. इसके बाद नगर निगम ने राजेश शर्मा को 30 दिन में मिलने वाली जानकारी 240 दिन बाद मुहैया कराई गई. इस मामले में राज्य सूचना आयुक्त डीपी अहिरवार ने कार्रवाई करते हुए मुरैना नगर निगम के पूर्व उपायुक्त अनिल सिंह चौहान पर 25 हजार रुपए का जुर्माना लगाया हैं

जुर्माना राशि भरने की 15 दिन की मिली मोहलत

अनिल सिंह वर्तमान में ग्वालियर नगर निगम में पदस्थ है. इस कारण राज्य सूचना आयोग ने ग्वालियर नगर निगम कमिश्नर को आदेश किया है. कि अनिल सिंह चौहान से 15 दिन में 25 हजार रुपए की वसूली कर सरकारी खाते या फिर राज्य निर्वाचन आयोग कार्यालय में जमा कराई जाए.

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