खंडवा। वृक्षों के प्रति जुड़ाव की भावना और जागरुकता लाने के लिए पर्यावरण संरक्षण एवं पौधरोपण कार्यक्रम का आयोजन खंडवा जिले में आयोजित किया गया है. इस अभियान के तहत मिनावा माल गांव में शासकीय प्राथमिक शाला के शिक्षकों ने सराहनीय पहल की, जिसके अंतर्गत शिक्षक जगदीश गौर ने खुद की जेब से दो हजार रुपए खर्च कर विद्यार्थियों और पालकों को एक-एक पौधे घर-घर जाकर वितरित किए.
कार्यक्रम की रूपरेखा तय करने के लिए एक सप्ताह पहले से शिक्षक हेमराज पवार और शिक्षक जगदीश गौर द्वारा विद्यार्थियों और पालकों से बातचीत की गई. पौधे लगाने के लिए उचित जगह, खेत, खलियान की खाली जगह को चुनकर पालकों और विद्यार्थियों से पौधे लगाने के लिए गढ्ढे करवाए गए. उनमें काली मिट्टी डलवाई गई और उन खाली गड्ढों में पौधरोपण का कार्य किया गया. इस दौरान कुल 100 पौधों का रोपण किया गया.
सभी पालकों और विद्यार्थियों को कोरोना से बचाव के उपाय और सावधानियों के बारे में संकल्प दिलाया गया. ग्रामीणों ने भी इस अभियान में बढ़-चढ़कर हिस्सा लिया और अपने-अपने घरों में खाली जगहों पर पौधे लगाने की बात कही.
यह पूरा अभियान पाठ्यक्रम से संबंधित राजस्थान के खेजड़ी गांव में अमृता देवी की कहानी से जोड़ा गया, जिसमें पेड़ों की रक्षा करने के लिए 350 से अधिक लोगों ने अपना बलिदान दिया था. इस कहानी में संदेश दिया गया था कि, 'पेड़ नहीं तो हम नहीं, पेड़ों से ही हम हैं. पेड़ों के बगैर हम जीवित नहीं रह सकते हैं.'