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गिरते लिंगानुपात को बढ़ाने नया फार्मूला हुआ तैयार, 120 गांव गोद लेंगे अधिकारी - declining sex ratio in gwalior

ग्वालियर में बढ़ रहे लिंगानुपात के मामलों को रोकने के लिए प्रशासन ने एक नया फॉर्मूला तैयार किया है. जिसमें सरकारी अधिकारीयों को मॉनिटरिंग के लिए एक-एक गांव दिया जाएगा.

लिंगानुपात को लेकर अधिकारियों को 120 गांव लेने के आदेश
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Published : Oct 16, 2019, 4:02 PM IST

ग्वालियर। चंबल संभाग में बेटी बचाओ अभियान सिर्फ कागजों में सिमट कर रह गया है. ये हकीकत सरकारी आंकड़े बयां कर रहे हैं, जिसके चलते ग्वालियर प्रशासन भ्रूण हत्या रोकने में नाकाम साबित हुआ है. आंकड़ों के मुताबिक अकेले ग्वालियर के 120 गांव ऐसे हैं, जो लिंगानुपात के मामले में डेंजर जोन में हैं, वहीं प्रशासन एक फॉर्मूला लेकर आया है, जिसके मुताबिक हर एक सरकारी अधिकारी को एक-एक गांव दिया जाएगा, जो उसकी मॉनिटरिंग करेगा.

लिंगानुपात को लेकर अधिकारियों को 120 गांव लेने के आदेश जारी

साथ ही जिस इलाके में सबसे अधिक परिवर्तन नजर आएगा, उस इलाके की जिम्मेदारी संभाल रही ब्रांड एंबेसडर बेटी को एक दिन के लिए ग्वालियर जिले का कलेक्टर बनाया जाएगा. अब अधिकारियों को गोद लिए गांव में जाना होगा और बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ मुहिम के पैरामीटर के तहत लोगों को बेटियों की संख्या बढ़ाने को लेकर जागरूक करना होगा, जिसमें डबरा, मुरार, भितरवार ,घाटीगांव विकासखंड के 120 गांव शामिल हैं. इस गांव में लिंगानुपात औसतन 1000 पुरुषों पर 711 महिला है, जबकि औसत 930 के आसपास होना चाहिए था.


इन 120 गांव में सेक्स रेश्यो बढ़ाने के लिए बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ की ब्रांड एंबेस्डर की भी मदद ली जाएगी, वहीं यह अभियान 8 मार्च यानी महिला दिवस तक जारी रहेगा.

ग्वालियर। चंबल संभाग में बेटी बचाओ अभियान सिर्फ कागजों में सिमट कर रह गया है. ये हकीकत सरकारी आंकड़े बयां कर रहे हैं, जिसके चलते ग्वालियर प्रशासन भ्रूण हत्या रोकने में नाकाम साबित हुआ है. आंकड़ों के मुताबिक अकेले ग्वालियर के 120 गांव ऐसे हैं, जो लिंगानुपात के मामले में डेंजर जोन में हैं, वहीं प्रशासन एक फॉर्मूला लेकर आया है, जिसके मुताबिक हर एक सरकारी अधिकारी को एक-एक गांव दिया जाएगा, जो उसकी मॉनिटरिंग करेगा.

लिंगानुपात को लेकर अधिकारियों को 120 गांव लेने के आदेश जारी

साथ ही जिस इलाके में सबसे अधिक परिवर्तन नजर आएगा, उस इलाके की जिम्मेदारी संभाल रही ब्रांड एंबेसडर बेटी को एक दिन के लिए ग्वालियर जिले का कलेक्टर बनाया जाएगा. अब अधिकारियों को गोद लिए गांव में जाना होगा और बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ मुहिम के पैरामीटर के तहत लोगों को बेटियों की संख्या बढ़ाने को लेकर जागरूक करना होगा, जिसमें डबरा, मुरार, भितरवार ,घाटीगांव विकासखंड के 120 गांव शामिल हैं. इस गांव में लिंगानुपात औसतन 1000 पुरुषों पर 711 महिला है, जबकि औसत 930 के आसपास होना चाहिए था.


इन 120 गांव में सेक्स रेश्यो बढ़ाने के लिए बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ की ब्रांड एंबेस्डर की भी मदद ली जाएगी, वहीं यह अभियान 8 मार्च यानी महिला दिवस तक जारी रहेगा.

Intro:ग्वालियर - मध्य प्रदेश के ग्वालियर चंबल संभाग में बेटी बचाओ अभियान कागजों में सिमट कर रह गया है। ये हकीकत हम नहीं बल्कि सरकारी आंकड़े बयां कर रही है। जिसके मुताबिक ग्वालियर प्रशासन भ्रूण हत्या रोकने में नाकाम साबित हुआ है। आंकड़ों के मुताबिक अकेले ग्वालियर के 120 गांव ऐसे हैं जो लिंगानुपात के मामले में डेंजर जोन में है। जिन को लेकर प्रशासन एक फॉर्मूला लाया है जिसके मुताबिक अब हर एक गांव को सरकारी अधिकारी को दिया जाएगा, जो उसकी मॉनिटरिंग करेगा। साथ ही जिस इलाके में सबसे अधिक परिवर्तन नजर आएगा। उस इलाके की जिम्मेदारी संभाल रही ब्रांड एंबेसडर बेटी को एक दिन के लिए ग्वालियर जिले का कलेक्टर बनाया जाएगा।


Body:ग्वालियर जिले के लिंगानुपात वाले 120 गांव को अलग-अलग विभागों के अधिकारियों को गोद दे दिया है। इन अधिकारियों को गोद लिए गांव में जाना होगा और बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ मुहिम के पैरामीटर के तहत लोगों को बेटियों की संख्या बढ़ाने को लेकर जागरूक करना होगा। इसमें डबरा, मुरार, भितरवार ,घाटीगांव विकासखंड के 120 गांव शामिल है। गांव में लिंगानुपात औसतन 1000 पुरुषों पर 711 महिला है जबकि औसत 930 के आसपास होना चाहिए।

बाइट - अनुराग चौधरी , कलेक्टर

इन 120 गांव में सेक्स रेश्यो बढ़ाने के लिए बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ की ब्रांड एंबेस्डर की भी मदद ली जाएगी। यह अभियान 8 मार्च यानी महिला दिवस तक जारी रहेगा। इस दौरान जिस इलाके में सबसे अधिक प्रवर्तन नजर आएगा।उस इलाके की जिम्मेदारी संभाल रही ब्रांड एंबेस्डर बेटी को एक दिन के लिए ग्वालियर जिले का कलेक्टर बनाया जाएगा। बस यही हाल तब है जब ग्वालियर जिला प्रशासन में चंबल में घटते चाइल्ड सेक्स रेशों को पटरी पर लाने के लिए कई योजनाएं भी चलाई थी ।


Conclusion:ग्वालियर जिले की 4 ब्लॉक के 120 गांव में लड़कियों की संख्या तेजी से गिर रही है। इसी प्रकार शहर के 30 वार्ड ऐसे हैं जहां पर लड़कियों की संख्या में कमी आई है। इस सर्वे रिपोर्ट को हाल में ही महिला बाल विकास विभाग ने कलेक्टर के सामने रखा है। और महिला बाल विकास विभाग योजना बनाकर भ्रूण हत्या को रोकने की योजना बना रहा है। साथ ही इन क्षेत्रों में पंचायत कार्यालय एवं वार्ड कार्यालय में लिंगानुपात के बोर्ड लगाकर स्लोगन भी लिखे जाएंगे। वहीं गिरते सेक्स रेशों को लेकर सोशल एक्टिविस्ट भी चिंतित हैं उनके मुताबिक प्रशासन का अभियान कागजों पर था। जिसके साथ ही जो समाज सेवी संस्थाएं शहरों में बेटी बचाओ का स्लोगन देती नजर आती है वह भी लगता है केवल कार्यशाला तक ही सीमित है ।

बाइट - सुधीर सप्रा , सोशल एक्टिविस्ट
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