जबलपुर। कोरोना वायरस की वजह से कई समस्याएं खड़ी हो गई है. यहां हम आपको एक ऐसी समस्या के बारे में जानकारी देना चाहते हैं, जिसका कोई विकल्प नहीं है, महामारी का फैलाव जब से तेज हुआ है, तब से लोगों में रक्तदान की कमी देखने को मिल रही है. शहर के ब्लड बैंकों में रक्त की कमी सामने आने लगी है. दूसरे बीमारी से पीड़ित मरीजों के लिए ब्लड मिलना दिन-ब-दिन मुश्किल होता जा रहा है.
ब्लड बैंक हो रहे हैं खाली
दरअसल, जब से कोरोना वायरस का संक्रमण तेज हुआ है, तब से ही रक्तदान करने वालों की संख्या में लगातार गिरावट देखी गई है. रक्तदान शिविर बंद हो गए और स्वेच्छा से रक्तदान करने वाले लोग भी संक्रमण के डर से घरों में बैठ गए हैं. इस बीच ब्लड की जरूरत लगातार बनी रही. जिन लोगों के ऑपरेशन होने थे, उन्हें ब्लड दिए गए. साथ ही जिन लोगों को थैलेसीमिया की शिकायत है, उन्हें भी ब्लड बैंकों के जरिए ब्लड दिया गया. अब शहर के ज्यादातर ब्लड बैंकों में खून की भारी कमी आ रही है. स्टॉक में खून नहीं है और रक्तदान करने वालो की कमी बनी हुई है. शहर में एक दर्जन से ज्यादा ब्लड बैंक हैं, लेकिन इनमें खून नहीं है.
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वैक्सीनेशन से खड़ी होगी समस्या
दूसरी बड़ी समस्या वैक्सीनेशन के साथ ही खड़ी होती दिख रही है. राज्य में 5 मई से 18 साल से 45 साल के बीच के लोगों के लिए वैक्सीनेशन शुरू किया जा रहा है. जानकारी के मुताबिक, जिसे वैक्सीन लगाई जाएगी वो 2 महीने तक रक्तदान नहीं कर पाएगा. बता दें कि ज्यादातर रक्तदाता 18 से 45 साल की उम्र के बीच के ही हैं. रक्तदान के लिए जागरूकता का काम करने वाले लोगों का कहना है कि यदि आप वैक्सीन लगवा रहे हैं, तो उसके पहले एक बार रक्तदान जरूर करें. यह उन मरीजों के लिए बहुत जरूरी है जिन्हें इन 2 महीनों में रक्त की जरूरत पड़ेगी.