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भारत की कई कंपनियां चीन से घटिया जिलेटिन का कर रहीं आयात, नागरिक उपभोक्ता मंच ने पीएम को लिखा पत्र

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Published : Jun 22, 2020, 7:47 PM IST

नागरिक उपभोक्ता मंच ने केंद्र सरकार से चीन की घटिया जिलेटिन का धंधा करने वाली भारतीय कंपनी के नाम उजागर कर इन पर कार्रवाई करने की मांग की है.

Doctor PG Nazpande
डॉ पीजी नाजपांडे

जबलपुर। इंडो-चीन सीमा विवाद लेकर देश में काफी रोष है. जिसके चलते अब बॉयकाट चाइना की मांग की जा रही है. इसी बीच एक और खबर सामने आई है कि, देश भर में दवा के रूप में उपयोग होने वाले कैप्सूल को घटिया जिलेटिन से बनाया जा रहा है. इस जिलेटिन को चीन से आयात किया जा रहा है. नागरिक उपभोक्ता मंच ने इस घटिया जिलेटिन के आयात पर तुरंत रोक लगाने की मांग की है.

नागरिक उपभोक्ता मंच ने केंद्र सरकार को लिखा पत्र

नागरिक उपभोक्ता मंच ने केंद्र सरकार से चीन की घटिया जिलेटिन का धंधा करने वाली भारतीय कंपनी के नाम उजागर कर इन पर कार्रवाई करने की मांग की है. मंच के संरक्षक डॉ पीजी नाजपांडे ने बताया कि, पशुओं की चमड़ियों को उबालकर चीन घटिया क्वालिटी का जिलेटिन बनाकर भारत में भारी मात्रा में भेज रहा है. इस घटिया जिलेटिन में कई तरह की जहरीली धातु, बैक्टीरिया और वायरस होते हैं. कहा ये भी जा रहा है कि, इस जिलेटिन में कोरोना वायरस जैसा संक्रमण भी हो सकता है. इतना ज्यादा खतरनाक होने के बाद भी सरकार ने जिलेटिन के इस धंधे पर अभी तक रोक नहीं लगाई है. मंच ने केंद्र सरकार ने इस जिलेटिन के आयात पर रोक लगाने की मांग की है.

नागरिक उपभोक्ता मंच ने भारतीय कंपनियों के नाम किए उजागर

डॉक्टर पीजी नाजपांडे ने बताया कि, भारत की कई कंपनियां चीन से आयात होने वाली जिलेटिन का उपयोग कर रहीं हैं, जिनमें कुछ के नाम भी सामने आए हैं.

  • अब्बोलोंन इम्पलेक्स, नई दिल्ली
  • अंधेरी जिलेटिन, दिल्ली
  • मेन केयर लांस, नेताजी सुभाष पैलेस दिल्ली
  • अल्फा सॉफ्ट जेल, हिमाचल प्रदेश
  • सेल्फ इमकंफर्ट,हिमाचल प्रदेश
  • ओसोन,सडोरा रोड,काला अंबा,हिमाचल प्रदेश

बताया जा रहा है कि, ये घटिया जिलेटिन उत्तर प्रदेश, दिल्ली, हिमाचल प्रदेश,उत्तराखंड, जम्मू-कश्मीर, पंजाब, हरियाणा, मध्य प्रदेश सहित कई राज्यों में दवाइयों के कैप्सूल और दूसरे पदार्थों में उपयोग की जा रही है. नागरिक उपभोक्ता मंच ने पत्र के माध्यम से केंद्र सरकार को चेताया है कि, अगर जल्द ही इन कंपनियों पर कार्रवाई नहीं की जाती है, तो मजबूरन सुप्रीम कोर्ट का दरवाजा खटखटाना पड़ेगा.

क्या होती है जिलेटिन ?

जिलेटिन एक पारदर्शी, रंगहीन, स्वाद रहित भोजन घटक होता है, जो मुख्य रूप से ग्लाइसिन और प्रोलिन नामक एमिनो एसिड से बना है. जिलेटिन को अलग-अलग तरीकों से इस्‍तेमाल‍ किया जाता है. इसे पाउडर, कैप्सूल, जैली और अन्य खाद्य उत्पादों के रूप में भी ग्रहण किया जा सकता है. यह सामान्यतः हड्डियों, रेशेदार ऊतकों और जानवरों के अंगों से प्राप्त किया जाता है. यह एमिनो एसिड त्वचा, बाल और नाखून के उचित विकास के साथ-साथ प्रतिरक्षा कार्य और वजन के संतुलन में महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं. जिलेटिन, प्रोटीन का उत्कृष्ट स्रोत होने के साथ-साथ तांबा, सेलेनियम (selenium) और फॉस्फोरस सहित कई विटामिन, खनिजों (minerals) और कार्बनिक यौगिकों का अच्छा स्रोत है.

जबलपुर। इंडो-चीन सीमा विवाद लेकर देश में काफी रोष है. जिसके चलते अब बॉयकाट चाइना की मांग की जा रही है. इसी बीच एक और खबर सामने आई है कि, देश भर में दवा के रूप में उपयोग होने वाले कैप्सूल को घटिया जिलेटिन से बनाया जा रहा है. इस जिलेटिन को चीन से आयात किया जा रहा है. नागरिक उपभोक्ता मंच ने इस घटिया जिलेटिन के आयात पर तुरंत रोक लगाने की मांग की है.

नागरिक उपभोक्ता मंच ने केंद्र सरकार को लिखा पत्र

नागरिक उपभोक्ता मंच ने केंद्र सरकार से चीन की घटिया जिलेटिन का धंधा करने वाली भारतीय कंपनी के नाम उजागर कर इन पर कार्रवाई करने की मांग की है. मंच के संरक्षक डॉ पीजी नाजपांडे ने बताया कि, पशुओं की चमड़ियों को उबालकर चीन घटिया क्वालिटी का जिलेटिन बनाकर भारत में भारी मात्रा में भेज रहा है. इस घटिया जिलेटिन में कई तरह की जहरीली धातु, बैक्टीरिया और वायरस होते हैं. कहा ये भी जा रहा है कि, इस जिलेटिन में कोरोना वायरस जैसा संक्रमण भी हो सकता है. इतना ज्यादा खतरनाक होने के बाद भी सरकार ने जिलेटिन के इस धंधे पर अभी तक रोक नहीं लगाई है. मंच ने केंद्र सरकार ने इस जिलेटिन के आयात पर रोक लगाने की मांग की है.

नागरिक उपभोक्ता मंच ने भारतीय कंपनियों के नाम किए उजागर

डॉक्टर पीजी नाजपांडे ने बताया कि, भारत की कई कंपनियां चीन से आयात होने वाली जिलेटिन का उपयोग कर रहीं हैं, जिनमें कुछ के नाम भी सामने आए हैं.

  • अब्बोलोंन इम्पलेक्स, नई दिल्ली
  • अंधेरी जिलेटिन, दिल्ली
  • मेन केयर लांस, नेताजी सुभाष पैलेस दिल्ली
  • अल्फा सॉफ्ट जेल, हिमाचल प्रदेश
  • सेल्फ इमकंफर्ट,हिमाचल प्रदेश
  • ओसोन,सडोरा रोड,काला अंबा,हिमाचल प्रदेश

बताया जा रहा है कि, ये घटिया जिलेटिन उत्तर प्रदेश, दिल्ली, हिमाचल प्रदेश,उत्तराखंड, जम्मू-कश्मीर, पंजाब, हरियाणा, मध्य प्रदेश सहित कई राज्यों में दवाइयों के कैप्सूल और दूसरे पदार्थों में उपयोग की जा रही है. नागरिक उपभोक्ता मंच ने पत्र के माध्यम से केंद्र सरकार को चेताया है कि, अगर जल्द ही इन कंपनियों पर कार्रवाई नहीं की जाती है, तो मजबूरन सुप्रीम कोर्ट का दरवाजा खटखटाना पड़ेगा.

क्या होती है जिलेटिन ?

जिलेटिन एक पारदर्शी, रंगहीन, स्वाद रहित भोजन घटक होता है, जो मुख्य रूप से ग्लाइसिन और प्रोलिन नामक एमिनो एसिड से बना है. जिलेटिन को अलग-अलग तरीकों से इस्‍तेमाल‍ किया जाता है. इसे पाउडर, कैप्सूल, जैली और अन्य खाद्य उत्पादों के रूप में भी ग्रहण किया जा सकता है. यह सामान्यतः हड्डियों, रेशेदार ऊतकों और जानवरों के अंगों से प्राप्त किया जाता है. यह एमिनो एसिड त्वचा, बाल और नाखून के उचित विकास के साथ-साथ प्रतिरक्षा कार्य और वजन के संतुलन में महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं. जिलेटिन, प्रोटीन का उत्कृष्ट स्रोत होने के साथ-साथ तांबा, सेलेनियम (selenium) और फॉस्फोरस सहित कई विटामिन, खनिजों (minerals) और कार्बनिक यौगिकों का अच्छा स्रोत है.

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