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तीन कृषि कानूनः मजदूरों और किसानों ने निकाली रैली, कहा- पूंजीवादियों को बढ़ावा दे रही सरकार

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Published : Aug 9, 2021, 3:23 PM IST

तीन कृषि कानूनों को लेकर सोमवार को माकपा ने किसानों और मजदूरों के साथ रैली निकाली. इस दौरान तीनों कानूनों को वापस लेने के मांग की गई है.

farmer stir
किसान आंदोलन

ग्वालियर। तीन नए कृषि कानूनों को वापस लेने और मजदूर विरोधी नीतियों का विरोध करने के लिए मार्क्सवादी कम्युनिस्ट पार्टी के साथ किसानों और मजदूरों ने यह रैली निकाली है. यह रैली फूलबाग चौराहे से कलेक्ट्रेट तक गई. जहां उन्होंने जिला-प्रशासन को ज्ञापन सौंपा है. दरअसल, मार्क्सवादी कम्युनिस्ट पार्टी किसानों और मजदूरों के साथ लंबे अरसे से तीन नए कृषि कानूनों को वापस लेने के लिए आंदोलन कर रही है. इसे लेकर मार्क्सवादी कम्युनिस्ट पार्टी ने पिछले साल कई महीनों तक आंदोलन किया था.

किसानों ने निकाली रैली
मार्क्सवादी कम्युनिस्ट पार्टी के साथ मजदूरों और किसानों ने सोमवार को फूलबाग पर जमा होकर रैली निकाली. यह रैली फूलबाग चौराहे से जिलाधीश कार्यालय तक निकाली गई. मार्क्सवादी कम्युनिस्ट पार्टी का कहना है कि जबरन थोपे गए कृषि कानूनों को वापस लेने तक उनका आंदोलन चलता रहेगा. यह कानून पूंजीवादी व्यवस्था को बढ़ावा देने के मकसद से लाए गए हैं. जबकि किसान, मजदूर और गरीब आदमी इन कानूनों को लेकर समय रहते चेत गए हैं, जिसके चलते वह इसका विरोध कर रहे हैं.

चढ़ूनी Vs टिकैत हुआ किसान आंदोलन? क्या राजनीतिक वर्चस्व की लड़ाई में फंस गए दोनों नेता

किसान नेताओं को उम्मीद है कि देर-सवेर सरकार को यह कानून वापस लेना पड़ेंगे, नहीं तो आंदोलन को और तेज किया जाएगा. आंदोलनकारी मजदूरों का यह भी कहना है कि केंद्र सरकार श्रम कानूनों को खत्म करने पर आमादा है. सरकार की नीतियों का विरोध करने के लिए मजदूरों ने भी इस रैली में बढ़-चढ़कर हिस्सा लिया है. जिला प्रशासन को ज्ञापन देने के साथ ही इस रैली का समापन हो गया.

ग्वालियर। तीन नए कृषि कानूनों को वापस लेने और मजदूर विरोधी नीतियों का विरोध करने के लिए मार्क्सवादी कम्युनिस्ट पार्टी के साथ किसानों और मजदूरों ने यह रैली निकाली है. यह रैली फूलबाग चौराहे से कलेक्ट्रेट तक गई. जहां उन्होंने जिला-प्रशासन को ज्ञापन सौंपा है. दरअसल, मार्क्सवादी कम्युनिस्ट पार्टी किसानों और मजदूरों के साथ लंबे अरसे से तीन नए कृषि कानूनों को वापस लेने के लिए आंदोलन कर रही है. इसे लेकर मार्क्सवादी कम्युनिस्ट पार्टी ने पिछले साल कई महीनों तक आंदोलन किया था.

किसानों ने निकाली रैली
मार्क्सवादी कम्युनिस्ट पार्टी के साथ मजदूरों और किसानों ने सोमवार को फूलबाग पर जमा होकर रैली निकाली. यह रैली फूलबाग चौराहे से जिलाधीश कार्यालय तक निकाली गई. मार्क्सवादी कम्युनिस्ट पार्टी का कहना है कि जबरन थोपे गए कृषि कानूनों को वापस लेने तक उनका आंदोलन चलता रहेगा. यह कानून पूंजीवादी व्यवस्था को बढ़ावा देने के मकसद से लाए गए हैं. जबकि किसान, मजदूर और गरीब आदमी इन कानूनों को लेकर समय रहते चेत गए हैं, जिसके चलते वह इसका विरोध कर रहे हैं.

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