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Jabalpur News: कलेक्ट्रेट घेराव करने जा रहे NSUI कार्यकर्ताओं पर पुलिस का लाठीचार्ज, कई घायल - mp news

गुरुवार को कलेक्ट्रेट घेराव करने जा रहे एनएसयूआई कार्यकर्ताओं पर पुलिस ने लाठीचार्ज किया है. इस लाठीचार्ज में एनएसयूआई के अध्यक्ष सचिन रजक समेत कई कार्यकर्ता घायल हुए हैं.

Jabalpur News
जबलपुर में एनएसयूआई कार्यकर्ताओं पर पुलिस का लाठीचार्ज
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Published : Aug 10, 2023, 7:56 PM IST

NSUI कार्यकर्ताओं पर पुलिस का लाठीचार्ज

जबलपुर। शहर में एनएसयूआई के कार्यकर्ताओं के ऊपर पुलिस ने गुरुवार को जमकर लाठियां बरसाई. इसमें जबलपुर एनएसयूआई के अध्यक्ष सचिन रजक घायल हो गए. इसके साथ ही दूसरे कई पदाधिकारियों को भी लाठियां पड़ी हैं. बता दें कि एनएसयूआई ने कई मुद्दों को लेकर जबलपुर कलेक्ट्रेट के घेराव का कार्यक्रम रखा था. इस दौरान पुलिस और एनएसयूआई कार्यकर्ताओं में भिड़ंत हो गई.

पुलिस ने एनएसयूआई के कार्यकर्ताओं पर किया लाठीचार्जः एनएसयूआई ने बेरोजगारी, व्यापम घोटाला, पटवारी भर्ती घोटाले और महंगाई जैसे मुद्दों पर प्रदर्शन करने के लिए एक रैली निकाली थी और कार्यकर्ताओं ने कलेक्ट्रेट घेराव का कार्यक्रम रखा था. एनएसयूआई की रैली मालवीय चौक से कलेक्ट्रेट के लिए रवाना हुई थी, लेकिन जबलपुर में धारा 144 लगी हुई है. इसलिए कलेक्ट्रेट परिसर में किसी को भी प्रदर्शन करने की अनुमति नहीं है. पुलिस ने एनएसयूआई के कार्यकर्ताओं को रोकने के लिए घंटाघर में बैरिकेडिंग की थी. एनएसयूआई के कार्यकर्ता बैरिकेडिंग पर चढ़ गए और उसे गिराने लगे. इस दौरान पुलिस ने लाठीचार्ज कर दिया. इस लाठी चार्ज में एनएसयूआई के अध्यक्ष सचिन रजक और युवा कांग्रेस की राष्ट्रीय पदाधिकारी पिंकी मुद्गल को लाठियां लगीं. इस लाठीचार्ज में कई कार्यकर्ता व पदाधिकारी घायल हुए हैं.

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भ्रष्टाचार के खिलाफ आवाज उठाने पर लाठियों से पीटाः एनएसयूआई के प्रदेश अध्यक्ष आशुतोष चौकसे का आरोप है कि, ''एक तरफ जनता परेशान है, छात्रों को बेरोजगारी का सामना करना पड़ रहा है, पटवारी भर्ती में हुए भ्रष्टाचार के बाद बेरोजगारों को साथ ठगी हुई है, लेकिन उसके बाद भी यदि इस भ्रष्टाचार के खिलाफ कोई आवाज उठा रहा है, तो सरकार उसे लाठियों से पिटवा रही है.'' उन्होंने कहा, ''एनएसयूआई के प्रदर्शन का जिस तरीके से दमन किया गया है, यह केवल प्रशासनिक कदम नहीं है बल्कि इसमें कहीं न कहीं राजनीति शामिल है. लोकतंत्र में विपक्षी पार्टियों को विरोध करने का पूरा अधिकार है, लेकिन इसका दमन भी लोकतांत्रिक तरीके से होना चाहिए, जिस तरीके से एनएसयूआई के आंदोलन को रोका गया है. ऐसा दमन उपद्रवियों के साथ किया जाता है.''

जबलपुर में धारा 144ः वहीं, एडिशनल एसपी प्रियंका शुक्ला ने बताया, ''जबलपुर में धारा 144 लगी हुई है. इसके कारण एनएसयूआई कार्यकर्ताओं को प्रदर्शन करने की अनुमति नहीं है. वहीं, उन्हें रोकने के लिए बैरिकेडिंग थी. इन बैरिकेडिंग पर चढ़कर एनएसयूआई कार्यकर्ता उसे गिराने लगे थे. इस कारण लाठीचार्ज किया गया था. पुलिस ने एनएसयूआई कार्यकर्ताओं को पकड़ा है."

NSUI कार्यकर्ताओं पर पुलिस का लाठीचार्ज

जबलपुर। शहर में एनएसयूआई के कार्यकर्ताओं के ऊपर पुलिस ने गुरुवार को जमकर लाठियां बरसाई. इसमें जबलपुर एनएसयूआई के अध्यक्ष सचिन रजक घायल हो गए. इसके साथ ही दूसरे कई पदाधिकारियों को भी लाठियां पड़ी हैं. बता दें कि एनएसयूआई ने कई मुद्दों को लेकर जबलपुर कलेक्ट्रेट के घेराव का कार्यक्रम रखा था. इस दौरान पुलिस और एनएसयूआई कार्यकर्ताओं में भिड़ंत हो गई.

पुलिस ने एनएसयूआई के कार्यकर्ताओं पर किया लाठीचार्जः एनएसयूआई ने बेरोजगारी, व्यापम घोटाला, पटवारी भर्ती घोटाले और महंगाई जैसे मुद्दों पर प्रदर्शन करने के लिए एक रैली निकाली थी और कार्यकर्ताओं ने कलेक्ट्रेट घेराव का कार्यक्रम रखा था. एनएसयूआई की रैली मालवीय चौक से कलेक्ट्रेट के लिए रवाना हुई थी, लेकिन जबलपुर में धारा 144 लगी हुई है. इसलिए कलेक्ट्रेट परिसर में किसी को भी प्रदर्शन करने की अनुमति नहीं है. पुलिस ने एनएसयूआई के कार्यकर्ताओं को रोकने के लिए घंटाघर में बैरिकेडिंग की थी. एनएसयूआई के कार्यकर्ता बैरिकेडिंग पर चढ़ गए और उसे गिराने लगे. इस दौरान पुलिस ने लाठीचार्ज कर दिया. इस लाठी चार्ज में एनएसयूआई के अध्यक्ष सचिन रजक और युवा कांग्रेस की राष्ट्रीय पदाधिकारी पिंकी मुद्गल को लाठियां लगीं. इस लाठीचार्ज में कई कार्यकर्ता व पदाधिकारी घायल हुए हैं.

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भ्रष्टाचार के खिलाफ आवाज उठाने पर लाठियों से पीटाः एनएसयूआई के प्रदेश अध्यक्ष आशुतोष चौकसे का आरोप है कि, ''एक तरफ जनता परेशान है, छात्रों को बेरोजगारी का सामना करना पड़ रहा है, पटवारी भर्ती में हुए भ्रष्टाचार के बाद बेरोजगारों को साथ ठगी हुई है, लेकिन उसके बाद भी यदि इस भ्रष्टाचार के खिलाफ कोई आवाज उठा रहा है, तो सरकार उसे लाठियों से पिटवा रही है.'' उन्होंने कहा, ''एनएसयूआई के प्रदर्शन का जिस तरीके से दमन किया गया है, यह केवल प्रशासनिक कदम नहीं है बल्कि इसमें कहीं न कहीं राजनीति शामिल है. लोकतंत्र में विपक्षी पार्टियों को विरोध करने का पूरा अधिकार है, लेकिन इसका दमन भी लोकतांत्रिक तरीके से होना चाहिए, जिस तरीके से एनएसयूआई के आंदोलन को रोका गया है. ऐसा दमन उपद्रवियों के साथ किया जाता है.''

जबलपुर में धारा 144ः वहीं, एडिशनल एसपी प्रियंका शुक्ला ने बताया, ''जबलपुर में धारा 144 लगी हुई है. इसके कारण एनएसयूआई कार्यकर्ताओं को प्रदर्शन करने की अनुमति नहीं है. वहीं, उन्हें रोकने के लिए बैरिकेडिंग थी. इन बैरिकेडिंग पर चढ़कर एनएसयूआई कार्यकर्ता उसे गिराने लगे थे. इस कारण लाठीचार्ज किया गया था. पुलिस ने एनएसयूआई कार्यकर्ताओं को पकड़ा है."

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