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मां से मिलने 7 वर्षीय भांजे के साथ बहन के घर से भागा नाबालिग, ट्रेन में पुलिस को मिले मासूम

खसखस वाडी में महाराष्ट्र के पचोर का एक बच्चा अपने जीजा के यहां रहकर पढ़ाई कर रहा था. लेकिन एक दिन अपनी मां से मिलने के लिए वह बिना बताये अपने 7 साल के भांजे के साथ घर से फरार हो गया. जिसे पुलिस ने तलाश कर परिजनों को सौंप दिया है

थाना प्रभारी ललित सिंह डांगुर
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Published : Jun 28, 2019, 9:45 PM IST

खरगोन। खसखस वाडी में महाराष्ट्र के पचोर का एक बच्चा अपने जीजा के यहां रहकर पढ़ाई कर रहा था. लेकिन एक दिन अपनी मां से मिलने के लिए वह बिना बताये अपने 7 साल के भांजे के साथ घर से फरार हो गया, जबकि दोनों के घर पहुंचने से पहले उसके किसी दोस्त ने दोनों के अपहरण की अफवाह उड़ा दी. जिसके बाद से ही परिजन परेशान हो गये और पुलिस को इत्तला कर दी.


खरगोन के खसखस वाडी एरिया में रहने वाले मुफ्ती इरफान के यहां उनका नाबालिग साला अरफान जोकि महाराष्ट्र के पचोर का रहने वाला है. यहीं रहकर पढ़ाई कर रहा था. उसे अपनी मां की इस कदर याद सताई कि वह मिलने के लिए अपने 7 साल के भांजे को लेकर मां से मिलने के लिए रवाना हो गया.

थाना प्रभारी ललित सिंह डांगुर


थाना प्रभारी ललित सिंह डांगुर ने बताया कि जब देर रात तक बच्चे घर नहीं पहुंचे तो परिजनों ने पुलिस को सूचना दी. पुलिस ने मामले की गंभीरता से लेते हुए तत्काल फोटो वायरल किया, जिसके बाद खंडवा के बस कंडक्टर ने बताया कि खरगोन से खंडवा के लिए ये बच्चे बस में आए थे और रेलवे स्टेशन तरफ गए हैं, जिसके बाद जीआरपी, पुलिस और बुरहानपुर पुलिस की मदद से बच्चों को बुरहानपुर में ट्रेन से उतरवाकर खरगोन लाए और उनके परिजनों को सौंप दिया.

खरगोन। खसखस वाडी में महाराष्ट्र के पचोर का एक बच्चा अपने जीजा के यहां रहकर पढ़ाई कर रहा था. लेकिन एक दिन अपनी मां से मिलने के लिए वह बिना बताये अपने 7 साल के भांजे के साथ घर से फरार हो गया, जबकि दोनों के घर पहुंचने से पहले उसके किसी दोस्त ने दोनों के अपहरण की अफवाह उड़ा दी. जिसके बाद से ही परिजन परेशान हो गये और पुलिस को इत्तला कर दी.


खरगोन के खसखस वाडी एरिया में रहने वाले मुफ्ती इरफान के यहां उनका नाबालिग साला अरफान जोकि महाराष्ट्र के पचोर का रहने वाला है. यहीं रहकर पढ़ाई कर रहा था. उसे अपनी मां की इस कदर याद सताई कि वह मिलने के लिए अपने 7 साल के भांजे को लेकर मां से मिलने के लिए रवाना हो गया.

थाना प्रभारी ललित सिंह डांगुर


थाना प्रभारी ललित सिंह डांगुर ने बताया कि जब देर रात तक बच्चे घर नहीं पहुंचे तो परिजनों ने पुलिस को सूचना दी. पुलिस ने मामले की गंभीरता से लेते हुए तत्काल फोटो वायरल किया, जिसके बाद खंडवा के बस कंडक्टर ने बताया कि खरगोन से खंडवा के लिए ये बच्चे बस में आए थे और रेलवे स्टेशन तरफ गए हैं, जिसके बाद जीआरपी, पुलिस और बुरहानपुर पुलिस की मदद से बच्चों को बुरहानपुर में ट्रेन से उतरवाकर खरगोन लाए और उनके परिजनों को सौंप दिया.

Intro:मां बाप बच्चों की पढ़ाई को लेकर चिंतित रहते हैं और अपने बच्चों को अपने कलेजे से दूर कर देते हैं वही अबोधबालक मां बाप के लिए तड़पते हैं ऐसा ही एक मामला खरगोन जिले में देखने में आया जहां महाराष्ट्र के पचोर से एक बच्चा अपने जीजा के यहां पर रहकर पढ़ाई कर रहा था उसे मां की इतनी तड़प लगी कि अपने नाबालिग भांजे को साथ लेकर घर से बिना बताए पचोर के लिए रवाना हो गया जब देर शाम तक दोनों घर नहीं लौटे तो खोजबीन कर अंत में पुलिस में शिकायत की पुलिस ने मामले को गंभीरता से लेते हुए जीआरपीएफ और बुरहानपुर पुलिस की मदद से बच्चों को परिजनों को सौंपा।


Body:खरगोन शहर के खसखस वाडी एरिया में रहने वाले मुफ्ती इरफान के यहां घर पर उनका नाबालिक साला अरफान जो की महाराष्ट्र के महाराष्ट्र के पचोर का रहने वाला है और खरगोन में अपने जीजा के यहां रह कर अध्ययनरत है उसे मां से मिलने की इतनी तड़प लगी कि अपने 7 वर्ष के भांजे को लेकर मां से मिलने के लिए रवाना हो गया वहीं उसके एक साथी को उसने किडनैप की कहानी रचवाकर परिजनों को परेशानी में डाल दिया। थाना प्रभारी ललित सिंह डांगुर ने बताया कि जब देर रात तक बच्चे घर नहीं पहुंचे तो परिजनों ने खोजबीन कर नहीं मिलने पर पुलिस को सूचना दी। पुलिस ने मामले की गंभीरता से लेते हुए। तत्काल फोटो वायरल की जिससे खंडवा से बस कंडक्टर ने बताया कि खरगोन से खंडवा के लिए यह बस में आए थे और रेलवे स्टेशन तरफ गए हैं हमने जीआरपी पुलिस और बुरहानपुर पुलिस की मदद से बच्चों को बुरहानपुर में उतरवाकर खरगोन लाए और उनके परिजनों को सौंप दिया।


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