ग्वालियर। उत्तर प्रदेश की राजधानी लखनऊ में पूर्व मंत्री एवं समाजवादी पार्टी के वरिष्ठ नेता स्वामी प्रसाद मौर्य द्वारा श्री रामचरितमानस की प्रतियां जलाने को लेकर ग्वालियर में हिंदू महासभा ने अपना कड़ा विरोध जताया है.हिंदू महासभा ने अपने दौलतगंज स्थित कार्यालय पर उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ को अपने खून से पत्र लिखा है और रामचरितमानस की प्रतियां जलाने वालों के खिलाफ सख्त कार्रवाई करके उनकी गिरफ्तारी की मांग की है.
समाज में उभर रहीं हैं विघटनकारी शक्तियांः इस मौके पर हिंदू महासभा के प्रदेश उपाध्यक्ष रामबाबू सेन और संभागीय अध्यक्ष अर्चना चौहान ने अपने खून से पत्र लिखकर उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी को स्वामी प्रसाद मौर्य की गिरफ्तारी की मांग की है. दौलतगंज स्थित अखिल भारतीय हिंदू महासभा के कार्यालय पर पार्टी के कार्यकर्ता जमा हुए और उन्होंने यह पत्र लिखा. उनका यह भी कहना है कि कुछ लोगों के कारण समाज में विघटनकारी शक्तियां उभर रही हैं. यह भारतीय समाज के लिए खतरनाक है. इसलिए उन्होंने अपने खून से यह पत्र लिखा है. हिंदू महासभा का कहना है कि पूर्व मंत्री और समाजवादी नेता स्वामी प्रसाद मौर्य विधर्मी है. उन्होंने करोड़ों हिंदुओं की भावनाओं से खिलवाड़ किया है. उनके खिलाफ अन्य स्थानों पर भी मुकदमा दर्ज किया जाना चाहिए और उन्हें गिरफ्तार भी किया जाना चाहिए.
बड़े आंदोलन की दी चेतावनीः दरअसल जब से बिहार के शिक्षा मंत्री चंद्रशेखर प्रसाद ने रामचरितमानस की कुछ विवादित चौपाइयों को उद्धृत किया है तब से ही यह विवाद चला आ रहा है. अब हिंदू समाज के अगड़े और पिछड़े लोगों के बीच यह विवाद की यह वजह बन गया है. जिसके कारण समाजवादी पार्टी एवं ओबीसी समाज जहां स्वामी प्रसाद मौर्य का समर्थन कर रहा है. वहीं हिंदू संगठनों से जुड़े लोग मौर्य का विरोध कर रहे हैं. उनका कहना है कि ऐसे लोगों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जानी चाहिए अन्यथा उन्हें और बड़ा आंदोलन खड़ा करना होगा. इस मौके पर हिंदू महासभा के कार्यालय में स्वामी प्रसाद मौर्य के खिलाफ नारेबाजी भी की गई और बीजेपी की यूपी सरकार को भी कटघरे में खड़ा किया गया कि उन्होंने इतनी बड़ी घटना होने के बाद अभी तक स्वामी प्रसाद मौर्य को क्यों गिरफ्तार नहीं किया है.