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रेलवे बोर्ड चेयरमैन का ऐलान, मध्य प्रदेश को मिलेगी पहली स्लीपर वंदे भारत, देखें पूरा रूट

Good News For Jabalpur: भारतीय रेलवे बोर्ड की चेयरपर्सन जया वर्मा सिन्हा आज जबलपुर पहुंची. जहां चेयरपर्सन ने विकास कार्यों का जायजा लेने के साथ जबलपुर में स्लीपर कोच वाली वंदे भारत चलाने की बात कही.

Good news for Jabalpur
जबलपुर में चलेगी वंदे भारत स्लीपर कोच
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By ETV Bharat Madhya Pradesh Team

Published : Jan 9, 2024, 7:35 PM IST

Updated : Jan 9, 2024, 9:46 PM IST

जबलपुर वालों के लिए खुशखबरी

जबलपुर। भारतीय रेलवे बोर्ड की चेयरपर्सन जया वर्मा सिन्हा ने मंगलवार को जबलपुर में दिनभर रेलवे के अधिकारियों के साथ बैठकर बातचीत की. वह पश्चिम मध्य रेलवे में चल रहे विकास कार्यों का जायजा लेने के लिए जबलपुर आई थीं. इस दौरान जया वर्मा सिन्हा ने वंदे भारत को लेकर नई जानकारी दी. उन्होंने बताया कि जल्द ही वंदे भारत का स्लीपर कोच वाली ट्रेन जबलपुर से भी चलाई जाएगी. इस खबर के बाद शहरवासियों में खुशी का माहौल है.

90000 वर्ग फीट का रूफटॉप वाला स्टेशन

भारतीय रेलवे की चेयरपर्सन जया वर्मा सिन्हा ने आज जबलपुर में पश्चिम मध्य रेलवे के अधिकारियों के साथ बैठकर पश्चिम मध्य रेलवे में चल रहे विकास कार्यों की समीक्षा की. इसमें सबसे पहले उन्होंने जबलपुर में बनने वाले नए रेलवे स्टेशन के बारे में प्रोजेक्ट को समझा. जिसमें सरकार लगभग 500 करोड़ रुपए खर्च कर रही है. वहीं दूसरी तरफ इस रेलवे स्टेशन में दो नए प्लेटफार्म भी बनाए जा रहे हैं. इसके अलावा दो नई अत्याधुनिक इमारतें भी बनाई जाएगी. जो प्लेटफार्म नंबर एक और प्लेटफार्म नंबर आठ पर होगी. इसके अलावा लगभग 90000 वर्ग फीट का रूफटॉप एरिया भी बनाया जा रहा है. जिस पर कैफेटेरिया होटल और दूसरी सुविधाएं विकसित की जाएगी.

जबलपुर भारत का दिल है

रेलवे बोर्ड की चेयरपर्सन का कहना है कि जबलपुर और पश्चिम मध्य रेलवे भारत का दिल है और भारत के किसी भी क्षेत्र से निकलने वाली रेलगाड़ी कभी ना कभी पश्चिम मध्य रेलवे से होकर जरूर गुजरती है. इसलिए यहां की व्यवस्थाओं को दुरुस्त रखना बहुत जरूरी है. रेलवे की चेयरपर्सन ने गाड़ियों की स्पीड कैसे बढ़ाई जाए, ट्रैक को कैसे दुरुस्त रखा जाए. इन सब मुद्दों की बारीकियों को भी समझा.

कंट्रोल रूम देखा और कर्मचारियों से मिली

इसके साथ ही उन्होंने जबलपुर का कंट्रोल रूम भी देखा और उसमें काम करने वाले कर्मचारी कैसे चुस्त दुरुस्त रहें. इसके लिए क्या व्यवस्था की गई है, इसके बारे में भी जानकारी ली.

सुरक्षा सर्वोपरि

इसके साथ ही रेलवे बोर्ड की चेयरपर्सन ने कहा की रेलवे में सुरक्षा की बहुत जरूरत है. इसलिए उन्होंने आज की मीटिंग में सुरक्षा से जुड़े हुए मुद्दों पर जानकारी ली है. हालांकि पश्चिम मध्य रेलवे इस मामले में काफी अच्छी स्थिति में है. इसमें ज्यादातर दुर्घटनाएं केवल माल वाहक रेलगाड़ियों में ही हुई है. यात्री गाड़ियों में पश्चिम मध्य रेलवे में कोई बड़ी दुर्घटना नहीं हुई है.

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रेलवे बोर्ड की चेयरपर्सन नेे किया निरीक्षण

स्लीपर कोच वाली वंदे भारत चलेगी

जबलपुर से अभी वंदे भारत एक्सप्रेस चलाई जा रही है. जब जया वर्मा से पूछा गया कि क्या वंदे भारत में स्लीपर कोच की सुविधा वाली रेलगाड़ी जबलपुर से शुरू की जाएगी. इस पर रेलवे बोर्ड की चेयरपर्सन ने हामी भरते हुए कहा कि जल्द ही यह सुविधा भी जबलपुर को मिलेगी. वहीं अयोध्या के लिए जाने वाली रेलगाड़ियां की व्यवस्था को लेकर उन्होंने स्पष्ट किया कि इसका प्लान बनाया जा रहा है और जल्द ही इसे सार्वजनिक कर सभी को अवगत करवाया जाएगा.

बुजुर्गों को जो कंसेशन मिल रहा है वह पर्याप्त है

रेलवे बोर्ड की अध्यक्ष का कहना है कि पहले ही बुजुर्गों को पर्याप्त सुविधाएं रेलवे द्वारा दी जा रही है. जो कंसेशन चल रहा है, वही कंसेशन जारी रहेगा. नया कंसेशन देने की जरूरत उन्हें समझ में नहीं आ रही. उनका कहना है कि रेलवे में कोविड के दौरान यात्रियों की संख्या घटी थी, लेकिन अब वह धीरे-धीरे कोविड के पहले की स्थिति में पहुंच गई है और अब रेलवे में पर्याप्त यात्री हैं. इसलिए रेलवे घाटे में नहीं चल रहा है.

इस साल ज्यादा बजट मिलने की उम्मीद

रेलवे बोर्ड की चेयर पर्सन का कहना है कि पिछले बजट में केंद्र सरकार ने रेलवे को लगभग 2.4 लाख करोड़ का आवंटन इंफ्रास्ट्रक्चर डेवलपमेंट के लिए दिया गया था. इससे भारतीय रेल को और मजबूती मिली है जय वर्मा सिंह का कहना है कि उन्हें उम्मीद है कि इस बार भी केंद्र सरकार इससे कुछ ज्यादा बजट रेलवे को देगी. जया वर्मा सिन्हा ने जबलपुर में आज जो दौरा किया, उसके बाद जबलपुर के रेलवे स्टेशन के नए सिरे से बनाए जाने का रास्ता साफ हो गया है. अब जल्द ही इसका काम आगे बढ़ेगा. यह स्टेशन विश्व स्तरीय होगा और इसमें दुनिया की कुछ अत्यधिक सुविधाओं के साथ ही जबलपुर के पास स्थित विश्व प्रसिद्ध पर्यटन स्थल भेड़ाघाट की छवि भी इसमें देखने को मिलेगी.

पहले 3 वंदे भारत स्लीपर ट्रेन होंगी लॉच

मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक शुरूआती में पहले तीन वंदे भारत स्लीपर ट्रेन लॉच होगी. जिसमें दो वंदे भारत स्लीपर ट्रेन 16-16 कोच की होगी. जबकि तीसरी वंदे भारत स्लीपर ट्रेन 24 कोच की हो सकती है. इनमें से एक ट्रेन दिल्ली से हावड़ा रूट पर भी चलाई जाएगी. इनकी स्पीड 160 किमी प्रति घंटा होगी. हालांकि इसकी अभी तक औपचारिक घोषणा बाकी है.

जानें किस रूट पर चलेगी वंदे भारत स्लीपर

मीडिया रिपोर्ट और रेलवे बोर्ड की चेयरपर्सन जया सिन्हा वर्मा के बयानों के मुताबिक वंदे भारत स्लीपर का कोच कुछ इस तरह होगा. आपको बता दें स्लीपर वंदे भारत ग्वालियर, भोपाल, इटारसी और खंडवा होते हुए दिल्ली से मुंबई के बीच सफर तय करेगी. इसके अतिरिक्त जो दूसरी वंदे भारत स्लीपर ट्रेन चलेगी, वह यूपी बिहार से ओरिजनेट होकर इसका रूट सतना, जबलपुर, इटारसी होते हुए नागपुर टच कर सकती है.

यहां पढ़ें...

पढ़े वंदे भारत स्लीपर में कोच और सुविधाएं क्या होंगी

वंदे भारत स्लीपर कोच में एसी-3 के 10 कोच, चार कोच एसी-2 और एक कोच एसी-1 का होगा. दो कोच एसएलआर (दिव्यांग फ्रेंडली) रहेंगे. दूसरी ट्रेनों के स्लीपर कोच की तुलना में बर्थ बड़ी और इंटीरियर भी शानदार होगा. वंदे भारत प्लेटफार्म पर रुकने के बाद ही गेट खुलेंगे और चलने के हूटर के साथ बंद होंगे. शौचालय भी बड़े होंगे.

जबलपुर वालों के लिए खुशखबरी

जबलपुर। भारतीय रेलवे बोर्ड की चेयरपर्सन जया वर्मा सिन्हा ने मंगलवार को जबलपुर में दिनभर रेलवे के अधिकारियों के साथ बैठकर बातचीत की. वह पश्चिम मध्य रेलवे में चल रहे विकास कार्यों का जायजा लेने के लिए जबलपुर आई थीं. इस दौरान जया वर्मा सिन्हा ने वंदे भारत को लेकर नई जानकारी दी. उन्होंने बताया कि जल्द ही वंदे भारत का स्लीपर कोच वाली ट्रेन जबलपुर से भी चलाई जाएगी. इस खबर के बाद शहरवासियों में खुशी का माहौल है.

90000 वर्ग फीट का रूफटॉप वाला स्टेशन

भारतीय रेलवे की चेयरपर्सन जया वर्मा सिन्हा ने आज जबलपुर में पश्चिम मध्य रेलवे के अधिकारियों के साथ बैठकर पश्चिम मध्य रेलवे में चल रहे विकास कार्यों की समीक्षा की. इसमें सबसे पहले उन्होंने जबलपुर में बनने वाले नए रेलवे स्टेशन के बारे में प्रोजेक्ट को समझा. जिसमें सरकार लगभग 500 करोड़ रुपए खर्च कर रही है. वहीं दूसरी तरफ इस रेलवे स्टेशन में दो नए प्लेटफार्म भी बनाए जा रहे हैं. इसके अलावा दो नई अत्याधुनिक इमारतें भी बनाई जाएगी. जो प्लेटफार्म नंबर एक और प्लेटफार्म नंबर आठ पर होगी. इसके अलावा लगभग 90000 वर्ग फीट का रूफटॉप एरिया भी बनाया जा रहा है. जिस पर कैफेटेरिया होटल और दूसरी सुविधाएं विकसित की जाएगी.

जबलपुर भारत का दिल है

रेलवे बोर्ड की चेयरपर्सन का कहना है कि जबलपुर और पश्चिम मध्य रेलवे भारत का दिल है और भारत के किसी भी क्षेत्र से निकलने वाली रेलगाड़ी कभी ना कभी पश्चिम मध्य रेलवे से होकर जरूर गुजरती है. इसलिए यहां की व्यवस्थाओं को दुरुस्त रखना बहुत जरूरी है. रेलवे की चेयरपर्सन ने गाड़ियों की स्पीड कैसे बढ़ाई जाए, ट्रैक को कैसे दुरुस्त रखा जाए. इन सब मुद्दों की बारीकियों को भी समझा.

कंट्रोल रूम देखा और कर्मचारियों से मिली

इसके साथ ही उन्होंने जबलपुर का कंट्रोल रूम भी देखा और उसमें काम करने वाले कर्मचारी कैसे चुस्त दुरुस्त रहें. इसके लिए क्या व्यवस्था की गई है, इसके बारे में भी जानकारी ली.

सुरक्षा सर्वोपरि

इसके साथ ही रेलवे बोर्ड की चेयरपर्सन ने कहा की रेलवे में सुरक्षा की बहुत जरूरत है. इसलिए उन्होंने आज की मीटिंग में सुरक्षा से जुड़े हुए मुद्दों पर जानकारी ली है. हालांकि पश्चिम मध्य रेलवे इस मामले में काफी अच्छी स्थिति में है. इसमें ज्यादातर दुर्घटनाएं केवल माल वाहक रेलगाड़ियों में ही हुई है. यात्री गाड़ियों में पश्चिम मध्य रेलवे में कोई बड़ी दुर्घटना नहीं हुई है.

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रेलवे बोर्ड की चेयरपर्सन नेे किया निरीक्षण

स्लीपर कोच वाली वंदे भारत चलेगी

जबलपुर से अभी वंदे भारत एक्सप्रेस चलाई जा रही है. जब जया वर्मा से पूछा गया कि क्या वंदे भारत में स्लीपर कोच की सुविधा वाली रेलगाड़ी जबलपुर से शुरू की जाएगी. इस पर रेलवे बोर्ड की चेयरपर्सन ने हामी भरते हुए कहा कि जल्द ही यह सुविधा भी जबलपुर को मिलेगी. वहीं अयोध्या के लिए जाने वाली रेलगाड़ियां की व्यवस्था को लेकर उन्होंने स्पष्ट किया कि इसका प्लान बनाया जा रहा है और जल्द ही इसे सार्वजनिक कर सभी को अवगत करवाया जाएगा.

बुजुर्गों को जो कंसेशन मिल रहा है वह पर्याप्त है

रेलवे बोर्ड की अध्यक्ष का कहना है कि पहले ही बुजुर्गों को पर्याप्त सुविधाएं रेलवे द्वारा दी जा रही है. जो कंसेशन चल रहा है, वही कंसेशन जारी रहेगा. नया कंसेशन देने की जरूरत उन्हें समझ में नहीं आ रही. उनका कहना है कि रेलवे में कोविड के दौरान यात्रियों की संख्या घटी थी, लेकिन अब वह धीरे-धीरे कोविड के पहले की स्थिति में पहुंच गई है और अब रेलवे में पर्याप्त यात्री हैं. इसलिए रेलवे घाटे में नहीं चल रहा है.

इस साल ज्यादा बजट मिलने की उम्मीद

रेलवे बोर्ड की चेयर पर्सन का कहना है कि पिछले बजट में केंद्र सरकार ने रेलवे को लगभग 2.4 लाख करोड़ का आवंटन इंफ्रास्ट्रक्चर डेवलपमेंट के लिए दिया गया था. इससे भारतीय रेल को और मजबूती मिली है जय वर्मा सिंह का कहना है कि उन्हें उम्मीद है कि इस बार भी केंद्र सरकार इससे कुछ ज्यादा बजट रेलवे को देगी. जया वर्मा सिन्हा ने जबलपुर में आज जो दौरा किया, उसके बाद जबलपुर के रेलवे स्टेशन के नए सिरे से बनाए जाने का रास्ता साफ हो गया है. अब जल्द ही इसका काम आगे बढ़ेगा. यह स्टेशन विश्व स्तरीय होगा और इसमें दुनिया की कुछ अत्यधिक सुविधाओं के साथ ही जबलपुर के पास स्थित विश्व प्रसिद्ध पर्यटन स्थल भेड़ाघाट की छवि भी इसमें देखने को मिलेगी.

पहले 3 वंदे भारत स्लीपर ट्रेन होंगी लॉच

मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक शुरूआती में पहले तीन वंदे भारत स्लीपर ट्रेन लॉच होगी. जिसमें दो वंदे भारत स्लीपर ट्रेन 16-16 कोच की होगी. जबकि तीसरी वंदे भारत स्लीपर ट्रेन 24 कोच की हो सकती है. इनमें से एक ट्रेन दिल्ली से हावड़ा रूट पर भी चलाई जाएगी. इनकी स्पीड 160 किमी प्रति घंटा होगी. हालांकि इसकी अभी तक औपचारिक घोषणा बाकी है.

जानें किस रूट पर चलेगी वंदे भारत स्लीपर

मीडिया रिपोर्ट और रेलवे बोर्ड की चेयरपर्सन जया सिन्हा वर्मा के बयानों के मुताबिक वंदे भारत स्लीपर का कोच कुछ इस तरह होगा. आपको बता दें स्लीपर वंदे भारत ग्वालियर, भोपाल, इटारसी और खंडवा होते हुए दिल्ली से मुंबई के बीच सफर तय करेगी. इसके अतिरिक्त जो दूसरी वंदे भारत स्लीपर ट्रेन चलेगी, वह यूपी बिहार से ओरिजनेट होकर इसका रूट सतना, जबलपुर, इटारसी होते हुए नागपुर टच कर सकती है.

यहां पढ़ें...

पढ़े वंदे भारत स्लीपर में कोच और सुविधाएं क्या होंगी

वंदे भारत स्लीपर कोच में एसी-3 के 10 कोच, चार कोच एसी-2 और एक कोच एसी-1 का होगा. दो कोच एसएलआर (दिव्यांग फ्रेंडली) रहेंगे. दूसरी ट्रेनों के स्लीपर कोच की तुलना में बर्थ बड़ी और इंटीरियर भी शानदार होगा. वंदे भारत प्लेटफार्म पर रुकने के बाद ही गेट खुलेंगे और चलने के हूटर के साथ बंद होंगे. शौचालय भी बड़े होंगे.

Last Updated : Jan 9, 2024, 9:46 PM IST
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