इंदौर। मध्य प्रदेश राज्य प्रशासनिक सेवा (MPPSC) की प्रारंभिक परीक्षा में भील जनजाति को लेकर पूछे गए सवाल पर विवाद खड़ा हो गया है. सवाल में भीलों को आपराधिक प्रवृत्ति का बताया गया है. इसके विरोध में बीजेपी ने प्रदेश के सभी जिलों में संभागायुक्त कार्यालयों का घेराव किया. शहर में भी बीजेपी विधायकों और पार्टी पदाधिकारियों ने इस मामले में कमलनाथ सरकार से माफी मांगने की मांग की.
प्रदर्शन के दौरान बीजेपी विधायक रमेश मेंदोला, पूर्व मंत्री महेंद्र हार्डिया ने संभाग आयुक्त कार्यालय पहुंचकर नारेबाजी करते हुए राज्य सरकार के नाम ज्ञापन सौंपा है. जिसमें जांच और माफी की मांग की गई है.
'सार्वजनिक तौर पर माफी मांगें कमलनाथ'
बीजेपी नेताओं का कहना है कि, जिस भील जाति का योगदान त्रेता युग में रामायण काल से लेकर स्वतंत्रता संग्राम तक वीरता का रहा. उस जाति विशेष के लोगों का अपमान मध्य प्रदेश ही नहीं पूरे देश को शर्मसार करता है. इसलिए इस मामले में कमलनाथ सरकार को भील समाज से सार्वजनिक तौर पर माफी मांगनी चाहिए. साथ ही जिन अधिकारियों ने पीएससी में ऐसा प्रश्न पत्र तैयार किया, उन्हें भी सेवा मुक्त करने में देर नहीं लगाना चाहिए.
ये है विवाद की वजह
मध्य प्रदेश राज्य प्रशासनिक सेवा की परीक्षा में पूछे गए एक सवाल को लेकर विवाद खड़ा हो गया है. यह सवाल भील जाति से संबंधित है. जिसमें भीलों को आपराधिक प्रवृत्ति का बताया गया है. इसके बाद प्रदेश की सियासत गरमाई हुई है. बीजेपी ने इसे आदिवासियों का अपमान बताया है तो वहीं सीएम कमलनाथ ने मामले की जांच के आदेश दे दिए हैं.