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Shardiya Navratri 2023: जबलपुर में गरबा पंडाल में ना जाएं दूसरे धर्म के लोग, विश्व हिंदू परिषद की अजीबो-गरीब चेतावनी

15 अक्टूबर से शारदीय नवरात्रि प्रारंभ हो रही है. नवरात्रि में होने वाले गरबा महोत्सव की तैयारियां भी शुरु हो चुकी है. वहीं जबलपुर में विश्व हिंदू परिषद ने अजीब मांग करते हुए कहा कि गरबा में जाने वाले लोगों की बायोमेट्रिक पहचान कराई जाएगी.

Shardiya Navratri 2023
शारदीय नवरात्रि
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By ETV Bharat Madhya Pradesh Team

Published : Oct 10, 2023, 4:00 PM IST

विश्व हिंदू परिषद की अजीबो गरीब चेतावनी

जबलपुर। विश्व हिंदू परिषद के जबलपुर संगठन ने एक अजीबोगरीब मांग जबलपुर जिला प्रशासन और पुलिस प्रशासन से की है. इन लोगों का कहना है कि इस बार गरबा पंडाल में केवल वही लोग प्रवेश कर पाएंगे. जिन लोगों की बायोमेट्रिक पहचान बायोमेट्रिक मशीन से स्पष्ट हो जाएगी. विश्व हिंदू परिषद यह प्रावधान गरबा पंडाल में दूसरे धर्म के युवकों को आने से रोकने के लिए करवाना चाहता है. विश्व हिंदू परिषद में चेतावनी जारी की है कि यदि गरबा पंडालू में दूसरे धर्म के लोग मिले तो उन्हें गंगाजल पिला कर उनका धर्म परिवर्तन किया जाएगा और फिर गरबा करवाया जाएगा.

जबलपुर में नवरात्रि के कार्यक्रम शुरू होने वाले हैं. नवरात्रि के दौरान शहर में कई जगहों पर गरबा महोत्सव का आयोजन भी किया जाता है. इन्हीं गरबा पंडाल में धर्म विशेष के युवक ना आ सके, इसलिए विश्व हिंदू परिषद ने आज जबलपुर पुलिस प्रशासन को एक ज्ञापन सौंपा है.

बायोमेट्रिक पहचान: विश्व हिंदू परिषद के नेताओं का कहना है कि "गरबा पंडाल में जो भी गरबा करने जा रहा है. उसे अपनी बायोमेट्रिक पहचान बतानी होगी. इसके लिए बायोमेट्रिक मशीन है. गरबा पंडाल के बाहर लगाने की मांग विश्व हिंदू परिषद ने की है. विश्व हिंदू परिषद के नेताओं का कहना है कि इस पहचान के जरिए कोई भी दूसरे धर्म का युवक गरबा पंडाल में नहीं जा सकेगा.

यहां पढ़ें...

आचार संहिता के नियमों से बंधे रहेंगे गरबा महोत्सव: विश्व हिंदू परिषद की इस मांग का ज्ञापन प्रशासन ने ले तो लिया है, लेकिन प्रशासन ने अपनी तरफ से कोई गाइडलाइन जारी नहीं की है और ना ही विश्व हिंदू परिषद की इस चेतावनी का कोई असर प्रशासन पर नजर आ रहा है. पुलिस अधिकारियों का कहना है कि यदि किसी गरबा पांडाल को ऐसी व्यवस्था करनी है तो वह अपने स्तर पर कर सकते हैं. प्रशासन की ऐसी कोई गाइडलाइन नहीं है. वहीं इस बार गरबा महोत्सव भी आचार संहिता के नियमों से बधे रहेंगे. इनमें राजनीतिक दखलअंदाजी और प्रचार प्रसार नहीं होने दिया जाएगा.

विश्व हिंदू परिषद की अजीबो गरीब चेतावनी

जबलपुर। विश्व हिंदू परिषद के जबलपुर संगठन ने एक अजीबोगरीब मांग जबलपुर जिला प्रशासन और पुलिस प्रशासन से की है. इन लोगों का कहना है कि इस बार गरबा पंडाल में केवल वही लोग प्रवेश कर पाएंगे. जिन लोगों की बायोमेट्रिक पहचान बायोमेट्रिक मशीन से स्पष्ट हो जाएगी. विश्व हिंदू परिषद यह प्रावधान गरबा पंडाल में दूसरे धर्म के युवकों को आने से रोकने के लिए करवाना चाहता है. विश्व हिंदू परिषद में चेतावनी जारी की है कि यदि गरबा पंडालू में दूसरे धर्म के लोग मिले तो उन्हें गंगाजल पिला कर उनका धर्म परिवर्तन किया जाएगा और फिर गरबा करवाया जाएगा.

जबलपुर में नवरात्रि के कार्यक्रम शुरू होने वाले हैं. नवरात्रि के दौरान शहर में कई जगहों पर गरबा महोत्सव का आयोजन भी किया जाता है. इन्हीं गरबा पंडाल में धर्म विशेष के युवक ना आ सके, इसलिए विश्व हिंदू परिषद ने आज जबलपुर पुलिस प्रशासन को एक ज्ञापन सौंपा है.

बायोमेट्रिक पहचान: विश्व हिंदू परिषद के नेताओं का कहना है कि "गरबा पंडाल में जो भी गरबा करने जा रहा है. उसे अपनी बायोमेट्रिक पहचान बतानी होगी. इसके लिए बायोमेट्रिक मशीन है. गरबा पंडाल के बाहर लगाने की मांग विश्व हिंदू परिषद ने की है. विश्व हिंदू परिषद के नेताओं का कहना है कि इस पहचान के जरिए कोई भी दूसरे धर्म का युवक गरबा पंडाल में नहीं जा सकेगा.

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आचार संहिता के नियमों से बंधे रहेंगे गरबा महोत्सव: विश्व हिंदू परिषद की इस मांग का ज्ञापन प्रशासन ने ले तो लिया है, लेकिन प्रशासन ने अपनी तरफ से कोई गाइडलाइन जारी नहीं की है और ना ही विश्व हिंदू परिषद की इस चेतावनी का कोई असर प्रशासन पर नजर आ रहा है. पुलिस अधिकारियों का कहना है कि यदि किसी गरबा पांडाल को ऐसी व्यवस्था करनी है तो वह अपने स्तर पर कर सकते हैं. प्रशासन की ऐसी कोई गाइडलाइन नहीं है. वहीं इस बार गरबा महोत्सव भी आचार संहिता के नियमों से बधे रहेंगे. इनमें राजनीतिक दखलअंदाजी और प्रचार प्रसार नहीं होने दिया जाएगा.

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